प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को मिले उपहारों को हासिल करना चाहते हैं तो आपके लिए यह एक बढ़िया मौका है। प्रधानमंत्री मोदी को मिले गिफ्ट की नीलामी की तारीख को आगे बढ़ा दिया गया है। देश की समृद्ध सांस्कृतिक, आध्यात्मिक और ऐतिहासिक विरासत को दर्शाती 17 सितंबर से 2 अक्टूबर, 2024 तक होने वाली यह नीलामी अब 31 अक्टूबर 2024 तक खुली रहेगी।
यह ई-नीलामी श्रृंखला का छठा संस्करण है, पहली नीलामी जनवरी 2019 में हुई थी। आप https://pmmementos.gov.in वेबसाइट पर जाकर पंजीकरण कर नीलामी में भाग ले सकते हैं। इस ई-नीलामी में हमारी समृद्ध विरासत को प्रदर्शित करने वाली कलाकृतियों का एक असाधारण संग्रह है।
नई दिल्ली के नेशनल गैलरी ऑफ मॉडर्न आर्ट (NGMA-एनजीएमए) में उपहारों और स्मृति चिन्हों को प्रदर्शनी के लिए रखा गया है। नीलामी में रखी गई वस्तुओं में जीवंत चित्रकारी, भव्य मूर्तियां, स्वदेशी हस्तशिल्प, आकर्षक लोक और आदिवासी कलाकृतियां प्रदर्शित की गई हैं। इन खजानों में पारंपरिक अंगवस्त्र, दुशाला और औपचारिक तलवारें सहित सम्मान और आदर के प्रतीक के रूप में पारंपरिक रूप से दी जाने वाली वस्तुएं शामिल हैं।
प्रधानमंत्री श्री @narendramodi को भेंट स्वरूप मिली इन महत्वपूर्ण वस्त्रों को प्राप्त करने का आपके पास सुनहरा अवसर है। इसमें शामिल है गुजरात के पारंपरिक कढ़ाई वाले जैकेट, भगवान तिरूपति बालाजी अंगवस्त्र और बहुरंगी मिररवर्क जड़ित अंगवस्त्र। (1/2) #PMMementos #AmritMahotsav pic.twitter.com/RTxVNC4f9l
— Ministry of Culture (@MinOfCultureGoI) September 27, 2024
नीलामी में खादी का दुशाला, चांदी की जरदोजी के वस्त्र, माता नी पचेड़ी कला, गोंड कला और मधुबनी कला जैसी वस्तुएं भारत की विविध सांस्कृतिक विरासत का प्रतिनिधित्व करते हुए इनमें चार चांद लगाती हैं। नीलामी की एक प्रमुख विशेषता पैरा ओलंपिक, 2024 से खेल स्मृति चिन्ह हैं। प्रत्येक खेल स्मृति चिन्ह एथलीटों के असाधारण एथलेटिकता और दृढ़ संकल्प को दर्शाता है। यह स्मृति चिन्ह न केवल उनकी उपलब्धियों का सम्मान है बल्कि भावी पीढ़ियों के लिए भी प्रेरणा है।
हमेशा की तरह, इन उपहारों की नीलामी से होने वाली आय का इस्तेमाल नमामि गंगे परियोजना के लिए जाएगा। यह परियोजना केंद्र सरकार की प्रमुख पहल है जो गंगा नदी के संरक्षण, पुनरुद्धार और इसके इकोसिस्टम की सुरक्षा के लिए समर्पित है।
गौरतलब है कि प्रधानमंत्री मोदी अक्सर देश और विदेश का दौरा करते रहते हैं। इस दौरान लोग उपहार देकर अपना प्यार और सम्मान व्यक्त करते हैं। इसके अलावा प्रधानमंत्री मंत्री कार्यालय में प्रधानमंत्री मोदी से मिलने के लिए आने वाले अतिथि भी उपहार भेंट करते हैं। लेकिन प्रधानमंत्री मोदी किसी भी उपहार को अपने पास नहीं रखते। वह इन उपहारों को लोककल्याणकारी योजनाओं के लिए दान कर देते हैं।
प्रधानमंत्री की कुर्सी संभालने से पहले मोदी अक्टूबर 2001 से मई 2014 तक गुजरात के मुख्यमंत्री थे। उस दौरान उन्हें 18,000 से अधिक उपहार मिले। मार्च 2014 में इन सभी उपहारों की नीलामी से लगभग 19 करोड़ रुपये प्राप्त हुए। इस धन को मुख्यमंत्री नरेन्द्र मोदी ने राज्य में बालिकाओं की शिक्षा के लिए चलायी जा रही योजना में दान कर दिया। इन उपहारों में कई तरह की कलाकृतियों के साथ सोने और चांदी के 103 उपहार थे।