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कोरोना टीकाकरण 170.87 करोड़ के पार, केरल में पिछले 24 घंटे में 29,471 नए मामले और 824 की मौत

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देश में कोरोना टीकाकरण अभियान तेज रफ्तार से जारी है। देश भर में अब तक 170.87 करोड़ कोरोना टीके लगाए जा चुके हैं। पिछले 24 घंटों के दौरान टीके की 53,61,099 खुराकें लगाने के साथ अब तक कुल 1,70,87,06,705 टीके लगाए गए हैं। 15 से 18 वर्ष आयु वर्ग के 5,04,94,313 किशोरों को टीके लगाए गए हैं।

पिछले 24 घंटों में 1,72,211 मरीजों के स्वस्थ होने के साथ ही कोरोना महामारी के शुरू होने से लेकर अब तक कुल 4,10,12,869 कोरोना मरीज ठीक हुए हैं। इससे रिकवरी दर वर्तमान में 96.70 प्रतिशत पर है।

पिछले 24 घंटों में कुल 71,365 दैनिक नए मामले दर्ज किए गए हैं। पिछले 24 घंटों में महाराष्ट्र में 6,107 और केरल में 29,471 नए मामले सामने आए हैं। इसके साथ ही केरल में 824 मरीजों की मौत के बाद मृतकों की संख्या 59,939 और महाराष्ट्र में 57 मरीजों की मौत के बाद मृतकों की संख्या 1,43,155 पर पहुंच गई है।

देश में इस समय कोरोना के सक्रिय मामले 8,92,828 है। सक्रिय मामले इस समय देश के कुल पॉजीटिव मामलों का 2.11 प्रतिशत है।

पिछले 24 घंटों के दौरान कुल 15,71,726 कोरोना जांच की गई हैं। देश में अब तक 74.46 करोड़ से अधिक जांचें की गईं हैं। इससे साप्ताहिक पॉजीटिविटी दर इस समय 7.57 प्रतिशत है। दैनिक पॉजीटिविटी दर 4.54 प्रतिशत दर्ज की गई है।

केंद्र सरकार ने राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों को अब तक टीके की 169 करोड़ से अधिक खुराकें उपलब्ध कराई हैं। राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों के पास अब भी टीके की 12.11 करोड़ से अधिक खुराकें उपलब्‍ध है, जिन्हें लगाया जाना शेष है।

पिछले 24 घंटों में केरल में 29,471 नए मामले सामने आए हैं। केरल ने कोरोना मौत के मामले को दबाने की भी कोशिश की। अदालत की सख्ती के बाद केरल ने बैकलॉग जोड़ने शुरू किए। इससे कोरोना से मौत के मामले अचानक काफी बढ़ गए। टाइम्स ऑफ इंडिया की खबर के अनुसार आपको यह जानकर हैरानी होगी कि 21 अक्तूबर, 2021 से लेकर 11 नवंबर, 2021 के बीच 21 दिनों में सरकारी डेटा में दिखाई गई 7,838 मौतों में सिर्फ 1,257 ताजा मामले थे। इनमें से 6,581 मौतें पहले के थे। लेफ्ट सरकार इसी तरह आंकड़े को कम दिखाकर केरल मॉडल पर पक्षकारों से वाहवाही प्राप्त कर अपने पक्ष में माहौल बनाती थी।
कोरोना मामले में आगे होने के बाद भी यहां की वामपंथी सरकार ने मुस्लिम तुष्टिकरण के लिए बकरीद पर प्रतिबंधों में छूट दे दी थी। इससे राज्य में एक बार फिर कोरोना विस्फोट हो गया। तथाकथित सेकुलर, लिबरल पक्षकारों के बल पर केरल मॉडल को लेकर वाहवाही लूटने वाली वामपंथी सरकार कोरोना प्रबंधन में पूरी तरह से फेल साबित हुई है।

इन आंकड़ों से साफ है कि प्रोपगेंडा और लेफ्ट मीडिया के बल पर दुनिया भर में केरल मॉडल का बखान करने वाली केरल सरकार की पोल खुल गई है। बकरीद पर प्रतिबंधों में छूट को लेकर 20 जुलाई, 2021 को सुप्रीम कोर्ट ने केरल सरकार को फटकार लगाते हुए कहा कि ये डरावना है कि ऐसे हालात होने को बावजूद पाबंदियों में इस तरह छूट दी गई। कोरोना के इस हालात में रियायत देना सॉरी स्टेट ऑफ अफेयर है। 

इस सबके बावजूद केरल के मुख्यमंत्री पिनराई विजयन कोरोना को लेकर कितने गंभीर हैं, इसका नजारा पिछले दिनों प्रधानमंत्री मोदी के साथ छह राज्यों के मुख्यमंत्रियों की बैठक में देखने को मिला।

सीएम पी विजयन बैठक के दौरान चाय पीते और कुछ खाते दिखाई दिए। ऐसा लग रहा था कि वे सिर्फ बैठक में शामिल होने की औपचारिकता निभा रहे थे। उनकी हरकत से साफ लग रहा था कि बैठक में उनकी कोई दिलचस्पी नहीं थी। देखिए वीडियो-

इतना सब होने के बाद भी लेफ्ट के करीबी पक्षकार केरल के सीएम का पक्ष ले रहे हैं और केरल मॉडल की प्रशंसा करने में जुटे हुए हैं। इसे क्या कहिएगा

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