Home समाचार भारत में लोकतंत्र पर सवाल उठाने वाले राहुल गांधी के मुंह पर...

भारत में लोकतंत्र पर सवाल उठाने वाले राहुल गांधी के मुंह पर तमाचा, अमेरिका ने कहा- भारत एक जीवंत लोकतंत्र

SHARE

कांग्रेस नेता राहुल गांधी चाहे लंदन में हों या अमेरिका में अपनी ‘ मोहब्बत की दुकान’ से भारत के खिलाफ जहर ही उगलते रहे हैं। अभी हाल में अमेरिकी यात्रा के दौरान भी राहुल गांधी ने बेशर्मी से भारत के लोकतंत्र की आलोचना की। अमेरिका यात्रा के दौरान उन्होंने भारत में लोकतंत्र की दशा और दिशा पर बात रखी और कहा कि लोकतंत्र के बुनियाद को कमजोर किया जा रहा है। एक तरफ प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में भारत विकास के नए आयाम गढ़ते हुए विश्व पटल पर जहां एक मजबूत देश के रूप में ऊभर रहा है वहीं राहुल गांधी देश को नीचा दिखाने का कोई मौका नहीं छोड़ते। अब इस दफा राहुल गांधी को अमेरिकी राष्ट्रपति कार्यालय ‘व्हाइट हाउस’ ने ही आईना दिखाया है। व्हाइट हाउस के प्रवक्ता जॉन किर्बी ने भारतीय लोकतंत्र की तारीफ की है और कहा है कि यह एक जीवंत लोकतंत्र है। उन्होंने कहा कि कोई भी दिल्ली जाकर इसे देख सकता है। भारत में लोकतंत्र की स्थिति पर चिंताओं को प्रत्यक्ष तौर पर खारिज करते हुए व्हाइट हाउस ने यह बात कही। व्हाइट हाउस का यह बयान राहुल गांधी पर एक जबरदस्त थप्पड़ की तरह है।

भारत में जीवंत लोकतंत्रः अमेरिका
भारत में लोकतंत्र को लेकर उठाई गई चिंताओं को अमेरिका ने सिरे से खारिज करते हुए जोर देकर कहा है कि भारत एक जीवंत लोकतंत्र है। व्हाइट हाउस में राष्ट्रीय सुरक्षा परिषद में सामरिक संचार के कोऑर्डिनेटर जॉन कर्बी ने कहा कि प्रधानमंत्री मोदी के नेतृत्व में भारत एक जीवंत लोकतंत्र है और किसी को इसमें शक है तो नई दिल्ली जाकर अपनी आंखों से इसे देख सकता है। उन्होंने कहा कि अमेरिकी प्रशासन लोकतंत्र से जुड़ी चिंताओं को व्यक्त करने से कभी कतराता नहीं है।

‘भारत जाकर आप इसे महसूस कर सकते हैं’
राष्ट्रीय सुरक्षा परिषद में सामरिक संचार समन्वयक जॉन किर्बी ने कहा, ‘ भारत एक जीवंत लोकतंत्र है। जो कोई भी भारत जाता है इसे महसूस कर सकता है। निश्चित तौर पर मुझे उम्मीद है कि लोकतांत्रिक संस्थानों की ताकत और उनकी स्थिति चर्चा का हिस्सा होगी।’ किर्बी ने एक सवाल के जवाब में कहा, ‘‘ देखो, हम कभी झिझकते नहीं हैं। आप दोस्तों के साथ ऐसा कर सकते हैं। आपको दोस्तों के साथ ऐसा करना चाहिए। आप कभी भी उन चिंताओं को व्यक्त करने से नहीं कतराते हैं जो दुनिया में कहीं भी उठ रही हों।’

व्हाइट हाउस ने कहा- भारत ऐसा लोकतांत्रिक देश जो लगातार विकास कर रहा
राहुल गांधी के अमेरिका दौरे के बाद भारत के लोकतंत्र को लेकर एक सवाल पर अमेरिका की तरफ से बड़ा बयान सामने आया है। व्हाइट हाउस के प्रवक्ता जॉन किर्बी ने प्रेस ब्रीफिंग में कहा- भारत एक ऐसा लोकतांत्रिक देश है जो लगातार विकास कर रहा है। जो भी नई दिल्ली जाता है वो इसे देख और महसूस कर सकता है। भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के दौरे के वक्त हम लोकतंत्र के संस्थानों की ताकत पर भी चर्चा करेंगे।

राहुल ने कहा था- भारत के लोकतंत्र से पूरी दुनिया का लोकहित जुड़ा है
कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने पिछले दिनों अमेरिका में एक कार्यक्राम में कहा था कि भारत के लोकतंत्र से पूरी दुनिया का लोकहित जुड़ा है। अगर इसमें ‘‘बिखराव’’ होता है तो इसका असर पूरे विश्व पर पड़ेगा। राहुल ने ‘नेशनल प्रेस क्लब’ में आयोजित संवाददाता सम्मेलन में कहा था, ‘‘भारत में लोकतंत्र के लिए लड़ाई लड़ना हमारा काम है और यह एक ऐसी चीज है, जिसे हम समझते हैं, जिसे हम स्वीकार करते हैं और जो हम करते हैं।’’

राहुल ने प्रवासी भारतीयों से कहा- भारत वापस आएं और लोकतंत्र के साथ संविधान की रक्षा करें 
अमेरिका में राहुल ने देश के नेतृत्‍व की आलोचना की थी। अमेरिका के छह दिवसीय दौरे पर गए राहुल ने साथ ही अमेरिका में बसे भारतीयों से अनुरोध किया था कि वो भारत वापस आएं और लोकतंत्र के साथ भारतीय संविधान की रक्षा में खड़ें हों। अब सोचिए, एक तरफ राहुल गांधी लोकतंत्र की रक्षा के लिए प्रवासी भारतीयों को भारत आमंत्रित कर रहे हैं वहीं अमेरिका कह रहा है कि प्रधानमंत्री मोदी के नेतृत्व में भारत एक जीवंत लोकतंत्र है और किसी को इसमें शक है तो नई दिल्ली जाकर अपनी आंखों से इसे देख सकता है।

राहुल गांधी अपने लंदन के दौरे से लेकर अमेरिका दौरे तक भारत को नीचा दिखाते रहे और लोकतंत्र पर सवाल उठाते रहे। इस पर एक नजर-

राहुल ने चोला बदला, माथे पर टीका लगाकर किया सनातन का अपमान
कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी की ब्रिटेन यात्रा विवादों में घिरी थी। वहां की गई कुछ टिप्पणियों पर देश में खूब बवाल हुआ था। इसके बाद राहुल गांधी अमेरिका पहुंचे तो थोड़ा बदलाव दिखा। जब वह अमेरिका पहुंचे तब वह जींस-टी शर्ट में थे। वहीं जब 31 मई 2023 को राहुल यूनिवर्सिटी ऑफ कैलिफोर्निया में संबोधन के लिए पहुंचे तो उनका लुक बदला हुआ था। ब्रिटेन में राहुल जहां पश्चिमी परिधानों में नजर आए थे, अमेरिका में देसी हो गए। यूनिवर्सिटी ऑफ कैलिफोर्निया में राहुल ने सफेद कुर्ता-पाजामा और काली सदरी पहनी और माथे पर टीका लगाए भी नजर आए। लंदन के बंदगला सूट के मुकाबले देसी अंदाज अपनाकर राहुल शायद खुद को भारतीय दिखाने की कोशिश की। लेकिन उनकी असलियत लोगों के सामने आ ही जाती है।

अमेरिका में राहुल गांधी ने पीएम मोदी का किया अपमान
कैलिफोर्निया के सांता क्लारा में इंडियन ओवरसीज कांग्रेस यूएसए द्वारा 31 मई 2023 को आयोजित ‘मोहब्बत की दुकान’ कार्यक्रम में राहुल गांधी ने कहा कि भारत में ऐसे लोग हैं, जो सोचते हैं कि वे भगवान से अधिक जानते हैं और प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी इसका एक नमूना हैं। उन्होंने कहा कि ये लोग इतिहासकारों को इतिहास, वैज्ञानिकों को विज्ञान और सेना को युद्ध कैसे लड़ना है, यह बता सकते हैं। और वे सुनने को तैयार नहीं हैं।

राहुल ने कहा- जो हाल 80 के दशक में दलितों का था वही अब मुस्लिमों का
राहुल गांधी कहा कि जो 80 के दशक में दलितों का हाल था वही हाल अब मुस्लिमों का है, मुस्लिम को जो सिक्योरिटी थ्रेट आज है वह पहले कभी नहीं रहा, जब भी हम किसी से इस बारे में बात करते हैं तो वो पूछते हैं कि भारत में क्या हो रहा है। भारत में कई कई ऐसे कानून बनाए जा रहे हैं जो पहले नहीं बने, जो क्राइम मुस्लिम लड़कों ने नहीं किए उसके लिए भी उनको जेल में डाला जा रहा है, उसके लिए आपकी क्या स्ट्रैटजी रहेगी? राहुल ने कहा कि इसीलिए हम नफरत के बाजार में मोहब्बत का कॉन्सेप्ट लेकर आए हैं। उन्होंने आगे कहा कि कांग्रेस सिर्फ मुस्लिम ही नहीं बल्कि सभी अल्पसंख्यकों के साथ भेदभाव के मद्देनजर नफरत के खिलाफ मोहब्बत का कॉन्सेप्ट लेकर आई है।

राहुल ने कहा- भारत में राजनीति करना अब आसान नहीं, एजेंसियों का हो रहा दुरुपयोग
राहुल गांधी ने भारत में केंद्र सरकार पर एजेंसियों का गलत इस्तेमाल करने का आरोप लगाया है। उन्होंने कहा कि भारत में राजनीति करना अब आसान नहीं रह गया है। देश में लोगों को धमकाया जा रहा है।

राहुल ने कहा- भाजपा ने भारत जोड़ो यात्रा रोकने की कोशिश की
कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने आरोप लगाया कि भाजपा ने हमारी भारत जोड़ो यात्रा को रोकने की पूरी कोशिश की। उन्होंने कहा कि पुलिस और एजेंसियों द्वारा यात्रा को रोकने का प्रयास किया गया। उन्होंने कहा कि भाजपा अपनी कोशिश में नाकाम हो गई, क्योंकि आप सबने हमारी मदद की। यह बात भी कितनी झूठ है कि राहुल गांधी भारत जोड़ो यात्रा में देशभर में जहां मन किया वहां-वहां गए लेकिन अब वे कह रहे हैं कि भारत जोड़ो यात्रा रोकने की कोशिश की गई।

राहुल गांधी ने कहा था- पूरे भारत में केरोसिन छिड़का जा चुका है, बस एक चिंगारी की जरूरत है
लंदन में 2022 में ‘आइडिया फॉर इंडिया’ कॉन्फ्रेंस में पहुंचे राहुल गांधी ने कहा था- ‘देश में धुव्रीकरण बढ़ता जा रहा है, बेरोजगारी अपने चरम पर है, महंगाई बढ़ती जा रही है। बीजेपी ने देश में हर तरफ़ केरोसीन छिड़क दिया है बस एक चिंगारी से हम सब एक बड़ी समस्या के बीच होंगे।’ यहां समझने की बात है कि राहुल को केरोसीन छिड़कने की बात कहनी थी तो उन्होंने इसमें बीजेपी को लपेट लिया।

राहुल विदेश जाते ही भूल जाते हैं सारी मर्यादा
राहुल गांधी जब विदेश जाते है तो पता नहीं उन्हें क्या हो जाता है? वे सारी मर्यादा, सारी शालीनता, लोकतांत्रिक शर्म… सब भूल जाते हैं। अब जब देश की जनता न उनको सुनती है… न समझती है तो विदेश में जाकर विलाप करते हैं कि भारत का लोकतंत्र खतरे में हैं। राहुल गांधी ने लंदन में अपने भाषणों में भारत के लोकतंत्र, संसद, राजनीतिक व्यवस्था और भारत की जनता समेत न्याय व्यवस्था और सामरिक सुरक्षा सभी का अपमान किया है।

राहुल गांधी ने कहा- यूरोप और अमेरिका को भारत में लोकतंत्र बचाना चाहिए
राहुल गांधी ने कहा कि यूरोप और अमेरिका को भारत में लोकतंत्र बचाने के लिए हस्तक्षेप करना चाहिए। सरकार किसी की भी हो क्या भारतवासी किसी विदेशी ताकत के भारत में आंतरिक हस्तक्षेप को स्वीकार कर सकते हैं? कोई देशवासी इसे स्वीकार नहीं करेगा। यहीं राहुल गांधी मात खा जाते हैं वे ऐसा बयान दे रहे हैं जो देसवासियों को पसंद नहीं।

ब्रिटिश सांसदों से भारत में लोकतंत्र ‘बचाने’ की अपील, देश की संप्रभुता को कमजोर करने का षडयंत्र
इसे विडंबना ही कहा जाएगा कि देश की सबसे पुरानी पार्टी के नेता राहुल गांधी ब्रिटिश धरती पर जाकर भारत के आंतरिक मुद्दों पर बात करते हुए विदेशी दखल की बात करते हैं। वह ऐसा पहली बार नहीं कर रहे हैं- इससे पहले उन्होंने निकोलस बर्न और अमेरिका के हस्तक्षेप की मांग की थी। और हम सभी को याद है कि कैसे कांग्रेस ने हाल ही में जॉर्ज सोरोस के बयान को लेकर हाय-तौबा मचाया था जबकि सोरोस राष्ट्रवाद से लड़ने के लिए 100 करोड़ डालर देने का ऐलान कर चुका है। यह एक बार नहीं बल्कि भारत की संप्रभुता को कमजोर करने का एक सुनियोजित पैटर्न है। इससे यह भी साबित होता है कि राहुल विदेशी ताकतों के इशारों पर खेल रहे हैं।

डीप स्टेट के प्लान के मुताबिक बयान दे रहे हैं राहुल गांधी
राहुल के मेकओवर की पटकथा की कहानी भारत जोड़ो यात्रा से शुरू होती है। इसके बाद पटकथा के मुताबिक पीएम मोदी की छवि खराब करने के लिए बीबीसी डॉक्यूमेंट्री, अडानी समूह को बदनाम करने के लिए हिंडनबर्ग रिपोर्ट और ANI, RSS जैसी संस्थाओं पर हमले किए गए। फिर रामचरितमानस विवाद के जरिये हिंदू धर्म को बदनाम करना और खालिस्तान मुद्दे को हवा देकर देश को आंदोलन की आग में झोंकने की साजिश रची गई। यह कोई संयोग नहीं है कि खालिस्तान के नए झंडाबरदार अमृतपाल सिंह जो बात कहता है वही राहुल गांधी भी कहते हैं। RSS के खिलाफ एक तरफ कनाडा में रिपोर्ट तैयार होती है उसे आतंकवादी संगठन करार दिया जाता है तो दूसरी तरफ राहुल गांधी लंदन में RSS के खिलाफ जहर उगलते हैं। RSS को लेकर उनसे प्लांटेड सवाल किए जाते हैं।

सोरोस ने राष्ट्रवाद से लड़ने के लिए 100 करोड़ डॉलर देने का किया ऐलान
अमेरिकी अरबपति जार्ज सोरोस ने साल 2020 में वैश्विक स्तर पर राष्ट्रवाद से लड़ने के लिए 100 करोड़ डॉलर देने की बात कही थी। उसने कहा था कि इस विश्वविद्यालय की स्थापना ‘राष्ट्रवादियों से लड़ने’ के लिए की जाएगी। सोरोस ने ‘अधिनायकवादी सरकारों’ और जलवायु परिवर्तन को अस्तित्व के लिए खतरा बताया था। सोरोस ने कहा था कि राष्ट्रवाद अब बहुत आगे निकल गया है। सबसे बड़ा और सबसे भयावह झटका भारत को लगा है, क्योंकि वहां लोकतांत्रिक रूप से निर्वाचित नरेंद्र मोदी भारत को एक हिन्दू राष्ट्रवादी देश बना रहे हैं।

राहुल गांधी को जेलेंस्की बनाना चाहता है डीप स्टेट!
राहुल गांधी हाल के समय में चीन का जिक्र बार-बार करते हैं। चीन भारत में घुसपैठ कर रहा है। चीनी सैनिक भारतीय जवानों को पीटते हैं। चीन में काफी सद्भावना है। इस तरह के न जाने कितने ही बयान हैं। लेकिन हाल में ब्रिटेन के दौरे के दौरान उनके जुबान से वह बात भी निकल गई जिसका उन्हें सब्जबाग दिखाया गया था। उन्होंने कहा- जैसा रूस ने यूक्रेन में किया, वही भारत के खिलाफ दोहरा सकता है चीन। पश्चिमी देशों के डीप स्टेट (दुनिया को अपने हिसाब से चलाने वाले) ने मई 2022 में राहुल गांधी के मेकओवर और पीएम उम्मीदवार बनाने की पटकथा तैयार की थी। उस वक्त राहुल भी ब्रिटेन के दौरे पर थे। उसी वक्त यह तय हुआ था कि जिस तरह यूक्रेन में आंदोलन खड़ा कर जेलेंस्की को प्रधानमंत्री बनाया गया उसी तरह 2024 में पीएम मोदी के खिलाफ आंदोलन खड़ा कर राहुल की ताजपोशी करवाई जाएगी।

डीप स्टेट भारत की तरक्की से खुश नहीं
डीप स्टेट भारत की तरक्की से खुश नहीं है और वह चाहता कि किसी तरह से भारत को कमजोर किया जाए। इसीलिए उसने प्यादे के रूप में राहुल गांधी को चुना है। राहुल गांधी इसके लिए योग्य उम्मीदवार हैं। उनके पास अपना कोई विजन नहीं है। डीप स्टेट जैसा कहेगा वो वैसा ही करते जाएंगे। जैसा कि यूक्रेन में हो रहा है। कुल मिलाकर डीप स्टेट चाहता है कि पश्चिमी देशों को चुनौती देने वाली दो बड़ी अर्थव्यवस्थाएं भारत और चीन के बीच रूस-यूक्रेन की तरह युद्ध छिड़ जाए जिससे ये दोनों देश कमजोर हो जाएं। और राहुल गांधी लालचवश में उनके एजेंडे को आगे बढ़ा रहे हैं। उन्हें इस बात से तनिक भी दुख नहीं है कि इससे देश का क्या होगा।

पीएम मोदी के सामने बेवश पश्चिमी देश और अमेरिका बौखलाया
नरेंद्र मोदी के प्रधानमंत्री बनने से पहले अमेरिकी खुफिया एजेंसी CIA और पश्चिमी देश अपना हित साधने के लिए सरकार भी खरीद लेती थी और तमाम तरह की साजिश रचने में सफल हो जाती थी। इसका सबसे बड़ा उदाहरण 90 के दशक में हुए इसरो जासूसी कांड है। उस वक्त भारतीय वैज्ञानिक नंबी नारायण के नेतृत्व में भारत लिक्विड प्रोपेलेंट इंजन बनाने में सफल होने के करीब पहुंच गया था लेकिन CIA ने कांग्रेस सरकार और नेताओं को खरीद कर नंबी नारायण को जेल में डलवा दिया और भारत का अंतरिक्ष कार्यक्रम 20-30 साल पीछे चला गया। इसरो जासूसी कांड में जब नंबी नारायण को गिरफ्तार किया गया था तो उस वक्त केरल में कांग्रेस की सरकार थी। सीबीआई की जांच में सामने आया है कि नंबी नारायण की अवैध गिरफ्तारी में केरल सरकार के तत्कालीन बड़े अधिकारी भी शामिल थे। हाईकोर्ट में सीबीआई ने कहा कि नंबी नारायण की गिरफ्तारी संदिग्ध अंतरराष्ट्रीय साजिश का हिस्सा थी।

विदेशी ताकतें भारत में चाहती है कमजोर और गठबंधन सरकार
विदेशी ताकतें और जार्ज सोरोस जैसे लोग भारत में एक कमजोर और गठबंधन सरकार को पसंद करते हैं, जिससे वे अपनी आवश्यकताओं के अनुसार उसे चला सकें। एक स्थिर, पूर्ण बहुमत वाली सरकार से वे डरते हैं और इसीलिए उसे हटाना चाहते हैं। यह एक सर्वविदित तथ्य है कि राहुल गांधी 2022 में जब ब्रिटेन में थे उसी समय सोरोस भी ब्रिटेन में था। यह डीपस्टेट का षड़यंत्र है जिसमें कांग्रेस सहित लेफ्ट लिबरल मिले हुए हैं।

देश ने मोदी को दिल में बसाया, 2024 में विदेशी ताकतों का सपना होगा चकनाचूर
जिस तरह 2014 के बाद से भारत विकास के पथ पर अग्रसर है उसे देखते हुए देशवासियों ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को दिल में बसाया है। इसकी झांकी पीएम मोदी के रोड शो में साफ देखने को मिलती है। सोशल मीडिया पर लोग कह रहे हैं भारतीय मतदाताओं को प्रभावित करने वाले ये विदेशी ताकतें और जार्ज सोरोस कौन होता है। भारतीय मतदाता निश्चित रूप से 2024 में मोदी जी को फिर से वापस लाएगा! 2024 में सोरोस और विदेशी ताकतों का सपना चकनाचूर होगा। देशों में शासन परिवर्तन के उसके मंसूबे का अंत भारत में होगा। भारत में ऐसा कुछ करने की कोशिश करना मुश्किल है। अब देश ने मोदी को दिल में बसा लिया है।

इसे भी पढ़ेंः विदेशी सरजमीं से देश को नीचा दिखाने की शर्मनाक कोशिश! राहुल गांधी ने भारत को बदनाम करने की सारी हदें लांघ दी!

Leave a Reply