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सिख फॉर जस्टिस के समर्थकों पर मोदी सरकार की ‘डिजिटल स्ट्राइक’, बैन हुए एप्स, वेबसाइट्स और सोशल मीडिया अकाउंट्स

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प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की सरकार देश की एकता, अखंडता और सुरक्षा को लेकर पूरी तरह प्रतिबद्ध है। इसलिए मोदी सरकार ने देश की सुरक्षा के लिए खतरा बने सिख फॉर जस्टिस के समर्थकों पर डिजिटल स्ट्राइक की है। एसएफजे से जुड़े एप्स, वेबसाइट और सोशल मीडिया अकाउंट्स को बैन कर दिया गया है। मोदी सरकार के मुताबिक सोशल मीडिया अकाउंट्स के जरिए लोगों को भड़का कर पंजाब विधानसभा चुनाव के दौरान माहौल खराब करने की कोशिश की जा रही थी। 

दरअसल, सूचना और प्रसारण मंत्रालय ने सिख फॉर जस्टिस के साथ घनिष्ठ संबंध रखने वाले ‘पंजाब पॉलिटिक्स टीवी’ के एप्स, वेबसाइट और सोशल मीडिया अकाउंट्स को ब्लॉक करने का आदेश दिया है। खुफिया जानकारी मिली थी कि यह चैनल पंजाब विधानसभा चुनावों के दौरान सार्वजनिक व्यवस्था को बिगाड़ने के लिए ऑनलाइन मीडिया का उपयोग करने का प्रयास कर रहा था। इसके बाद मंत्रालय ने ‘पंजाब पॉलिटिक्स टीवी’ के डिजिटल मीडिया संसाधनों को ब्लॉक करने के लिए 18 फरवरी को आईटी नियमों के तहत आपातकालीन शक्तियों का इस्तेमाल किया।


इससे पहले 18 फरवरी को ‘सिख फॉर जस्टिस’ के आतंकी गुरपतवंत सिंह पन्नू ने वीडियो जारी कर पंजाबी सिंह और एक्टर दीप सिद्धू की मौत को राजनीतिक हत्या बताया था। वीडियो में उसने आरोप लगाया था कि दीप सिद्धू की हत्या भारत सरकार ने कराई है। इसके बाद खुफिया एजेंसियों के कान खड़े हो गए थे। खालिस्तानी आतंवादी के फेसबुक वीडियो के बाद सुरक्षा एजेंसियों ने अलर्ट जारी किया था।

गौरतलब है कि सिख फॉर जस्टिस कर्नाटक हिजाब विवाद को देशभर में फैलाने की कोशिश में लगा है। सिख फॉर जस्टिस ने एक प्रोपेगेंडा वीडियो जारी किया था। इसमें हिजाब विवाद वाली लड़की मुस्कान की तस्वीरों का भी इस्तेमाल किया गया था। पन्नू ने तब भारतीय मुस्लिमों से अपील की थी कि वे हिजाब रेफरेंडम शुरू करें और भारत को उर्दुस्तान बनाने की तरफ बढ़ें। भारत में हिजाब रेफरेंडम के लिए वेबसाइट भी बनाई गई है। खुफिया रिपोर्ट के मुताबिक दिल्ली, राजस्थान, उत्तर प्रदेश, बिहार और पश्चिम बंगाल जैसे मुस्लिम बाहुल्य इलाकों में हिजाब रेफरेंडम के लिए लोगों को भड़काया जा रहा है।  

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