प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बुधवार को अर्थशास्त्रियों के साथ देश की अर्थव्यवस्था और विकास को लेकर चर्चा की। ‘आर्थिक नीति- भविष्य की संभावनाएं’ विषय पर नीति आयोग की ओर से आयोजित विचार विमर्श सत्र में 40 से अधिक अर्थशास्त्री और अन्य विशेषज्ञ उपस्थित थे। बैठक में 6 बुनियादी मुद्दों को चर्चा के केंद्र में रखा गया। सत्र के दौरान प्रतिनिधियों ने वृहद अर्थशास्त्र, कृषि, ग्रामीण विकास, रोजगार, स्वास्थ्य व शिक्षा, विनिर्माण और निर्यात, शहरी विकास, अवसंरचना और कनेक्टिविटी जैसे आर्थिक विषयों पर अपने विचार साझा किये।
प्रधानमंत्री ने विभिन्न प्रतिनिधियों को अर्थव्यवस्था के विभिन्न आयामों पर दिये गये उनके सुझावों के लिए धन्यवाद दिया। उन्होंने विशेषज्ञों के उच्च स्तरीय सुझावों की प्रशंसा की। प्रधानमंत्री ने ट्विटर पर लिखा कि आर्थिक नीति-आगे का रास्ता पर अर्थशास्त्रियों तथा विशेषज्ञों के साथ गहन चर्चा हुई। बैठक में विशेषज्ञों ने वृहद अर्थव्यवस्था, कृषि, ग्रामीण विकास, रोजगार, स्वास्थ्य, शिक्षा, विनिर्माण, निर्यात, शहरी विकास, बुनियादी ढांचा और संपर्क पर अपने विचार रखे।
Had an extensive interaction with economists and experts on ‘Economic Policy- the Road Ahead.’ The participants shared insightful views on various aspects relating to the economy and policy making. https://t.co/UfMSKDGhTn
— Narendra Modi (@narendramodi) January 10, 2018
नीति आयोग के उपाध्यक्ष राजीव कुमार ने कहा कि कई विशेषज्ञों का मानना था कि रोजगार सृजन महत्वपूर्ण है। बैठक में इस बात पर भी चर्चा हुई कि किसानों की आय दोगुनी किस तरह की जाए। उन्होंने कहा कि कई अर्थशास्त्रियों का कहना था कि कृषि उत्पादन बढ़ाने के बजाय लागत घटाने और बाजार तक पहुंच बेहतर बनाने पर फोकस होना चाहिए। सरकार ने 2022 तक किसानों की आय दोगुनी करने का लक्ष्य रखा है। बैठक में लोकसभा और विधानसभा चुनाव एक साथ कराने की जरूरत पर भी जोर दिया।
इस बैठक में वित्त मंत्री अरुण अरुण जेटली, वाणिज्य मंत्री सुरेश प्रभु समेत कई मंत्री शामिल हुए। नीति आयोग के उपाध्यक्ष, केन्द्र सरकार तथा नीति आयोग के वरिष्ठ अधिकारी भी इस बैठक में उपस्थित थे।