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प्रधानमंत्री मोदी को पिछले एक साल में विदेशों से मिले 30 से ज्यादा यादगार तोहफे, गिफ्ट को कर देते हैं जनसेवा में समर्पित

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फाइल फोटो

प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी अक्सर देश और विदेश का दौरा करते रहते हैं। इस दौरान राष्ट्राध्यक्ष से लेकर आमलोग उपहार देकर अपना प्यार और सम्मान व्यक्त करते हैं। पिछले एक साल के दौरान ही प्रधानमंत्री मोदी को कई यादगार उपहार मिले हैं। विदेश मंत्रालय के तोशाखाना विभाग के अनुसार, प्रधानमंत्री मोदी को पिछले एक साल में विदेश यात्राओं के दौरान 15.65 लाख रुपये के 30 से ज्यादा उपहार मिले हैं। इन उपहारों में धूपदानी, भगवान गणेश की मूर्तियां, महात्मा बुद्ध से जुड़े प्रतीक चिह्न, कंबल, दरी, स्वेटर, टोपी, गुलाब जल, चांदी के सिक्के, घड़ी, स्मारिका, गुलदान, लकड़ी के बक्से शामिल हैं। ये गिफ्ट उन्हें डेनमार्क, फ्रांस, जर्मनी, इटली, ब्रिटेन, अमेरिका, बांग्लादेश जैसे देशों की यात्रा के दौरान मिले हैं। पिछले साल मिले तोहफे में सबसे कीमती उपहार लकड़ी, चांदी और सोने से निर्मित शतरंज का सेट शामिल है, जिसकी कीमत पांच लाख रुपये है।

प्रधानमंत्री मोदी ने शुरू की उपहारों की नीलामी की परंपरा
प्रधानमंत्री मोदी किसी भी उपहार को अपने पास नहीं रखते। वह इन उपहारों को लोककल्याणकारी योजनाओं के लिए दान कर देते हैं। इसके लिए प्रधानमंत्री मोदी ने उपहारों को नीलाम करने की परंपरा की शुरुआत गुजरात में मुख्यमंत्री रहने के दौरान की थी, जो अब भी जारी है। प्रधानमंत्री बनने के बाद उन्हें भेंट किए गए प्रतिष्ठित उपहारों और स्मृति चिन्हों की तीन बार नीलामी हो चुकी है। सबसे पहले प्रधानमंत्री के उपहारों को 2015 में गुजरात के सूरत में निलाम किया गया था और उस नीलामी से 8.55 करोड़ रुपये की राशि मिली थी। प्रधानमंत्री ने उस राशि को नमामी गंगे मिशन को दान कर दिया था। इसके बाद जनवरी 2019 में दूसरी बार और सितंबर 2021 में तीसरी बार नीलामी हुई। इस दौरान नीलामी से मिली राशि को प्रधानमंत्री मोदी ने नमामि गंगे मिशन को दान कर दिया।

तीसरे दौर में 1348 स्मृति चिन्हों की नीलामी
ई-नीलामी का तीसरा दौर 17 सितंबर को शुरू हुआ था और सात अक्टूबर, 2021 तक वेब पोर्टल www.pmmementos.gov.in के माध्यम से आयोजित किया गया। तीसरे दौर में ई-नीलामी के लिए कुल 1348 स्मृति चिन्ह रखे गए थे, जिसने जनता के बीच एक बड़ी रुचि पैदा की, जिन्होंने उत्साहपूर्वक इतिहास के एक मूल्यवान टुकड़े के मालिक होने का अवसर पाने के लिए बोली लगाई। ई-नीलामी के इस दौर की मुख्य वस्तुओं में पदक विजेता टोक्यो 2020 पैरालंपिक खेलों और टोक्यो 2020 ओलंपिक खेलों के खेल यादगार, अयोध्या राम मंदिर के मॉडल, वाराणसी का रुद्राक्ष सभागार और कई अन्य कीमती और दिलचस्प संग्रहणीय वस्तुएं शामिल रहे। इन वस्तुओं के लिए 8600 से अधिक बोलियां प्राप्त हुई थीं। ई-नीलामी में सबसे अधिक 140 बोलियां सरदार पटेल की मूर्ति के लिए मिली तो टोक्यो ओलंपिक में गोल्ड मेडल विजेता नीरज चोपड़ा की ओर से पीएम मोदी को दी गई जैवलिन (भाला) के लिए सबसे अधिक 1.5 करोड़ रुपये की बोली लगी।

दान देने में पीएम मोदी ने पेश की मिसाल

  • सितंबर 2021 में 1348 उपहारों की ई-नीलामी से मिली राशि को ‘नमामि गंगे’ मिशन को दान किया।
  • सितंबर 2020 में पीएम केयर्स फंड के लिए 2.25 लाख रुपये का दान किया।
  • 2019 में कुंभ मेले में स्वच्छता कर्मचारियों के कल्याण के लिए 21 लाख रुपये दान किया।
  • 2019 में सोल पीस प्राइज़ के साथ मिली 1.3 करोड़ की राशि को ‘नमामि गंगे’ मिशन को दान किया।
  • जनवरी 2019 में स्मृति चिन्हों की नीलामी से मिले 3.40 करोड़ रुपये ‘नमामि गंगे’ मिशन को दान किया।
  • 2015 में सूरत में उपहारों की नीलामी से मिले 8.35 करोड़ रुपये ‘नमामि गंगे’ मिशन को दान किया।
  • 2014 में पीएम पद संभालने से पहले गुजरात सरकार के कर्मचारियों की बेटियों की पढ़ाई के लिए 21 लाख रुपये का दान किया।
  • गुजरात के मुख्यमंत्री कार्यकाल के दौरान मिले सभी उपहारों की नीलामी से मिले 89.96 करोड़ रुपये को कन्या केलावनी फंड में दे दिया।

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