प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी आज, 26 मार्च को दो दिन का बांग्लादेश यात्रा पर ढाका पहुंच गए हैं। बांग्लादेश की प्रधानमंत्री शेख हसीना खुद प्रधानमंत्री मोदी का स्वागत करने एयरपोर्ट पहुंची और फूलों का गुलदस्ता देकर उनका स्वागत किया। एयरपोर्ट पर भारत का राष्ट्रगान बजाकर स्वागत करने के बाद प्रधानमंत्री मोदी को गार्ड ऑफ ऑनर दिया गया।
बांग्लादेश रवाना होने के पहले प्रधानमंत्री मोदी ने अपने संदेश में कहा कि मुझे खुशी है कि कोविड-19 महामारी की शुरुआत के बाद किसी ऐसे पड़ोसी मित्र देश की यह मेरी पहली विदेश यात्रा है, जिसके साथ भारत के सांस्कृतिक, भाषाई और दोनों देशों के लोगों के बीच आपस में गहरे संबंध हैं।
उन्होंने कहा कि मैं राष्ट्रीय दिवस समारोह में अपनी भागीदारी का इंतजार कर रहा हूं, जब बांग्लादेश के राष्ट्रपिता बंगबंधु शेख मुजीबुर रहमान की जन्मशती भी मनाई जा रही है। बंगबंधु पिछली शताब्दी के कद्दावर नेताओं में से एक थे, जिनका जीवन और आदर्श लाखों लोगों को प्रेरित करता है। उनकी स्मृति को अपनासम्मान देने के लिए मैं तुंगीपाड़ा में बंगबंधु की समाधि पर जाने के लिए उत्सुक हूं।
प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि मैं पौराणिक परंपरा की 51 शक्तिपीठों में से एक, प्राचीन जशोरेश्वरी काली मंदिर में देवी काली की पूजा करने का बेसब्री से इंतजार कर रहा हूं। मैं विशेष रूप से ओराकांडी में मतुआ समुदाय के प्रतिनिधियों के साथ अपनी बातचीत की भी प्रतीक्षा कर रहा हूं, जहां से श्री हरिचंद्र ठाकुर जी ने अपने पवित्र संदेश का प्रसार किया।
अपने संदेश में उन्होंने कहा पिछले वर्ष दिसम्बर में प्रधानमंत्री शेख हसीना के साथ रचनात्मक वर्चुअल बैठक के बाद, मुझे उम्मीद है कि इस यात्रा के दौरान उनके साथ गहन चर्चा होगी। मैं राष्ट्रपति अब्दुल हमीद और अन्य बांग्लादेशी गणमान्य लोगों के साथ भी अपनी बैठक की उत्सुकता से प्रतीक्षा कर रहा हूं।
प्रधानमंत्री ने कहा कि मेरी यात्रा प्रधानमंत्री शेख हसीना के दूरदर्शी नेतृत्व के तहत बांग्लादेश की उल्लेखनीय आर्थिक और विकासात्मक प्रगति के लिए न केवल उनकी सराहना करने का अवसर होगी, बल्कि इन उपलब्धियों के लिए भारत के सहयोग के लिए भी प्रतिबद्ध होगी। मैं कोविड-19 के खिलाफ बांग्लादेश के संघर्ष के लिए भारत के समर्थन और एकजुटता को भी व्यक्त करूंगा।
प्रधानमंत्री मोदी यह यात्रा ऐसे समय में हो रही है जब बांग्लादेश अपने मुक्ति संग्राम की 50वीं वर्षगांठ मना रहा है। भारत ने बांग्लादेश की स्वतंत्रता की लड़ाई में अपना पूर्ण सहयोग दिया था, जिसमें भारतीय सैनिकों ने भी अपना बलिदान दिया।
इसके साथ ही दोनों देश कूटनीतिक संबंधों की स्थापना की 50वी वर्षगांठ भी मना रहे हैं। साथ ही इस साल बंग बंधु शेख मुजीबुर्रहमान की 100वीं जयंती भी है।