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झूठ के महारथी केजरीवाल का दावा- दिल्ली के 10 लाख बच्चों को नौकरी दी, नौकरियां देने पर आप नेताओं के बदलते बयान आप भी सुनिये…

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झूठ बोलने में महारथी दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल और उनके मंत्री दावा करते रहते हैं कि उन्होंने 10 लाख युवाओं को नौकरी दी है, लेकिन दावों में कितनी सच्चाई है इसका सबूत ये कभी नहीं पेश कर पाते हैं। इस साल हुए पंजाब विधानसभा चुनाव के दौरान भी केजरीवाल ने दिल्ली में 10 लाख नौकरियां देने का दावा किया था। अब हिमाचल प्रदेश और गुजरात में चुनाव होने वाले हैं तो वहां जाकर भी उन्होंने इस तरह का दावा किया। इसके अलावा आप के तमाम नेता भी इस मामले में अपनी पीठ ठोकने से पीछे नहीं हटते, लेकिन झूठ की पोल खुल ही जाती है। वहीं RTI से मिली जानकारी में यह सामने आया है कि दिल्ली में 7 सालों में केवल 3246 नौकरियां दी गई हैं। नौकरियां देने के मुद्दे पर केजरीवाल और उनके करीबी मनीष सिसोदिया ने कब क्या कहा, इस पर गौर फरमाइए- 21 फरवरी 2022 को केजरीवाल ने कहा कि दिल्ली में 10 लाख नौकरी दी। 24 मार्च 2022 को केजरीवाल ने कहा कि दिल्ली में 12 लाख युवाओं को नौकरी दी। इसके ठीक दो दिन बाद 26 मार्च 2022 को मनीष सिसोदिया ने कहा कि दिल्ली में 1.78 लाख युवाओं को नौकरी दी गई। इनके बयान आप भी सुनिए, दूध का दूध और पानी का पानी हो जाएगा।

RTI के मुताबिक 7 सालों में 3246 लोगों को नौकरी मिली

भाजपा नेता कपिल मिश्रा ने कहा कि मैं केजरीवाल को चुनौती देता हूं कि किन 10 लाख युवाओं को नौकरी दी, कौन से विभाग में नौकरी दी, लिस्ट सार्वजनिक करें। RTI के मुताबिक़ 7 सालों में केवल 3246 नौकरियां दिल्ली में दी गई है। उन्होंने कहा कि  गुजरात के युवाओं से झूठ बोलने के लिए माफ़ी मांगे केजरीवाल।

क्या है 10 लाख नौकरी देने के दावे की हकीकत

दिल्ली सरकार ने महामारी और उसके बाद आजीविका पर पड़े प्रभाव के बाद दिल्ली के लोगों के लिए रोजगार बाजार पोर्टल की शुरुआत 27 जुलाई, 2020 को की गई थी। आधिकारिक आंकड़ों के अनुसार, पोर्टल की शुरुआत होने के बाद से 30 जून, 2022 तक लगभग दो वर्षों में, दिल्ली में 32 रोजगार श्रेणियों में कुल 10,21,303 नौकरियों का सृजन हुआ है। बयान में कहा गया है कि ये नौकरियां 19,402 नियोक्ताओं ने सृजित की हैं। इसके बाद दिल्ली के उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया ने दावा किया था कि केजरीवाल सरकार के रोजगार बाजार पोर्टल के जरिये दो साल में दिल्ली के 10 लाख से अधिक लोगों को सफलतापूर्वक रोजगार उपलब्ध कराया गया है। लेकिन अंग्रेजी अखबार द हिंदू में छपी एक रिपोर्ट से दिल्ली सरकार के इस दावे पर सवाल उठने लगे। द हिंदू में छपी रिपोर्ट के मुताबिक अगर आधिकारिक आंकड़ों को देखा जाए तो 1 मई तक केवल 12,588 लोगों ने पोर्टल के माध्यम से नौकरी हासिल की थी।

दिल्ली सरकार का 12,588 लोगों को रोजगार देने का वादा भी खोखला

द हिंदू में रिपोर्ट छपने के बाद कहा जा रहा है कि दिल्ली सरकार का 12,588 लोगों को रोजगार देने का ये वादा भी खोखला सा ही है। अखबार के मुताबिक जिन 12,588 लोगों को नौकरी देने का दावा किया जा रहा है, उनसे सरकार ने कोई सीधी बातचीत नहीं की है। ये आंकड़ा सिर्फ एंप्लॉयर्स की तरफ से और उनसे बात करके जारी किया गया है। यानी जिन लोगों को कथित रूप से रोजगार मिला, उनसे ये नहीं पूछा गया की असल में उन्हें नौकरी मिली है या नहीं। यानी इससे यह साफ हो जाता है कि नौकरी पाने वाले लोगों की संख्या कितनी सटीक है, यह साफ नहीं है।

 

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