प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने आज (13 दिसंबर, 2021) काशी विश्वनाथ कॉरिडोर का लोकार्पण किया। विधानसभा चुनाव से पहले हुए इस लोकार्पण से समाजवादी पार्टी और उसके प्रमुख अखिलेश यादव इसका श्रेय लेने के लिए काफी परेशान है। जनता को गुमराह करने के लिए अखिलेश यादव ने काशी विश्वनाथ कॉरिडोर के विकास को लेकर बड़ा दावा किया। लेकिन इस दावे की पोल खुलने में देरी नहीं हुई। योगी सरकार ने दावे का फैक्ट चेक कर अखिलेश यादव और उनकी पार्टी के झूठ का पर्दाफाश कर दिया।
अखिलेश के दावे पर उत्तर प्रदेश की योगी सरकार ने भी पलटवार किया। यूपी सरकार ने #InfoUPFactCheck के जरिए सोशल मीडिया पर अखिलेश यादव के दावे को पूर्णतः गलत बताया। यूपी की योगी सरकार ने लिखा, “श्री काशी विश्वनाथ धाम के विकास को लेकर 2012 से 2017 के दौरान कैबिनेट में कोई चर्चा नहीं की गई। पूर्व की सपा सरकार के दौरान श्री काशी विश्वनाथ कॉरिडोर को लेकर प्रस्ताव पास होने का दावा पूर्णतः गलत है। कृपया भ्रामक सूचनाएं सोशल मीडिया पर प्रसारित करने से बचें।” इस ट्वीट के साथ ही फोटो भी शेयर की गई है जिसमें समाजवादी पार्टी के उस ट्वीट को झूठा करार दिया गया है।
#InfoUPFactCheck: श्री काशी विश्वनाथ धाम के विकास को लेकर 2012 से 2017 के दौरान कैबिनेट में कोई चर्चा नहीं की गई।
पूर्व की सपा सरकार के दौरान श्री काशी विश्वनाथ कॉरिडोर को लेकर प्रस्ताव पास होने का दावा पूर्णतः गलत है।
कृपया भ्रामक सूचनाएं सोशल मीडिया पर प्रसारित करने से बचें। pic.twitter.com/frHaPWKZ3j
— Info Uttar Pradesh Fact Check (@InfoUPFactCheck) December 12, 2021
सबसे पहले अखिलेश यादव ने रविवार को मीडिया से बातचीत के दौरान कहा कि जब वो मुख्यमंत्री थे तब वाराणसी में काशी विश्वनाथ कॉरिडोर की शुरुआत हुई थी। उन्होंने ये भी कहा कि उनके कैबिनेट ने इस प्रस्ताव को मंजूरी भी दी थी। अखिलेश यादव ने क्रोनोलॉजी समझाते हुए ट्वीट किया, ” काशी विश्वनाथ कॉरिडोर की क्रोनोलॉजी: – सपा सरकार में करोड़ों का आवंटन हुआ – सपा सरकार में कॉरिडोर हेतु भवनों का अधिग्रहण शुरू हुआ – मंदिरकर्मियों के लिए मानदेय तय किया गया ‘पैदलजीवी’ बताएं कि सपा सरकार के वरुणा नदी के स्वच्छता अभियान को क्यों रोका और मेट्रो का क्या हुआ।”
काशी विश्वनाथ कॉरिडोर की क्रोनोलॉजी:
– सपा सरकार में करोड़ों का आवंटन हुआ
– सपा सरकार में कॉरिडोर हेतु भवनों का अधिग्रहण शुरू हुआ
– मंदिरकर्मियों के लिए मानदेय तय किया गया‘पैदलजीवी’ बताएं कि सपा सरकार के वरुणा नदी के स्वच्छता अभियान को क्यों रोका और मेट्रो का क्या हुआ।
— Akhilesh Yadav (@yadavakhilesh) December 12, 2021
अखिलेश यादव ने अपने दावों को लेकर आवश्यकता पड़ने पर सबूत भी पेश करने की बात कही। समाजवादी पार्टी के मीडिया सेल के ट्विटर हैंडल से ट्वीट किया गया, “काशी विश्वनाथ कॉरिडोर को समाजवादी सरकार की कैबिनेट ने पास किया था, हम उसके डॉक्यूमेंट देकर अपनी बात से सिद्ध करेंगे।”
माननीय राष्ट्रीय अध्यक्ष श्री अखिलेश यादव जी की प्रेसवार्ता: (12/12/2021)
काशी विश्वनाथ कॉरिडोर को समाजवादी सरकार की कैबिनेट ने पास किया था, हम उसके डॉक्यूमेंट देकर अपनी बात से सिद्ध करेंगे।
— SamajwadiPartyMedia (@MediaCellSP) December 12, 2021
अखिलेश यादव और उनकी पार्टी का झूठ पकड़े जाने के बाद सोशल मीडिया पर लोगों ने जमकर लताड़ लगाई। कई ट्विटर यूजर्स ने तंज कसते हुए लिखा कि बहुत कम लोग जानते होंगे कि चांद पर जाने वाला पहला इंसान समाजवादी पार्टी से था। एक ट्विटर यूजर ने लिखा कि बहुत कम लोगों को पता है कि पृथ्वी पर जो जल है उसका 3/4 हिस्सा समाजवादी टोटियों से आया था। इसीलिए 2017 में सरकार चले जाने के कारण भूजल स्तर नीचे गिर गया। अगली बार भैया जी सरकार में आएंगे तो पुनः टोटियां चालू कर पूरी धरती को जलमग्न कर देंगे। इस तरह कई यूजर्स ने अखिलेश यादव और उनकी पार्टी को आईना दिखाया।