पीडीपी अध्यक्ष और जम्मू-कश्मीर की पूर्व मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती ने एक बार फिर देशद्रोही बोल बोले हैं। पार्टी के 22वें स्थापना दिवस के अवसर पर 28 जुलाई को श्रीनगर में पार्टी मुख्यालय पर अपने संबोधन में महबूबा मुफ्ती ने सारी हदें पार करते हुए केंद्र की लोकप्रिय मोदी सरकार की तुलना ईस्ट इंडिया कंपनी से कर दी। महबूबा ने जम्मू-कश्मीर के विशेष दर्जे को बहाल करने की मांग करते हुए कहा कि 5 अगस्त, 2019 को केंद्र सरकार ने जो भी अवैध तरीके से छीना था, वो उसे ब्याज के साथ लौटाना पड़ेगा। महबूबा ने कहा, “यह दुर्भाग्यपूर्ण है कि भारत में एकमात्र मुस्लिम बहुल राज्य विभाजित कर दिया गया है और ये सब भारत और उसके संविधान के द्वारा नहीं, बल्कि एक पार्टी ने किया है।”
महबूबा मुफ्ती ने केंद्र सरकार पर संस्थानों को कमजोर करने का आरोप लगाते हुए उसे आधुनिक ईस्ट इंडिया कंपनी करार दिया। उन्होंने कहा कि जिस तरह अंग्रेजों यानि ईस्ट इंडिया कंपनी ने भारत के ऊपर हुकूमत की। केंद्र की भाजपा सरकार भी उसी तर्ज पर शासन कर रही है। उन्हें मुल्क में रहने वाले हर शख्स पर शक है, चाहे वो कोई बड़ा नेता ही क्यों न हो। इजराइल से मशीनें लाकर हर एक की बातचीत पर नजर रखी जा रही। इससे साबित होता है कि ईस्ट इंडिया कंपनी और भाजपा सरकार में कोई फर्क नहीं है। ईस्ट इंडिया कंपनी भी हिंदुस्तान के लोगों को शक की नजर से देखती थी।
महबूबा मुफ्ती ने पाकिस्तान के प्रति अपने प्रेम को दिखाते हुए पाकिस्तान से बातचीत करने की वकालत की। उन्होंने कहा कि कश्मीर मुद्दे का हल निकालने और इस क्षेत्र में खून-खराबा रोकने के लिए भारत को पाकिस्तान से बात करनी चाहिए।
जम्मू-कश्मीर की पूर्व CM @MehboobaMufti ने एक बार फिर से भाजपा पर निशाना साधा है।
मुफ्ती ने कहा कि BJP और ईस्ट इंडिया कंपनी के बीच फर्क नहीं है।
महबूबा का कहना है कि दोनों में यह सम्मानता है कि दोनों अपने देश के लोगों पर शक करते हैं और टेक्नोलॉजी का इस्तेमाल जासूसी करते हैं pic.twitter.com/uk3NxYaopa
— Kajal Rajput (@Kajalrajput2184) July 28, 2021
लेकिन महबूबा मुफ्ती की इस देशद्रोही बयानबाजी को लेकर सोशल मीडिया पर लोगों ने जमकर अपना गुस्सा निकाला है।
J&K Citizens will never support the anti-national Opportunistic Blame Gamer Politicians like Mahabuba Mufti!
— RVSingh (B_UPINDYA) (@B_UPINDYA1) July 29, 2021
यहीं उम्मीद है इनसे गुप्तचर गैंग जो ठहरी.
— chandan shahi ?? (@chandan17127259) July 29, 2021
महबूबा और उन जैसे तमाम पाक परस्त अलगाववाद समर्थक नेता 1947 का मूलधन लौटाने का कष्ट करें. उस समय नेहरू के मुस्लिम प्रेम की नासमझी को वहां की जनता अलगाववाद और आतंकवाद के अतिरिक्त सौगात के रूप में झेल रही है. छद्म प्रेम का जीवंत दर्शन है कश्मीरी नेताओं का कश्मीर राग.
— Prakash chandra Pathak (@Prakash39039206) July 28, 2021
Isko to pakistaan bhej do koi..
— Dilip kumar (@Dilipku85159067) July 29, 2021
Isko to Pakistan deport karo seedhe. Or risk mat lo isko yaha rakhne ka
— sahil gupta (@524Gupta) July 28, 2021
KASHMIRI PANDITO KI SAMPATTI 1990 ME LOOTA USKA BYAJ BHI DOGI…MUDDAL KE SATH ??
— Padmakar Hanchate (@padmakarhancha1) July 28, 2021
बिलकुल बिलकुल। पूरी तरह दुल्हनके जोड़े में ब्याज के पैसों से बनवाये हुए हीरे जवाहरात के गहनो के साथ पकिस्तान रवाना करनी ही होगी। नहीं तो कश्मीर में आग लगाते रहेगी बुढऊ के साथ मिलकर। अगर बुढऊ को भी साथ मे भेज दिया जाए तो कश्मीर फिर एक बार नन्दनवन बन सकता है।
— Vedprakash Agarwal (@Vedprakashagarw) July 28, 2021
यही हम सारे देशवासी भी कहते है।तुम कश्मीर के नेताओंने अब तक जितना कश्मीर लो लुटाखसोटा है सारा लौटाना होगा।तब तक मोदीजी,देश तुम लोगोंको छोड़ेगा नही,वसूल करके रहेगा,याद रखना।सच्चाई कबूल लो,सपने देखना छोड़ दो।अब नेहरू,गाँधीयो का राज नहीं है।
— S.Vdev. (@vdevaaa) July 28, 2021