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मुरादाबाद में मानवता हुई शर्मसार, मेडिकल स्टाफ के लिए कोरोना बनी भीड़, सीएम योगी ने दिया NSA लगाने का आदेश

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उत्तर प्रदेश के मुरादाबाद में मानवता को शर्मसार करने वाला मामला सामने आया है। जो मेडिकल टीम दूसरों को कोरोना वायरस से बचाने और उनकी हिफाजत के लिए गई थी, उस टीम को भीड़ ने अपना निशाना बना लिया और टीम के सदस्यों को अपनी जान के लाले पड़ गए। दरअसल जिले के नागफनी थानाक्षेत्र के हॉटस्पॉट क्षेत्र में बुधवार दोपहर पुलिस और स्वास्थ्य विभाग की टीम पर महिलाओं और कुछ लोगों ने पथराव कर दिया, जिससे डॉक्टर और उनके साथ गया मेडिकल स्टाफ घायल हो गया। इस घटना को लेकर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कड़ा रुख अपनाया है। उन्होंने दोषी व्यक्तियों के खिलाफ आपदा नियंत्रण अधिनियम और राष्ट्रीय सुरक्षा अधिनियम (NSA) के तहत कार्रवाई का आदेश दिया है, साथ ही तोड़फोड़ में हुए संपत्ति के नुकसान की भरपाई दोषियों से ही की जाएगी।

मुरादाबाद में मंगलवार देर रात एक कोरोना मरीज की मौत हो गई थी। मेडिकल टीम इस मौत के बाद हाजी नेक की मस्जिद के पास से मरीज के संपर्क में आए लोगों को क्वारंटीन करने के लिए लेने गई थी। ऐंबुलेस जैसे ही कुछ लोगों को लेकर निकली, दर्जनों लोगों ने ऐंबुलेंस को घेर लिया और पथराव शुरू कर दिया। 

ऐंबुलेंस में मौजूद डॉ. एससी अग्रवाल को खींचकर लोगों ने पीटना शुरू कर दिया। चारों तरफ से पथराव होने पर वहां मौजूद पुलिस के सिपाही भी भाग निकले। साथ ही मौका देखकर मेडिकल स्टाफ भी जान बचाकर भागे। लेकिन भीड़ में फँसे डॉक्टर की लोगों ने जमकर पिटाई की। मेडिकल स्टाफ ने बताया कि लोगों ने वहां हम लोगों को पीटने की पहले से ही तैयारी कर रखी थी। घटना में जहां डॉ. एससी अग्रवाल गंभीर रूप से जख्मी हो गए,वहीं पुलिस की गाड़ी और ऐंबुलेंस आदि को भारी नुकसान पहुंचा। 

महिलाएं भी किसी से पीछे नहीं थीं। जब मेडिकल टीम लोगों को क्वारंटीन करने गई, तो टीम को देखकर महिलाएं भड़क गईं और उन्होंने एक भी सदस्य को जाने नहीं दिया। इस दौरान छतों पर मौजूद महिलाएं मेडिकल स्टाफ और पुलिस पर पत्थर फेंकने लगीं। पुलिस ने पथराव करने वाली कई महिलाओं को हिरासत में लिया है।

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने घटना का संज्ञान लेते हुए कहा कि स्वास्थ्य विभाग के डॉक्टर्स व कर्मी, सभी सफाई अभियान से जुड़े अधिकारी/कर्मचारी, सुरक्षा में लगे सभी पुलिसकर्मी इस आपदा की घड़ी में दिन रात सेवा कार्य में जुटे हैं। इन पर हमला एक अक्षम्य अपराध है, जिसकी जितनी निंदा की जाए कम है।

मुख्यमंत्री ने आरोपियों के खिलाफ एनएसए के तहत कार्रवाई और दोषी व्यक्तियों द्वारा की गई सरकारी सम्पत्ति के नुकसान की भरपाई उन्हीं से करवाए जाने का आदेश दिया है। उन्होंने जिला और पुलिस प्रशासन को ऐसे उपद्रवी तत्वों को तत्काल चिह्नित कर गिरफ्तार करने का आदेश दिया है।

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