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पीएम मोदी के आह्वान पर लोगों की मदद में जुटे देशवासी, जानिए कोरोना सेनानियों की प्रेरित करने वाली 10 कहानियां

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देश इस समय कोरोना महामारी के संकट से गुजर रहा है। प्रधानमंत्री मोदी ने 14 अप्रैल तक देशव्यापी लॉकडाउन का ऐलान किया है। करोड़ों लोग कोरोना को मात देने के लिए अपने घरों में मौजूद हैं। ऑफिस बंद हैं, बाजार बंद हैं, सड़के सूनी हैं और हर तरफ सन्नाटा है। जाहिर है ऐसे वक्त में करोड़ों लोगों के सामने रोजी-रोटी का संकट पैदा हो गया है। व्यापरियों का धंधा बंद हो गया है। लेकिन पीएम मोदी के आह्वान पर ऐसे मुश्किल वक्त में देशभर में हजारों लोग अपनी-अपनी तरफ लोगों की मदद के लिए आगे आ रहे हैं।


कहानी नंबर 1- पुणे के तीन दोस्तों में शुरू की COVID-19 हेल्पलाइन
पुणे में कोरोना वायरस के पीड़ितों की संख्या लगातार बढ़ती जा रही है। ऐसे में शहर के बुजुर्गों की मदद के लिए तीन दोस्तों ने एक हेल्पलाइन शुरू की है। इसके जरिए ये लोग शहर के बुजुर्गों को जरूरतमंदों को हर तरह की मदद पहुंचाने में जुटे हुए है। ये तीन दोस्त पिछले एक हफ्ते में 900 से अधिक बुजुर्गों की मदद कर चुके हैं।

कहानी नंबर 2- केरल के ट्रेडर ने दुकानदारों का 12 लाख रुपये का रेंट माफ किया
कोझीकोड़ के ट्रेडर सी ई चाकुन्नी की शहर में कई बिल्डिंग हैं और वहां उन्होंने सैकड़ों दुकानों को किराए पर दे रखा है। पिछले कुछ दिनों से कोरोना संकट की वजह से व्यापार चौपट होने की वजह से दुकानदार किराया देने की स्थिति में नहीं है। ऐसे में चाकुन्नी ने बड़ा फैसला लेते हुए कोरोना संकट में घिरे अपने किराएदारों का 12 लाख रुपये महीने का किराया माफ करने का फैसला लिया है।

कहानी नंबर 3- बॉलीवुड इंडस्ट्री के दैनिक वेतनभोगी कर्मचारियों की मदद

फिल्म इंडस्ट्री में हजारों दैनिक वेतभोगी कर्मचारियों की मदद के लिए फिल्म जगत के जुड़े लोग सामने आए हैं। मशहूर फिल्म निर्देशक राजकुमार हिरानी ने ट्वीट कर बताया है कि फिल्म उद्योग इस वक्त पूरी तरह से बंद है, ऐसे में रोजना कमाने खाने वालों के सामने संकट पैदा हो गया है। ऐसे में फिल्म इंडस्ट्री से उन्होंने ऐसे लोगों की मदद का आह्वान किया है और उन्हें इसमें फिल्म जगत से जुड़े लोगों का भरपूर साथ भी मिल रहा है।

कहानी नंबर 4- आरडब्ल्यूए ने किया सोसोइटी के लोगों के लिए खाने का इंतजाम
गुरुग्राम की डीएलएफ-2 आरडब्ल्यूए ने अपने क्षेत्र में रहने वाले रेजीडेंट के लिए खान की सुविधा शुरू की है। आरडब्ल्यूए के मुताबिक कई लोग ऐसे हैं जो कुक के ऊपर निर्भर हैं। कोरोना लॉकडाउन में उनके सामने खाने का संकट पैदा हो गया है। ऐसे लोगों के लिए ऑर्डर देने पर लंच और डिनर की सुविधा शुरू की गई है। बहुत कम कीमत पर उन्हें खाना उपलब्ध कराया जा रहा है।

कहानी नंबर 5- अहमदाबाद में नगर निगम लोगों तक पहुंचा रहा सब्जी-भाजी
अहमदाबाद में लॉकडाउन के दौरान नगर निगम के अधिकारियों ने शहरवासियों तक ताजा सब्जी पहुंचाने का काम शुरू किया है। नगर निगम की तरफ से ई-रिक्शा पर ताजी सब्जियों को शहर के गली-मोहल्लों में पहुंचाया जा रहा है, ताकि लोगों को सब्जी के लिए अपने घरों से बाहर नहीं निकलना पड़े। इतना ही नहीं नगर निगम नें सब्जी की सप्लाई सुनिश्चित करने की जिम्मेदारी महिला स्वयं सहायता समूहों को दी है।

कहानी नंबर 6- पारले 3 करोड़ बिस्किट के पैकेट मुफ्त बांटेगी
कोरोना महामारी से पैदा हुए संकट से निपटने में बिस्कुट समेत तमाम खाद्य पदार्थ बनाने वाले पारले कंपनी आगे आई है। पारले कंपनी ने तीन करोड़ पारले-G बिस्किट के पैकेट सरकारी एजेंसियों के माध्यम से जरूरतमंदों को मुफ्त देने का ऐलान किया है।

कहानी नंबर 7- जोमेटो ने ‘feed the daily wager’ अभिया शुरू किया 

कोरोना लॉकडाउन के दौरान फूड डिलीवरी स्टार्ट-अप ज़ोमैटो ने ‘फीड द डेली वेजर’ अभियान शुरू किया है, जिसमें जरूरतमंदों को 500 रुपये मूल्य की राशन किट दान की जा रही है। इस किट में गेहूं का आटा या चावल, दो प्रकार की दालें और पांच लोगों के परिवार के लिए आवश्यक साबुन आदि शामिल है। जोमेटो ने देश के 26 शहरों में इन किटों को पहुंचाने के लिए 25 करोड़ रुपये जुटाने का लक्ष्य निर्धारित किया है। जोमेटो ने इसके लिए ग्रोफर्श से गठजोड़ किया है। इसमें कई लोकल एनजीओ ने भी अपना योगदान दिया है।

कहानी नंबर 8- लद्दाख में एक मोंक ने कोरोना पाड़ियों के इलाज के लिए अपना अस्पताल दिया
लद्दाख में बौद्ध भिक्षु लामा थुपस्टान चोग्याल ने कोरोना पीड़ितों के इलाज के लिए अपने लद्दाख हार्ट फाउंडेशन अस्पताल को प्रशासन को सौंप दिया है। इस अस्पताल में कई कोरोना पीड़ितों का मुफ्त में इलाज किया जा रहा है।

कहानी नंबर 9- एनजीओ ने जरूरी सामान की डिलीवरी के लिए वॉलंटियर्स की सेना बनाई
मुंबई के एक एनजीओ प्रोजेक्ट मुंबई ने शहर के बुजुर्गों और असहाय लोगों तक ग्रोसरीज और दवाओं की सप्लाई के लिए वॉलंटियर्स की एक सेना बनाई है। एनजीओ के प्रमुख शिशिर जोशी के मुताबिक उन्हें लगा कि इस मुश्किल दौर में सबसे अधिक परेशानी उन बुजुर्गों को होगी, जो घरों में अकेले हैं और जरूरी चीजों के लिए घर से निकलने में असमर्थ हैं।

कहानी नंबर 10- सागर की जिलाधिकारी लोगों के लिए मास्क बनवाने में जुटीं
एक तरफ जहां कोरोना महामारी के दौरान पूरे देश में मास्क की कमी है, वहीं मध्यप्रदेश के सागर जिले की जिलाधिकारी प्रीति मैथिल नायक ने अपने जिले के लोगों के लिए मास्क की कमी नहीं पड़ने की ठानी है। वे स्थानीय लोगों की मदद से बड़ी संख्या में मास्क बनवा रही हैं और लोगों में बंटवा रही हैं।

 

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