भारत के लोगों की विशेषता है कि वे विश्व के जिस भी देश में जाते हैं, वहां अपनी प्रतिभा से उस देश के विकास में अहम योगदान देने के साथ ही संस्कृति को भी समृद्ध करते हैं। यहीं वजह है कि संयुक्त राज्य अमेरिका में दीपावली बड़े हर्षोल्लास के साथ मनायी जाती है। लेकिन इस बार की दीपावली अमेरिका में रहने वाले करोड़ों भारतीयों के लिए खास होने वाली है। अगर सबकुछ ठीक रहा, तो अमेरिका में भी दीपावली पर सरकारी छुट्टी घोषित की जा सकती है। यह एक तरह से भारतवंशियों को बाइडेन प्रशासन का दिवाली गिफ्ट हो सकता है।
कांग्रेस की सदस्य कैरोलिन मैलोनी इस संबंध में अमेरिकी कांग्रेस के सामने एक विधेयक पेश करने जा रही हैं। इसका मकसद अमेरिका में दीपावली को प्रशासनिक अवकाश के रूप में घोषित कराना है। अगर इस बिल को मंजूरी मिल जाती है, तो अमेरिका में रहने वाले करोड़ों भारतीयों के अलावा अमेरिकियों को दीपावली के दिन छुट्टी का आनंद उठाने का मौका मिलेगा। इसके साथ ही भारतीय अमेरिकियों की सांस्कृतिक विरासत का भी सम्मान होगा। जनवरी 2021 में संयुक्त राष्ट्र द्वारा जारी रिपोर्ट के अनुसार, अमेरिका में भारतीय मूल के लोगों की संख्या 4.2 करोड़ है।
मैलोनी ने ट्वीट कर बताया कि बुधवार(3 नवंबर, 2021) को यह विधेयक पेश किया जाएगा। इसके समर्थन में न्यूयॉर्क के डेमोक्रेट कांग्रेसी के साथ इंडिया कॉकस के सदस्य भी शामिल होंगे। इनमें कांग्रेसी रो. खन्ना, कांग्रेसी राजा कृष्णमूर्ति और अन्य अधिवक्ता शामिल हैं। भारतीय अमेरिकी समुदाय के सदस्यों का प्रतिनिधित्व करने के लिए इंडियास्पोरा के कार्यकारी निदेशक संजीव जोशीपुरा भी कांग्रेस सदस्य में शामिल होंगे। सांसद मैलोनी ने अमेरिकी डाक सेवा से दीपावली के सम्मान में एक डाक टिकट जारी करने का आग्रह किया है। इसके लिए मैलोनी ने संयुक्त राज्य अमेरिका के वकीलों के साथ मिलकर काम किया है। ये डाक टिकट 2016 से प्रचलन में है।
Happy 5 year anniversary to the Diwali Stamp! Proud to have led the legislation that helped make this happen! Read all about the 7-year saga to get this stamp in circulation below. ?https://t.co/vCFk0uWsya
— Carolyn B. Maloney (@RepMaloney) November 2, 2021
पिछले हफ्ते अमेरिकी सांसदों ने व्हाइट हाउस के वरिष्ठ अधिकारियों के साथ मिलकर कैपिटल हिल में भारतीयों के साथ दीपावली मनाई थी। इस दौरान अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन ने अपने प्रशासन में कार्यरत कुछ भारतीयों को सम्मानित भी किया था। इनमें वाइस एडमिरल सर्जन जनरल विवेक मूर्ति और प्रेसिडेंट की सीनियर एडवायजर और स्टाफ सचिव नीरा टंडन भी शामिल थीं। अमेरिकी कांग्रेस में यह दृश्य अमेरिका के सामाजिक-राजनीतिक परिदृश्य में इस छोटे लेकिन प्रभावशाली समुदाय के उभार को दर्शाता है। सांसदों ने अमेरिका के विकास में भारतवंशी अमेरिकियों के योगदान की प्रशंसा की और कोविड-19 के बाद की दुनिया में दीपावली के महत्व पर प्रकाश डाला।
पिछले साल एक संयुक्त बयान में अमेरिका के नवनिर्वाचित राष्ट्रपति जो बाइडेन और नवनिर्वाचित उपराष्ट्रपति कमला हैरिस ने अमेरिका, भारत और दुनिया के अन्य हिस्सों में प्रकाश पर्व मना रहे लोगों को दीपावली की शुभकामनाएं दी थीं। उन्होंने कहा कि अंधकार पर प्रकाश, अज्ञानता पर ज्ञान और उदासीनता पर सहानुभूति का त्यौहार दीपावलीी इस साल गहरे अर्थों के साथ आया है। बाइडेन ने ट्वीट किया, ”लाखों हिंदू, जैन, सिख और बौद्ध प्रकाश पर्व मना रहे हैं। मैं और मेरी पत्नी जिल बाइडेन दीपावली की शुभकामनाएं देते हैं। आपका नया साल उम्मीदों, खुशियों और समृद्धि से भरा हो। (नया) साल मुबारक।” कमला हैरिस ने ट्वीट किया, ”दीवाली और साल मुबारक। डगलस एमहॉफ (हैरिस के पति) और मैं दुनिया भर में लोगों को सुरक्षित, स्वस्थ और आनंदपूर्ण नव वर्ष की शुभकामनाएं देते हैं।”
To the millions of Hindus, Jains, Sikhs, and Buddhists celebrating the Festival of Lights, @DrBiden and I send our best wishes for a #HappyDiwali. May your new year be filled with hope, happiness, and prosperity. Sal Mubarak.
— Joe Biden (@JoeBiden) November 14, 2020
गौरतलब है कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी का शासनकाल वैश्विक स्तर पर भारतीय संस्कृति एवं परंपरा का स्वर्ण काल है। जहां प्रधानमंत्री मोदी ने योग को अंतरराष्ट्रीय मान्यता दिलाने में अहम योगदान दिया, वहीं अमेरिका और अन्य देशों में रहने वाले भारतवंशियों ने भारत की संस्कृति को विश्व के अनेक देशों में मान्यता दिलाने में प्रमुख भूमिका निभाई है। अब भारतीय संस्कृति की ताकत सॉफ्ट पॉवर के रूप में बदलती जा रही है। प्रधानमंत्री मोदी ने कल्चरल डिप्लोमेसी के जरिए सॉफ्ट पॉवर को मजबूती दी है, जिसे धार देने का काम भारतवंशियों ने किया है।