प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के 72वें जन्मदिन पर बधाइयों का तांता लगा हुआ है। प्रधानमंत्री मोदी को भारत सहित पूरी दुनिया से समर्थकों और शुभचिंतकों की शुभकामनाएं मिल रही हैं। शुभकामना देने वालों में इंग्लैंड के मशहूर क्रिकेटर केविन पीटरसन भी शामिल है। लेकिन पीटरसन की शुभकामना अपने आप खास है, क्योंकि पीटरसन ने हिन्दी में ट्वीट कर जन्मदिन की बधाई के साथ वन्यजीवों के संरक्षण के लिए प्रधानमंत्री मोदी द्वारा किए गए कार्यों की जमकर तारीफ की गई है। पीटरसन के इस ट्वीट में विश्व के दूसरे नेताओं को भी प्रधानमंत्री मोदी से सीखने की सलाह दी गई है।
वन्यजीवों के संरक्षण में निरंतर प्रयासों के लिए धन्यवाद-पीटरसन
इंग्लैंड के पूर्व कप्तान केविन पीटरसन ने प्रधानमंत्री मोदी को जन्मदिन की बधाई देने के लिए हिन्दी में ट्वीट किया। बीजेपी के एक ट्वीट को शेयर करते हुए उन्होंने अपने ट्वीट में लिखा, “भारत में वन्यजीवों के संरक्षण के समर्थन में आपके निरंतर प्रयासों के लिए धन्यवाद! यह मेरे दिल के बहुत करीब की बात है। क्या बढ़िया आदमी है! सभी नेताओं को आपके नेतृत्व का पालन करना चाहिए।”
भारत में वन्यजीवों के संरक्षण के समर्थन में आपके निरंतर प्रयासों के लिए धन्यवाद! यह मेरे दिल के बहुत करीब की बात है। क्या बढ़िया आदमी है! सभी नेताओं को आपके नेतृत्व का पालन करना चाहिए – @narendramodi @BJP4India ?? https://t.co/U2xPrBlp5W
— Kevin Pietersen? (@KP24) September 17, 2022
वन्य जीवों के संरक्षण में भारत अग्रणी देश – पीटरसन
इससे पहले भी पीटरसन ने वन्य जीव संरक्षण के लिए पीएम मोदी की तारीफ की थी। इस साल प्रधानमंत्री मोदी ने 73वां गणतंत्र दिवस को खास बनाने के लिए कई विदेशी क्रिकेटरों को चिट्ठी लिखी। इसमें इंग्लैंड के पूर्व कप्तान केविन पीटरसन भी शामिल थे। पीटरसन ने प्रधानमंत्री मोदी की चिट्ठी को सोशल मीडिया पर शेयर किया आभार जताया। पीटरसन ने अपने ट्वीट में लिखा था, “आदरणीय मोदी जी, मुझे लिखे गए आपके पत्र में अविश्वसनीय रूप से दयालु शब्दों के लिए बहुत-बहुत धन्यवाद। 2003 में भारत में कदम रखने के बाद से, मुझे हर यात्रा पर आपके देश से प्यार हो गया है। भारत के वन्यजीवों की रक्षा के लिए आप जो कुछ भी कर रहे हैं, उसके लिए आपको धन्यवाद देने के लिए मैं आपसे जल्द ही व्यक्तिगत रूप से मिलने का इंतजार नहीं कर सकता।”
Dear, Mr @narendramodi,
Thanks for the incredibly kind words in your letter to me. Ever since stepping foot in India in 2003, I’ve grown more in love with your country on every visit.
I was recently asked, ‘what do you most like about India’ & my answer was easy – THE PEOPLE 1/2 pic.twitter.com/fHvMMWi4Mi— Kevin Pietersen? (@KP24) January 28, 2022
पीएम मोदी ने कूनो नेशनल पार्क में 8 चीतों को छोड़ा
दरअसल प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने अपने 72वें जन्मदिन पर मध्य प्रदेश के श्योपुर स्थित कूनो नेशनल पार्क में नामीबिया से आए 8 चीतों को छोड़ा। इस दौरान उन्होंने इतिहास रचते हए 70 साल के इंतजार को खत्म किया। यहां प्रधानमंत्री मोदी के लिए 10 फीट ऊंचा प्लेटफॉर्मनुमा मंच बनाया गया था। इसी मंच के नीचे पिंजरे में चीते थे। प्रधानमंत्री मोदी ने लीवर के जरिए बॉक्स को खोलकर चीतों को आजाद किया। इससे केविन पीटरसन भी काफी प्रभावित हुए।
भारत में 8 चीते नामीबिया से लाए गए है…कूनो नेशनल पार्क में पीएम नरेंद्र मोदी ने अपने जन्म दिन के अवसर में चीतों को छोड़ा।#CheetahIsBack #KunoNationalPark #HappyBdayModiji pic.twitter.com/bPfZE9kSDV
— Atul Kumar Yadav ?? (@Atullive01) September 17, 2022
1952 में चीते विलुप्त, 70 साल बाद भारत की धरती पर पड़े पांव
प्रधानमंत्री मोदी ने वन्यजीवों के संरक्षण के लिए काफी कार्य किया है। उनके आठ साल के कार्यकाल में ऐसी अनेक नीतियां बनाई गईं, जिनकी वजह से वन्य जीवों, चीतों, बाघों, शेरों, गैंडा और वन्य जीव संरक्षित क्षेत्रों के सरक्षण को बढ़ावा मिला है। 1952 में चीतों को भारत से विलुप्त घोषित कर दिया गया था, उसके बाद चीतों को लाने के लिए खास प्रयास नहीं किया गया। लेकिन 17 सितंबर, 2022 को ‘प्रोजेक्ट चीता’ के हिस्से के रूप में अफ्रीका के नामीबिया से 8 चीते (5 मादा और 3 नर) लाए गए। आठ चीतों को एक अंतरमहाद्वीपीय चीता स्थानान्तरण परियोजना के हिस्से के रूप में ग्वालियर में एक मालवाहक विमान में लाया गया था। बाद में, भारतीय वायु सेना के हेलिकॉप्टरों ने चीतों को ग्वालियर वायु सेना स्टेशन से कूनो राष्ट्रीय उद्यान तक पहुंचाया गया। इसके अलावा अगले पांच साल में 50 और चीते भारत लाने की योजना है।
लक्ष्य वर्ष से चार साल पहले बाघों की संख्या हुई दोगुनी
देश में अभी 18 राज्यों मे 75 हजार वर्ग किलोमीट मीटर के दायरे में 52 टाइगर रिजर्व हैं। जो दुनिया मे एक मिसाल है। भारत ने टारगेट वर्ष 2022 से चार साल पहले 2018 में ही बाघों की संख्या को दोगुना करने का लक्ष्य हासिल कर लिया। भारत में बाघों की संख्या 2014 में 2,226 से बढ़कर 2018 में 2,967 हो गई है। बाघ संरक्षण के लिए बजट आवंटन में 62 प्रतिशत की बढ़ोतरी हुई। 2014 में 185 करोड़ रुपये से बढ़कर 2022 में 300 करोड़ रुपये हो गया।
शेरों की संख्या 64 प्रतिशत बढ़कर हुई 674
2014 में देश में शेरों की संख्या 411 थी, जिसमें 64 प्रतिशत की बढ़ोतरी हुई, जो अब तक की सबसे अधिक वृद्धि दर में से एक है। अब देश में शेरों की संख्या 674 है। देश के जंगलों में तेंदुओं की संख्या में भी मोदी सरकार में बढ़ोतरी हुई है। 2014 में देश में तेंदुओं की संख्या 7910 थी, जबकि भारत में अब (2020) 12,852 तेंदुए हैं। इनकी जनसंख्या में 60 प्रतिशत से अधिक की वृद्धि दर्ज की गई है। खास बात यह है कि एशियाई शेर सिर्फ भारत में पाये जाते हैं।
मोदी राज में गैंडों की संख्या में 38 प्रतिशत की बढ़ोतरी
एक सींग वाले गैंडों की संख्या के लिहाज से भारत पूरी दुनिया में पहले स्थान पर है। इस समय भारत में इनकी संख्या करीब 3600 के करीब है। इनकी सबसे ज्यादा आबादी असम के काजीरंगा और मानस नेशनल पार्क के अलावा पश्चिम बंगाल व उत्तर प्रदेश में है। हालांकि गैंडों की संख्या यहां तक पहुंचने में कई साल की मेहनत लगी। 1970 में अवैध शिकार के कारण इनकी संख्या घट कर कुछ सौ तक आ गई थी। वर्ष 2014 में गैंडों की संख्या 2600 थी। वहीं एक अनुमान के मुताबिक 2020 में 38 प्रतिशत की वृद्धि के साथ इनकी संख्या 3600 पर पहुंच गई।
मोदी सरकार में वन्यजीव संरक्षित इलाकों के कवरेज में वृद्धि
2014 में वन्यजीव संरक्षित इलाकों का कवरेज देश के भौगोलिक क्षेत्रफल का 4.90 प्रतिशत था, जो अब बढ़कर 5.03 प्रतिशत हो गया है। 2014 में वन्यजीव संरक्षित क्षेत्र का दायरा 740 क्षेत्रों में 1,61,081.62 वर्ग किलोमीटर में फैला हुआ था। जबकि अब इसका इसका दायरा 32 प्रतिशत की वृद्धि के साथ 981 क्षेत्रों में 1,71,921 वर्ग किलोमीटर के क्षेत्र में फैल चुका है। 2014 मे जहां कम्युनिटी रिजर्व 43 थे, वहीं इसकी संख्या 2019 में ही 100 क्षेत्रों को पार कर गई थी। 2014 की तुलना में 2022 में 132 प्रतिशत की वृद्धि हुई है।
वन और वृक्षों के आवरण में 16,000 वर्ग किलोमीटर की वृद्धि
नए आंकड़ों के हिसाब से पिछले चार साल में वन और वृक्षों के आवरण में 16,000 वर्ग किलोमीटर की वृद्धि हुई है। भारत दुनिया के उन कुछ देशों में शामिल हो गया है, जहां वन क्षेत्र लगातार बढ़ रहा है। वहीं प्रधानमंत्री मोदी ने जलीय जीवों के संरक्षण पर भी जोर दिया है। नमामि गंगे प्रोजेक्ट में गंगा को सिर्फ साफ ही करने की बात नहीं की जा रही है बल्कि उसके पानी में रहने वाले लाखों जलीय जीव और तलीय जीवों के संरक्षण के भी प्रयास हो रहे हैं, जिसमें गंगे डॉल्फिन भी शामिल है। नमामि गंगे प्रोजेक्ट से गंगे डॉल्फिन की संख्या में बढ़ोतरी हो रही है।
पीटरसन खुद वन्यजीवों के संरक्षण के हिमायती
गौरतलब है कि साल 2018 में इंटरनेशनल क्रिकेट को अलविदा कहने वाले इंग्लैंड के पूर्व कप्तान केविन पीटरसन सोशल मीडिया पर काफी एक्टिव रहने वाले क्रिकेटर हैं। पीटरसन खुद वन्यजीवों के संरक्षण के हिमायती है और वे अपने ट्विटर हैंडल @KP24 पर वन्यजीवों से जुड़े ट्वीट शेयर करते रहते हैं। पीटरसन जून 2022 में लंडोलोजी गेम रिजर्व में घूम रहे थे और तभी उनका सामना जंगल के राजा शेर से हुआ। पीटरसन जिस गाड़ी से घूम रहे थे उसके सामने अचनाक से शेर आ गया। पीटरसन ने गाड़ी रोक दी और उनकी गाड़ी से कुछ दूर पर ही शेर दहाड़ने लगा। इसके बाद उसके पीछे से एक और शेर आ रहा थे। पहला शेर दहाड़ने के बाद पीटरसन की गाड़ी के थोड़ा पास आकर खड़ा हो गया। पीटरसन ने इसका वीडियो अपने इंस्टाग्राम पर शेयर किया।
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पीटरसन भारतीय फैन्स के नाम अक्सर हिंदी में करते हैं ट्वीट
खास बात यह है कि केविन पीटरसन भारतीय फैन्स के नाम अक्सर हिंदी में ट्वीट कर उनका दिल जीत चुके हैं। इससे पहले केविन पीटरसन ने हिंदी में ट्वीट करते हुए भारतीय जनता को स्वतंत्रता दिवस की बधाई दी थी। पीटरसन ने ट्वीट किया था, ’75वें स्वतंत्रता दिवस की शुभकामनाएं, भारत। गर्व करो और लंबा खड़े रहो। आप सभी के लिए एक बेहतर कल का निर्माण कर रहे हैं।’
75वें स्वतंत्रता दिवस की शुभकामनाएं, भारत। गर्व करो और लंबा खड़े रहो। आप सभी के लिए एक बेहतर कल का निर्माण कर रहे हैं! ❤️ ??
— Kevin Pietersen? (@KP24) August 15, 2022
पैन कार्ड खोने पर पीटरसन ने मांगी मदद
केविन पीटरसन ने फरवरी 2022 में पैन कार्ड खोने के संबंध में हिन्दी और इंग्लिश दोनो भाषाओं में ट्वीट किया, ‘भारत कृपया मदद करें। मेरा पैनकार्ड कहीं हो खो गया है और सोमवार को मुझे भारत आना है, लेकिन काम के लिए भौतिक कार्ड (फिजिकल कार्ड) की जरूरत है। क्या कोई कृपया मुझे किसी ऐसे व्यक्ति के पास भेजा सकता है, जिससे मैं अपनी सहायता के लिए यथाशीघ्र संपर्क कर सकूं?’
भारत कृपया मदद करें⚠️
मैंने अपना पैन कार्ड खो दिया है और सोम यात्रा कर रहा हूं लेकिन काम के लिए भौतिक कार्ड की जरूरत है।
क्या कोई कृपया मुझे किसी ऐसे व्यक्ति के पास भेज सकता है जिससे मैं अपनी सहायता के लिए यथाशीघ्र संपर्क कर सकूं?
cc @narendramodi ??
— Kevin Pietersen? (@KP24) February 15, 2022