राजस्थान की गहलोत सरकार के मंत्री और कांग्रेस पदाधिकारी ‘दीया तले अंधेरा’ की कहावत चरितार्थ करने में लगे हैं। सुदूर मणिपुर में महिलाओं के वीडियो आने पर सीएम गहलोत तक बीजेपी पर हमलावर हैं, लेकिन राजस्थान में महिलाओं के साथ दुष्कर्म, ज्यादती और नग्न परेड पर कांग्रेस नेता चुप्पी साधे हुए हैं। एनसीआरबी की रिपोर्ट भी बताती है कि प्रदेश में 6337 महिलाओं के साथ बलात्कार की वारदातें हुई हैं और इनमें पिछले तीन साल से लगातार इजाफा हो रहा है। पिछले दिनों उदयपुर में एक आदिवासी महिला को नग्न घुमाया गया। इसी प्रकार बाड़मेर जिले के सेड़वा तहसील में एक महिला का अर्द्धनग्न वीडियो वायरल हो रहा है। लेकिन सरकार की ओर से इन पर कोई टिप्पणी नहीं आई है। महिलाओं के साथ राजस्थान में इस तरह की वारदातों के लेकर गहलोत सरकार पर बीजेपी इसलिए भी हमलावर है, क्योंकि इतनी वारदातें होने के बावजूद कांग्रेस आलाकमान, सोनिया-राहुल या प्रियंका गांधी वाड्रा में से किसी का बयान नहीं आया है। जबकि यही नेता बीजेपी शासित राज्यों में एक भी गैंगरेप होने पर उसे राष्ट्रीय मुद्दा बनाने की कोशिशों में लगे रहे हैं। “लड़की हूं, लड़ सकती हूं” कहने वाली प्रियंका गांधी राजस्थान की अबलाओं की लड़ाई में हिस्सेदार नहीं बन रही हैं।कांग्रेस सरकार में महिलाओं के खिलाफ अपराध बढ़े, दुष्कर्म के 6337 केस
इसकी वजह भी है। कांग्रेस के राज में महिलाओं से बलात्कार के मामले रुक ही नहीं पा रहे हैं। एनसीआरबी के आंकड़ों के मुताबिक राजस्थान में 1452 नाबालिगों से और 4885 महिलाओं से दुष्कर्म के केस हुए हैं। बीजेपी नेता इसलिए सरकार के खिलाफ हैं, क्योंकि गहलोत राज में महिलाओं के खिलाफ अपराधों में हर साल बढ़ोत्तरी हो रही है। यहां तक कि आदिवासी और दलित महिलाओं को भी नहीं बख्शा जा रहा। मुख्यमंत्री गहलोत ने हाल ही में पीएम मोदी के बयान को शर्मनाक बताया था, लेकिन 2021 के ये आंकड़े गवाह हैं कि राजस्थान में महिलाओं की स्थिति कितनी ज्यादा शर्मनाक है। यहां तक कि सीएम के गृह जिले जोधपुर में ही पिछले दिनों दलित महिला से गैंगरेप की वारदात हो चुकी है।
उदयपुर जिले में आदिवासी महिला की प्रेमी के साथ कराई नग्न परेड
इतना ही नहीं पिछले दिनों उदयपुर के के कानोड़ पुलिस स्टेशन के तहत कसोटिया गांव में एक आदिवासी महिला की नग्न परेड भी कराई गई। उस महिला का अपराध यही था कि उसने समुदाय की अनुमति के बिना 24 वर्षीय प्रेमी के साथ रहने का फैसला किया था। पुलिस प्रशासन से बेखौफ समाजकंटकों ने न सिर्फ महिला और उसके प्रेमी के जबरन पेड़ के बांध दिया, बल्कि दो दिनों तक कैद में रखने और पिटाई करने के बाद उनकी नग्न परेड तक करा दी। मणिपुर की इतनी पुरानी घटना पर हो-हल्ला मचाने वाले कांग्रेस के नेता अपने ही प्रदेश में हाल ही में हुई इस घटना पर चुप्पी साधे बैठे रहे।महिला मर्यादा तार-तार होने के बाद गांव में अतिरिक्त पुलिसकर्मियों की तैनाती
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक स्थानीय लोगों द्वारा आदिवासी जोड़े को जबरन वापस लाया गया, कपड़े उतार दिए गए, एक पेड़ से बांध दिया गया। बाद में गांव वालों के सामने ही उनकी नग्न परेड कराई। पुलिस की आंख भी तब खुली जब सोशल मीडिया पर प्रेमी युगल की फोटो और वीडियो आई। इसके बाद ही जोड़े को नग्न घुमाने में संलिप्तता के लिए उदयपुर पुलिस ने तेरह लोगों को गिरफ्तार किया। मुख्य आरोपी भंवरलाल मीणा सहित आरोपियों के खिलाफ धारा 365, 384 और 354 के तहत केस दर्ज किया गया। महिला मर्यादा तार-तार होने के बाद में कानून व्यवस्था बनाए रखने के लिए गांव में अतिरिक्त पुलिस कर्मियों को तैनात किया गया।
Yet another woman atrocity in Rajasthan!! A naked body of a tribal woman has been found in Sedwa tehsil of Barmer district.
Rajasthan CM @ashokgehlot51 continues to maintain a shameless silence. Who is responsible for the continuous violence, rapes and murders of women in the… pic.twitter.com/wKrNW8tcDF
— Priti Gandhi – प्रीति गांधी (@MrsGandhi) July 25, 2023
बीजेपी नेताओं ने ट्वीट कर राज्य की कानून व्यवस्था पर उठाए सवाल
महिला से ज्यादती की एक अन्य घटना बाड़मेर जिले के सेड़वा तहसील की भी है। बीजेपी नेता अमित मालवीय और विक्रम गौड़ ने इस बारे में ट्वीट किए हैं। इसमें महिला के अर्द्धनग्न वीडियो में दुष्कर्म की आशंका जताई गई है। उन्होंने कहा है राजस्थान के अलग-अलग जिलों में लगातार महिलाओं से हो रही हिंसा, दुष्कर्म और हत्याओं पर प्रदेश के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत से कोई सवाल नहीं पूछ रहा। बंगाल में पिछले चार दिन में पांच महिलाओं को निर्वस्त्र करने की घटनाएं सामने आई हैं, लेकिन कोई ममता बनर्जी का बयान नहीं मांग रहा। कानून व्यवस्था राज्य का कार्य क्षेत्र है, शायद इसीलिए विपक्ष सदन में चर्चा से भाग रहा है। बीजेपी नेता प्रीति गांधी ने भी ट्वीट किया है कि कांग्रेस की मानसिकता इतनी विकृत है कि वे राजस्थान में अपने उस मंत्री को ही गले लगा लेते हैं, जो गर्व से दावा करते हैं कि राजस्थान में बलात्कार बड़े पैमाने पर हैं क्योंकि यह “मर्दों का प्रदेश” है। और उस मंत्री को बर्खास्त करते हैं, जो महिलाओं की सुरक्षा पर सवाल उठाते हैं।
Opposition parties have halted the proceedings of #Parliament & are not letting it function properly but in their own states –
– Another tribal woman was found naked & dead in Sedwa tehsil, #Rajasthan
– Incidents of stripping of five women have come to the fore in the last four… pic.twitter.com/nfTKnT9Jsn
— Vikram Goud (@VikramGoudBJP) July 25, 2023
राजस्थान में महिलाओं के मुद्दे उठाने पर मंत्री बर्खास्त, पश्चिम बंगाल में ममता मौन
बीजेपी नेता विक्रम गौड़ ने भी ट्विटर पर लिखा विपक्षी पार्टियां संसद सदन चलने नहीं दे रहीं। लेकिन, उनके खुद के और राज्यों में एक राजस्थान में सेड़वा तहसील में एक आदिवासी महिला निर्वस्त्र और मृत पाई गई है। हालांकि कुछ मीडिया रिपोर्ट ने इसे अंतिम संस्कार से पहले का वीडियो बताया है। गौड़ के मुताबिक पश्चिम बंगाल में भी पिछले 4 दिनों में 5 महिलाओं के साथ ऐसी घटनाएं हुई। लेकिन, मुख्यमंत्री ममता बनर्जी का इस बारे में कोई बयान नहीं आया है और उन्होंने चुप्पी साध रखी है। राजस्थान में भी यही हाल है। यहां तो यदि कोई मंत्री इस तरह के संवेदनशील मुद्दे उठाता है तो उसे बर्खास्त कर दिया जाता है। काबिले गौर है कि गहलोत सरकार ने हाल ही में सैनिक कल्याण मंत्री राजेंद्र गुढ़ा को बर्खास्त करने के साथ ही पार्टी से भी निष्कासित कर दिया है।राजेंद्र गुढ़ा ने अपनी सरकार की पोल खोली तो गिरेबां में झांकने के बजाए लिया एक्शन
सैनिक कल्याण मंत्री राजेन्द्र सिंह गुढ़ा ने एक बार फिर अपनी ही कांग्रेस सरकार की पोल खोलते हुए विधानसभा में कहा कि राजस्थान में जिस तरह से महिलाओं पर अत्याचार हुए हैं और लगातार बढ़ रहे हैं, हमें मणिपुर के बजाए अपने गिरेबां में झांकना चाहिए। सैनिक कल्याण मंत्री गुढ़ा की सच्चाई को सीएम गहलोत सह नहीं पाए और उन्होंने 21 जुलाई को देर शाम राज्यपाल से राज्यमंत्री को बर्खास्त करने की अनुशंसा कर दी। राज्यपाल कलराज मिश्र ने सीएम इस अनुशंसा को तत्काल प्रभाव से स्वीकार किया है। गुढ़ा पहले भी सरकार के भ्रष्टाचार पर सार्वजनिक रूप से खरी-खरी सुना चुके हैं। पायलट की जनसंघर्ष यात्रा के दौरान गुढ़ा ने कहा था कि हमारी सरकार का एलाइनमेंट खराब हो गया है। सरकार में जो काम होना चाहिए, वह नहीं हो पा रहा है। सरकार भ्रष्टाचार के उन सभी मानकों को पूरा कर चुकी है, जो देश में हो चुके हैं। गहलोत सरकार 40 परसेंट कि करप्शन से बहुत आगे जा चुकी हैं। हालात यह हैं कि शहरी विकास मंत्री शांति धारीवाल के ऑफिस से तो कोई भी फाइल बिना भ्रष्टाचार के आगे नहीं खिसक पाती है।सरकार के मंत्री ने ही सरकार की कलई खोलकर रख दी है- राठौड़
गहलोत सरकार के राज में प्रदेश लगातार महिलाओं से दुष्कर्म के मामले में नंबर वन बना हुआ है। इतना ही नहीं दलित महिलाओं से ज्यादती की घटनाएं भी लगातार बढ़ रही हैं। खुद मुख्यमंत्री के गृह क्षेत्र जोधपुर में दलित युवती से गैंग रेप और चार लोगों को नृशंस हत्या हाल ही में हो चुकी है। यही वजह है कि सैनिक कल्याण मंत्री ने विधानसभा में साफ तौर पर कहा कि यह मान लेना चाहिए कि प्रदेश में हम महिलाओं की सुरक्षा के मामले में असफल रहे हैं। इस पर नेता प्रतिपक्ष राजेंद्र सिंह राठौड़ ने पाइंट ऑफ ऑर्डर में कहा कि सरकार कलेक्टिव रेस्पॉन्सिबिलिटी से चलती है। संविधान के मुताबिक यदि सरकार का एक मंत्री बोलता है तो इसका मतलब है पूरी सरकार बोलती है। सरकार के एक मंत्री ने सरकार की ही कलई खोलकर रख दी है।
राजस्थान सरकार में मंत्री राजेन्द्र गुढ़ा ने कहा-
“राजस्थान में हम महिलाओं की सुरक्षा में असफल”
“मणिपुर की बजाय हमें अपने गिरेबां में झांकना चाहिए
Now, Congress leaders themselves are revealing the state of women’s safety in states ruled by the Congress party. pic.twitter.com/ADkDpQa6UL
— Cons of Congress (@ConsOfCongress) July 21, 2023
सीएम की मणिपुर मामले में टिप्पणी का गुढ़ा ने दिया करारा जवाब
राठौड़ ने कहा कि ये बहुत शर्मनाक बात है मर्दों के प्रदेश वाले मंत्री जी। बता दें कि संसदीय कार्य मंत्री धारीवाल ने ही इससे पहले के विधानसभा सत्र में महिलाओं पर रेप के मामले में अभद्र टिप्पणी की थी। उन्होंने प्रदेश में बढ़ते रेप के मामलों पर कहा था, रेप के मामले बढ़ तो रहे हैं। मगर क्या करें…राजस्थान मर्दों का प्रदेश है। विपक्ष ने जब इस बयान पर धारीवाल को आड़े हाथों लिया तो उनको माफी तक मांगनी पड़ी थी। दूसरी ओर सैनिक कल्याण मंत्री गुढ़ा का बयान उस संदर्भ में भी देखा जा रहा है, जिसमें सीएम गहलोत ने मणिपुर के मामले में टिप्पणी की थी। राजस्थान के रेपिस्तान के रूप में कुख्यात होने के बावजूद सीएम ने कहा हमारे लिए महिलाओं की सुरक्षा और सम्मान से बढ़कर कुछ भी नहीं है। जोधपुर में भयानक गैंग रेप के बाद तीन आरोपियों को महज दो घंटे में गिरफ्तार कर लिया गया, वहीं मणिपुर की शर्मनाक घटना में सिर्फ एक आरोपी को पकड़ने में 77 दिन लग गए।
प्रदेश में दलित महिलाओं से दुष्कर्म और दलितों के खिलाफ अपराधों में लगातार बढ़ोत्तरी हो रही है। पुलिस-प्रशासन इन्हें रोकने में नाकाम साबित हो रहा है। पिछले कुछ माह की वारदातों पर एक नजर…
करौली: दलित युवती के साथ हैवानियत की हदें पार
करौली में हाल ही में एक दलित युवती के साथ दरिंदों की कारगुजारी की ऐसी वारदात सामने आई, जिसे सुनकर किसी का भी दिल कांप जाएगा। जिले के नादौती उपखंड की दलित युवती के साथ न सिर्फ गैंगरेप किया गया, बल्कि इसके बाद उसकी गोली मारकर हत्या कर दी गई। गैंगरेप करने वाले आरोपियों ने इसके बाद दलित युवती की पहचान छिपाने के लिए चेहरे को एसिड डालकर जला दिया। इसके बाद दरिंदों ने उसको एक कुएं में फेंक दिया। घटना की जानकारी के बाद सांसद किरोडी लाल मीणा हिंडौन सिटी के राजकीय अस्पताल पहुंचे और सरकार को बेपरवाह बताते हुए पीड़िता को इंसाफ दिलाने के लिए धरने पर बैठे।
बाड़मेर: दलित महिला को रेप के बाद जिंदा जलाया
राजस्थान के बाड़मेर जिले के पचपदरा में इसी साल अप्रैल माह में एक दलित महिला को बलात्कार के बाद आरोपियों ने जिंदा जला दिया गया। साठ फीसदी झुलसी महिला ने इलाज के दौरान जोधपुर के सरकारी अस्पताल में दम तोड़ दिया। मृतका के पति राजू राम का आरोप है कि उनकी पत्नी के साथ शकूर ख़ान ने बलात्कार किया और थिनर डालकर जिंदा जला दिया। इस बर्बर घटना के खिलाफ मृतका के परिजनों और ग्रामीणों ने अपनी मांगों को लेकर बालोतरा एसडीएम ऑफिस के सामने धरना भी दिया।
बीकानेर: रक्षक पुलिस ही बनी भक्षक, रेप के बाद मारा
गत जून माह में बीकानेर के खाजूवाला में एक दलित युवती के साथ पहले रेप करने और बाद में उसकी हत्या करने का सनसनीखेज आरोप भक्षक बनी पुलिस पर ही लगा है। महज बीस साल की इस युवती से एक घर में पहले रेप किया गया और बाद में वहीं मारकर फैंक दिया गया। महिला के पिता ने आरोप लगाया है कांस्टेबल मनोज और भागीरथ एक अन्य युवक के साथ उसे कमरे में ले गए। जहां पहले दुष्कर्म किया और इसके बाद मार दिया। एफआईआर में दो पुलिसकर्मियों के भी नाम आने के बाद पुलिस अधीक्षक तेजस्वनी गौतम ने दोनों को सस्पेंड कर दिया है।
भरतपुर: सगे भाइयों ने किया दलित महिला से गैंगरेप
पूर्वी राजस्थान में दलितों के खिलाफ अपराधों में निरंतर वृद्धि हो रही है। भरतपुर जिले में इसी माह दलित महिला के साथ गैंगरेप की वारदात को दो सगे भाइयों ने ही अंजाम दिया। सेवर थाना क्षेत्र की रहने वाली एक महिला बाजार में चश्मा सही कराने दुकान पर गई थी। वहां पर मौजूद दो भाई काम कराने के बहाने से उसके घर के अंदर ले गए, जहां दोनों ने दलित महिला के साथ गैंगरेप किया। सामूहिक दुष्कर्म करने के बाद महिला को किसी को भी बताने पर जान से मरने की धमकी दी।