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वर्षांत विशेष : मोदी सरकार के लिए ऐतिहासिक उपलब्धियों का साल रहा 2020

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वर्ष 2020 मोदी सरकार के लिए जहां चुनौतियां लेकर आया, वहीं यह साल ऐतिहासिक उपलब्धियों का भी गवाह बना। इसलिए इस साल को चुनौतियों को अवसर में बदलने के लिए जाना जाएगा। वर्ष 2020 में मोदी सरकार ने कई ऐसे कार्य किए जो ऐतिहासिक महत्व के हैं। अयोध्या में राम मंदिर के निर्माण के लिए भूमि पूजन हो, या वर्ष के आखिरी महीन में भारत के नए संसद भवन का शिलान्यास हो, ये ऐसे कार्य हैं जिनका देश को लंबे समय से इंतजार था। कोरोना महामारी के शुरुआती महीनों में चीन के बाद सबसे ज्यादा पीपीई किट बनाकर भारत ने दुनिया को चौंका दिया। साथ ही स्वाइन फ्लू, निमोनिया और कोरोना की स्वदेशी वैक्सीन बनाकर दुनिया को बता दिया कि भारत महामारी के बीच भी इतिहास लिखने को तैयार है। आइए आपको बताते हैं किस तरह मोदी सरकार ने अर्थव्यवस्था के साथ ही हर सेक्टर में उपलब्धियां हासिल की हैं।

राम मंदिर का भूमि पूजन

प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी द्वारा अयोध्या में राम मंदिर का भूमि पूजन किया जाना देश और खुद प्रधानमंत्री मोदी के लिए ऐतिहासिक उपलब्धि बन गया। प्रधानमंत्री मोदी ने 5 अगस्त, 2020 को अयोध्या में राम जन्मभूमि पर भव्य राम मंदिर का भूमि पूजन किया। लंबी कानूनी लड़ाई के बाद आए इस ऐतिहासिक क्षण को टेलीविजन पर करोड़ों लोगों ने देखा। भूमि पूजन करने के बाद लोगों को संबोधित करते हुए प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि ये मेरा सौभाग्य है कि श्रीराम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट ने मुझे आमंत्रित किया, इस ऐतिहासिक पल का साक्षी बनने का अवसर दिया। आज पूरा भारत, राममय है। पूरा देश रोमांचित है, हर मन दीपमय है। आज पूरा भारत भावुक भी है। सदियों का इंतजार आज समाप्त हो रहा है। करोड़ों लोगों को आज ये विश्वास ही नहीं हो रहा कि वो अपने जीते-जी इस पावन दिन को देख पा रहे हैं।

नए संसद भवन का शिलान्यास

10 दिसंबर, 2020 की तारीख इतिहास के पन्नों में दर्ज हो गई। यह दिन भारतीय लोकतंत्र के लिए ऐतिहासिक हो गया है, क्योंकि इस दिन देश के नए संसद भवन का शिलान्यास हुआ। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने नए संसद भवन के लिए विधिवत तौर पर भूमिपूजन किया। पंडितों ने मंत्रों का उच्चारण किया और उसके बाद प्रधानमंत्री मोदी ने नए भवन के लिए नींव रखी। तैयार होने के बाद नया संसद भवन पुरानी संसद की जगह ले लेगा। करीब 971 करोड़ रुपये की लागत से बनने जा रहे संसद के नए भवन का निर्माण कार्य साल 2022 तक पूरा हो जाएगा। इसी साल आजादी की 75वीं वर्षगांठ भी देश मनाएगा। ऐसे में नई संसद का महत्व और बढ़ जाएगा।

80 करोड़ लोगों को नवम्बर तक मुफ्त राशन

प्रधानमंत्री मोदी ने 30 जून, 2020 को ‘प्रधानमंत्री गरीब कल्याण अन्न योजना’ का विस्तार नवम्बर महीने के आखिर तक करने का ऐलान किया। योजना के तहत 80 करोड़ लोगों को मुफ्त राशन दिया गया। राष्ट्र के नाम अपने संबोधन में प्रधानमंत्री ने घोषणा की और कहा कि इस योजना के तहत आठ महीने में करीब-करीब डेढ़ लाख करोड़ रुपये खर्च किए गए। इस दौरान 80 करोड़ से ज्यादा गरीबों को, परिवार के हर सदस्य को हर महीने पांच किलो गेहूं या पांच किलो चावल और 1 किलो चना मुफ्त मुहैया कराया गया।

ठीक होने वाले कोरोना मरीजों की संख्या 1 करोड़ के करीब पहुंची 

कोरोना महामारी के खिलाफ लड़ाई में भारत ने 29 दिसंबर, 2020 को एक अहम उपलब्धि हासिल की। मरीजों के अधिक संख्‍या में ठीक होने और रोज नए मामलों में गिरावट के कारण देश में कोरोना से ठीक होने वाले लोगों की संख्‍या 1 करोड़ के करीब पहुंच गई। कुल ठीक हुए मामलों की संख्‍या बढ़कर 98 लाख से अधिक 98,07,569 हो गई। इस कारण रिकवरी रेट 95.92 प्रतिशत हो गई। ठीक हुए मामलों और सक्रिय मामलों के बीच अंतर लगातार बढ़ रहा है और 29 दिसंबर को यह अंतर बढ़कर 95,38,988 हो गया।  देश में सक्रिय मामलों की संख्‍या घटकर 2,68,581 हो गई। कुल पॉजिटिव मामलों में सक्रिय मामलों की हिस्सेदारी और घटकर 2.63 प्रतिशत हो गई।

भारत पीपीई किट के निर्माण में दूसरे स्थान पर पहुंचा

कोरोना संकट के दौरान सामने आईं चुनौतियों को भारतीय कंपनियों और संस्थानों ने अवसर के रूप में तब्दील किया। पीपीई, मास्क और वेंटिलेटर की अपनी जरूरतें पूरी करने को भारत ने ‘मेक इन इंडिया’ के तहत बड़ी छलांग लगाई है। भारत पीपीई किट के निर्माण में चीन के बाद दूसरे स्थान पर पहुंच गया। भारत अब तक 2 करोड़ पीपीई किट और 4 करोड़ मास्क एक्सपोर्ट भी कर चुका है।

कोरोना वैक्सीनों को समर्पित रहा वर्ष 2020

जहां साल 2020 कोरोना वैक्सीनों के निर्माण को समर्पित रहा, वहीं 2021 टीकाकरण अभियान के लिए समर्पित रहेगा। देश में कोरोना का जीनोम सबसे पहले गुजरात बायोटेक्नोलॉजी रिसर्च सेंटर के वैज्ञानिकों ने खोजा। देश में ही 8 वैक्सीन तैयार हो रही है। हैदराबाद के सीरम इंस्टीट्यूट के पास दुनिया में सबसे ज्यादा वैक्सीन तैयार करने की क्षमता है। देश में स्वदेशी वैक्सीन ‘कोवैक्सिन’ के अलावा ऑक्सफोर्ड-एस्ट्राजेनेका की ‘कोविशील्ड’, नोवावैक्स की NVX-CoV2373 और रूस के गामालेया रिसर्च इंस्टीट्यूट की स्पुतनिक-V वैक्सीन भी भारत में तैयार होगी। सरकार ने पहले चरण में करीब 30 करोड़ लोगों को ‘प्राथमिकता’ के आधार पर टीका लगाने की योजना बनाई है। टीकाकरण अभियान जनवरी 2021 के पहले सप्‍ताह से शुरू होकर जुलाई अंत तक जारी रह सकता है।

कोरोना संकट: आरोग्य सेतु एप बना महत्वपूर्ण हथियार

प्रधानमंत्री मोदी ने कोरोना से लड़ाई में टेक्नोलॉजी का बेहतरीन इस्तेमाल किया। कोरना संकट शुरू होती है मोदी सरकार ने आरोग्य सेतु एप लॉन्च किया था। स्वदेशी तकनीक से विकसित आरोग्य सेतु एप को 16.69 करोड़ लोगों ने डाउनलोड किया। आरोग्य सेतु ऐप आज जहां एक तरफ देशवासियों को कोरोना से जुड़ी पल-पल की जानकारी उपलब्ध करा रहा है, वहीं दूसरी तरफ हजारों भारतीयों की जान बचाने वाली भी साबित हुआ है। आरोग्य सेतु की वजह से देशभर में कोरोना हॉटस्पॉट के बारे में जानकारी मिली है। इससे सरकार और स्थानीय प्रशासन उन जगहों पर कोरोना के प्रसार को रोकने के लिए प्रभावी कदम उठा पाया है।

क्लासिकल स्वाइन फीवर का नया टीका विकसित

इंडियन काउंसिल ऑफ एग्रीकल्चरल रिसर्च ने फरवरी 2020 में क्लासिकल स्वाइन फीवर का नया टीका विकसित किया। यह सस्ता और असरदार साबित होगा। यह सुअरों में होने वाली बीमारी है, जो भारत मे स्वाइन की उच्च मृत्यु दर का कारण बनती है। इंडिया में 1964 से यूके द्वारा विकसित की गई स्वाइन फीवर वैक्सीन का उपयोग कर रहा है। नए टीके को छह आईवीआरआई वैज्ञानिकों की टीम द्वारा विकसित किया गया है। विशेषज्ञों के अनुसार देश में टीकों की दो करोड़ खुराक वार्षिक आवश्यकता है लेकिन उपलब्धता मात्र 12 लाख खुराक की है।

पांचवीं सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बना भारत

फरवरी 2020 में आई ‘वर्ल्ड पॉपुलेशन रिव्यू’ की रिपोर्ट के मुताबिक, ब्रिटेन और फ्रांस को पीछे छोड़ते हुए भारत दुनिया की पांचवीं सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बन गया। भारत की जीडीपी 2.94 ट्रिलियन डॉलर रही। ब्रिटेन में यह आंकड़ा 2.83 ट्रिलियन डॉलर और फ्रांस में 2.71 ट्रिलियन डॉलर था। भारत की अर्थव्यवस्था में सर्विस सेक्टर सबसे बड़ा है। इसकी हिस्सेदारी 60 प्रतिशत है।

उच्चस्तर पर पहुंचा विदेशी मुद्रा भंडार 

प्रधानमंत्री मोदी के नेतृत्व में देश की अर्थव्यवस्था तेजी से आगे बढ़ रही है। मोदी सरकार की नीतियों के कारण विदेशी मुद्रा भंडार ने एक बार फिर रिकॉर्ड बनाया है। देश का विदेशी मुद्रा भंडार 18 दिसंबर, 2020 को खत्म हफ्ते में 2.563 अरब डॉलर बढ़कर 581.131 अरब डॉलर हो गया। यह अबतक का सबसे ऊंचा स्तर है। रिजर्व बैंक के ताजा आंकड़ों के अनुसार इस दौरान विदेशी मुद्रा भंडार का महत्वपूर्ण हिस्सा यानि विदेशी मुद्रा एसेट्स 1.382 अरब डॉलर बढ़कर 537.727 अरब डॉलर पर पहुंच गया। इस सप्ताह में स्वर्ण भंडार में 1.008 अरब डॉलर की बढ़ोतरी हुई और यह 37.020 अरब डॉलर मूल्य का हो गया। विदेशी मुद्रा भंडार ने 5 जून, 2020 को खत्म हुए हफ्ते में पहली बार 500 अरब डॉलर के स्तर को पार किया था। 

विदेशी निवेशकों ने जताया भारतीय अर्थव्यवस्था पर भरोसा

प्रधानमंत्री मोदी के नेतृत्व में मजबूत भारतीय अर्थव्यवस्था पर विदेशी निवेशकों ने कोरोना काल में भी भरोसा जताया। विदेशी पोर्टफोलियो निवेशकों (एफपीआई) ने दिसंबर 2020 में घरेलू बाजार में 60,094 करोड़ रुपये का निवेश किया। डिपॉजिटरी आंकड़ों के अनुसार, एफपीआई ने 1 दिसंबर से 24 दिसंबर, 2020 के दौरान शेयरों में 56,643 करोड़ रुपये और बांड में 3,451 करोड़ रुपये निवेश किए। इस तरह उनका कुल निवेश 60,094 करोड़ रुपये रहा। नवंबर में एफपीआई का कुल शुद्ध निवेश 62,951 करोड़ रुपये था। भारत कोरोना काल में भी आर्थिक मोर्चे पर कई सुधारों के साथ अन्य उभरते बाजारों की तुलना में निवेश का बड़ा हिस्सा आकर्षित करने में सफल रहा है। 

बिना ड्राइवर मेट्रो ट्रेन के परिचालन का उद्घाटन

प्रधानमंत्री मोदी ने 28 दिसंबर,2020 को वीडियो कॉन्फ्रेंस के माध्यम से दिल्ली मेट्रो की मैजेंटा लाइन पर भारत की पहली बिना ड्राइवर के चलने वाली मेट्रो ट्रेन के परिचालन का उद्घाटन किया। इसके साथ ही नेशनल कॉमन मोबिलिटी कार्ड की दिल्ली मेट्रो की एयरपोर्ट एक्सप्रेस लाइन में शुरुआत की गई। इस अवसर पर प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि यह आयोजन शहरी विकास को भविष्य के लिए तैयार करने का एक प्रयास है। उन्होंने कहा कि 2014 में केवल 5 शहरों में मेट्रो रेल थी, लेकिन यह आज 18 शहरों में उपलब्ध है। वर्ष 2025 तक हम इसका 25 से अधिक शहरों में विस्तार करने जा रहे हैं। 2014 में देश में केवल 248 किमी मेट्रो लाइने परिचालित थीं, लेकिन आज 700 किलोमीटर से अधिक मेट्रो लाइनें परिचालित हैं, इस प्रकार इसमें तीन गुना बढ़ोतरी हुई है। वर्ष 2025 तक, हम इसका 1700 किमी तक विस्तार करने का प्रयास कर रहे हैं।

अभूतपूर्व ऊंचाई पर पहुंचा भारत-अमेरिका संबंध

भारत-अमेरिका संबंधों के लिहाज से साल 2020 मील का पत्थर साबित हुआ है। अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प की इस साल भारत यात्रा के दौरान दोनों देशों ने ”व्यापक वैश्विक रणनीतिक साझेदारी” को बढ़ावा दिया। इसी साल दोनों देशों ने कोविड -19 महामारी और यहां हुए राष्ट्रपति चुनाव के चलते पैदा घरेलू राजनीतिक गतिरोध के बावजूद अपने संबंधों को अभूतपूर्व ऊंचाई और गति प्रदान की। अमेरिका में तीन नवंबर को राष्ट्रपति चुनाव से पहले दोनों के देशों के बीच दिल्ली में ‘2+2’ मंत्रिस्तरीय वार्ता हुई जिसमें अमेरिका की ओर से विदेश मंत्री माइक पोम्पिओ और रक्षा मंत्री मार्क एस्पर जबकि भारत की ओर से विदेश मंत्री एस जयशंकर तथा रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने हिस्सा लिया, जिससे दोनों देशों के संबंधों की परिपवक्ता प्रदर्शित हुई। भारत दूसरा देश है जिसके साथ 2+2 वार्ता हुई। यह वार्ता संबंधों की गहराई और व्यापकता के मुद्दों पर चर्चा करने का प्रमुख तंत्र बन गई। फरवरी 2020 में अहमदाबाद के मोटेरा स्टेडियम में आयोजित ‘नमस्ते ट्रंप’ कार्यक्रम में अमेरिकी राष्ट्रपति ट्रंप ने भारत के साथ विश्व के विकास में पीएम मोदी की योगदान की तारीफ की।

भारत यूएनएससी में 8वीं बार अस्थायी सदस्य बना

कोरना महामारी, अंफाना तूफान और चीन से विवाद के बीच भारत को एक अच्छी खबर मिली। 17 जून, 2020 को भारत को संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद (यूएनएससी) की 8वीं बार अस्थायी सदस्य चुना गया। इस दौरान 192 वोटों में से भारत के पक्ष में 184 वोट पड़े। भारत वर्ष 2021-22 के बीच सुरक्षा परिषद के अस्थायी सदस्य के तौर पर मौजूद रहेगा। अंतरराष्ट्रीय राजनीति के बदलते समीकरणों के बीच संयुक्त राष्ट्र संघ की सबसे ताकतवर हॉर्स शू टेबल पर भारत की मौजूदगी कई मायनों में अहम है। इस मेज पर पहुंचने के बाद चीन के लिए भारत के खिलाफ किसी मीटिंग को आयोजित करना या प्रस्ताव लाना मुश्किल होगा।

प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व वाली बीजेपी नीत सरकार ने छह वर्ष से ज्यादा पूरे कर लिए हैं। इन छह सालों के दौरान पीएम मोदी के नेतृत्व वाली बीजेपी सरकार ने कई बड़े फैसले लिए हैं, जिनकी चर्चा वैश्विक स्तर पर हुई है। पूर्ण बहुमत की बीजेपी नीत सरकार ने अपने छह साल के कार्यकाल के दौरान कई ऐसी उपलब्धियां हासिल की हैं, जो सीधे तौर पर पार्टी और केंद्रीय नेतृत्व की इच्छाशक्ति को जाहिर करती हैं। आइए एक नजर डालते हैं उन उपलब्धियों पर, जिन्हें इस सरकार ने पिछले छह साल के दौरान हासिल किया है।

अनुच्छेद 370 में हुआ ऐतिहासिक संशोधन

मोदी सरकार ने अनुच्छेद 370 में संशोधन कर भारत की एकता और अखंडता को अक्षुण्ण रखने का ऐतिहासिक काम किया। आर्टिकल 370 और 35 A के तहत कश्मीर को दिए गए विशेष प्रावधान हमेशा से विवाद का विषय रहे हैं। इसी कश्मीर के लिए जनसंघ के पितृ पुरुष श्यामा प्रसाद मुखर्जी ने नारा दिया कि एक देश में एक विधान और एक संविधान होना चाहिए। पहले जनसंघ और फिर बीजेपी इस मुद्दे पर काम करती रही। मई 2019 में जब नरेंद्र मोदी दूसरी बार प्रधानमंत्री बने और अमित शाह के रूप में देश का नया गृहमंत्री तय हुआ तो उसके कुछ ही महीने बाद कश्मीर से धारा 370 को खत्म कर दिया गया। इसके साथ ही कश्मीर का विशेष राज्य का दर्जा खत्म हो गया। इतना ही नहीं, ये मोदी सरकार की राजनैतिक इच्छाशक्ति ही थी कि उसने जम्मू-कश्मीर राज्य को दो केंद्रशासित प्रदेश में बांट दिया। एक हिस्सा बना जम्मू-कश्मीर, जिसमें विधानसभा थी। दूसरा हिस्सा बना लद्दाख, जो बिना विधानसभा के केंद्र शासित प्रदेश बना। सरकार के इस फैसले का विरोध भी किया गया, लेकिन सरकार इसे लागू कराने में कामयाब रही। 

सर्जिकल स्ट्राइक/एयर स्ट्राइक

मोदी सरकार ने पाकिस्तान और आतंकवाद के खिलाफ सख्त संदेश देने में सफलता पाई। जब मोदी सरकार के पहले कार्यकाल में 18 सितंबर, 2016 को उड़ी पर आतंकी हमला हुआ तो इसका बदला लिया गया। ये मोदी सरकार की राजनैतिक इच्छाशक्ति ही थी कि उसने हमारे जवानों को सरहद पार करके पाक अधिकृत कश्मीर में सर्जिकल स्ट्राइक करने का आदेश दिया। 28 सितंबर, 2016 को भारत के कमांडोज सीमा पार गए, पीओके में बने आतंकियों के लॉन्च पैड तबाह किए और फिर वापस लौट आए। इतना ही नहीं, जब 14 फरवरी, 2019 को बालाकोट में आतंकी हमला हुआ और सीआरपीएफ के हमारे 40 जवान शहीद हुए तो मोदी सरकार ने फिर से इसका बदला दिया। इस बार भी 26 फरवरी को इंडियन एयरफोर्स के फाइटर जेट्स ने बॉर्डर पार किया और पाकिस्तानी सीमा में बने आतंकियों के अड्डों को तबाह कर दिया। बिना बड़ी राजनैतिक इच्छाशक्ति के दुश्मन देश के अंदर अपने जवानों को भेजना और हमले के बाद उन्हें सकुशल वापस लाना संभव नहीं था। लेकिन मोदी सरकार ने अपने पहले ही कार्यकाल में ये फैसले दो बार किए।

एंटी सैटेलाइट मिसाइल (ए-सैट) परीक्षण

भारत ने 27 मार्च, 2019 को अंतिरक्ष में एक बड़ी कामयाबी हासिल की। भारत ने अंतरिक्ष में 300 किलोमीटर दूर लो अर्थ ऑर्बिट में एक लाइव सैटेलाइट को मार गिराया। इसे एंटी सैटेलाइट (A-Sat) मिसाइल सिस्टम ने मार गिराया गया। एंटी-सैटेलाइट मिसाइल परीक्षण के साथ ही भारत अंतरिक्ष में लाइव सैटेलाइट को मार गिराने की क्षमता रखने वाला चौथा देश बन गया था। इस अवसर पर राष्ट्र के नाम संदेश में प्रधानमंत्री मोदी ने कहा था कि भारत ने अपना नाम अंतरिक्ष महाशक्ति के नाम पर दर्ज करा दिया है। हमने अंतरिक्ष में उपग्रह को मार गिराने की क्षमता हासिल कर ली है। भारतीयों के लिए यह गर्व की बात है कि यह पराक्रम भारत में ही विकसित Anti-Satellite (A-Sat) मिसाइल द्वारा सिद्ध किया गया है।

मुस्लिम समाज की कुप्रथा तीन तलाक का खात्मा

सरकार ने अपने दूसरे कार्यकाल की शुरुआत में ही अल्पसंख्यकों के हितों से जुड़ा एक बड़ा फैसला लिया और एक झटके में तीन तलाक को खत्म कर दिया। हालांकि मोदी सरकार ने अपने पहले कार्यकाल के आखिरी दिनों में भी इसकी कोशिश की थी, लेकिन कामयाबी नहीं मिल पाई थी। लेकिन जब मई में पीएम मोदी दोबारा सत्ता में आए तो पहले लोकसभा और फिर राज्यसभा से ‘मुस्लिम महिला विवाह अधिकार संरक्षण विधेयक-2019’ को पास करवा दिया गया। राष्ट्रपति राम नाम कोविंद के हस्ताक्षर के बाद ये अध्यादेश कानून बन गया और फिर 1 अगस्त 2019 से देश में एक झटके में तीन बार तलाक-तलाक-तलाक कहना कानूनन अपराध हो गया। इससे पहले भी अपने पहले कार्यकाल में मोदी सरकार ने अल्पसंख्यकों से जुड़ा एक फैसला किया था। इस फैसले के तहत मोदी सरकार ने हज पर दी जाने वाली सब्सिडी को खत्म कर दिया था। 

वैश्विक संबंधों और भारत को नई पहचान

अपनी विदेश यात्राओं और सक्रियता के जरिए प्रधानमंत्री मोदी ने अंतरराष्ट्रीय स्तर पर भारत की एक अलग पहचान भी बनाई है। पीएम मोदी के अंतरराष्ट्रीय दौरों का ही नतीजा है कि सऊदी अरब और संयुक्त अरब अमीरात जैसे देशों ने पीएम मोदी को अपने देश के सर्वोच्च नागरिक सम्मान से सम्मानित किया है। इसके अलावा और भी इस्लामिक देशों से पीएम मोदी ने अच्छे संबंध बनाए हैं। इसी का नतीजा है कि पाकिस्तान के ऐतराज के बाद भी मार्च 2019 में मुस्लिम देशों के संगठन ऑर्गनाइजेश ऑफ इस्लामिक कॉर्पोरेशन ने भारत को मेहमान के तौर पर आमंत्रित किया था और तब की विदेश मंत्री सुषमा स्वराज इसमें शामिल भी थीं।

जब अनुच्छेद 370 हटाने का फैसला हुआ तो पाकिस्तान के ऐतराज के बाद भी कोई मुस्लिम देश पाकिस्तान के साथ खुलकर खड़ा नहीं हो पाया। अमेरिका के साथ भी प्रधानमंत्री मोदी ने अपने रिश्ते मजबूत किए। अमेरिका में प्रधानमंत्री मोदी के लिए हाउडी मोदी कार्यक्रम का आयोजन हुआ, जिसमें अमेरिका के राष्ट्रपति ट्रंप ने शिरकत की। प्रधानमंत्री मोदी के बुलाले पर ट्रंप भी भारत आए और यहां नमस्ते ट्रंप हुआ। इससे पहले के अमेरिकी राष्ट्रपति बराक ओबामा के साथ भी प्रधानमंत्री मोदी के अच्छे रिश्ते थे। यूनएओ से योग दिवस को मान्यता दिलाना भी भारत की बड़ी कामयाबी रही। 

आर्थिक रूप से पिछड़े सवर्णों के लिए 10 फीसदी आरक्षण का प्रावधान

आरक्षण को लेकर बहस नई नहीं है। लेकिन, मोदी सरकार ने वह कार्य कर दिखाया जिसकी किसी ने कल्पना तक नहीं की थी। 1989 में तत्कालीन प्रधानमंत्री विश्वनाथ प्रताप सिंह ने ओबीसी आरक्षण को मंजूरी दी थी। ये पूरे देश की राजनीति को नई दिशा में ले जाने वाला फैसला था। इस फैसले का बड़े पैमाने पर विरोध हुआ था, लेकिन किसी भी राजनीतिक दल में ये इच्छाशक्ति नहीं थी कि वो आरक्षण को लेकर कोई नया फैसला कर सके।जब मोदी सरकार अपने पहले कार्यकाल के आखिरी चरण में थी, तो उसने सवर्णों के लिए 10 फीसदी आरक्षण का प्रावधान किया। लोकसभा, राज्यसभा और राष्ट्रपति से मंजूरी लेकर इसे कानूनी रूप दिया गया और अब नौकरियों से लेकर शिक्षण संस्थानों में एडमिशन तक के लिए गरीब सवर्णों को 10 फीसदी आरक्षण का लाभ मिलना शुरू हो गया है।

नागरिकता संशोधन कानून

मोदी सरकार ने अपने दूसरे कार्यकाल में एक चिर-प्रतीक्षित फैसला लिया, नागरिकता संशोधन कानून को मंजूरी दी गई। ये एक ऐसा फैसला था, जिसके खिलाफ पूरे देश में हिंसक प्रदर्शन हुए। कई लोग मारे गए और सैकड़ों लोग घायल हो गए। लेकिन सरकार अपने फैसले पर अड़ी रही। इस फैसले के तहत पाकिस्तान, अफगानिस्तान और बांग्लादेश में रह रहे अल्पसंख्यक यानि कि हिंदू, सिख, बौद्ध, जैन, पारसी और ईसाई के लिए नागरिकता के नए प्रावधान तय किए गए। 10 जनवरी, 2020 को इस कानून के लागू हो जाने से तीन देशों के इन छह अल्पसंख्यक समुदाय के लोगों को नागरिकता हासिल करना आसान हो गया। 

मोटर व्हीकल कानून

मोदी सरकार ने अपने दूसरे कार्यकाल में ट्रैफिक नियमों को कड़ा बनाने और सड़क हादसों को रोकने के लिए देश में मोटर व्हीकल एक्ट-2019 लागू किया। इस सख्त कानून के तहत अब यातायात नियमों का उल्लंघन करने वालों की खैर नहीं। मोदी सरकार ने यातायात नियमों का उल्लंघन करने वाले लोगों पर भारी जुर्माना लगाने का प्रावधान किया है ताकि वाहन चालक नियमों का पालन करें। मोटर व्हीकल एक्ट-2019 लागू किए जाने के बाद सड़कों पर लोग नियमों का पालन करते दिख भी रहे हैं।

UAPA एक्ट में संशोधन

मोदी सरकार ने आतंकवाद पर लगाम कसने के लिए UAPA यानि गैरकानूनी गतिविधि रोकथाम (संशोधन) विधेयक-2019 को संसद से अमलीजामा पहनाया। नया यूएपीए कानून आतंकी गतिविधियों में लिप्त या उसे प्रोत्साहित करते मिले किसी व्यक्ति को आतंकी घोषित करने का अधिकार देता है। यूएपीए कानून के तहत मोदी सरकार ने मोस्ट वांटेड दाऊद इब्राहिम, हाफिज सईद, मौलाना मसूद अजहर और जकीउर रहमान लखवी को आतंकी घोषित किया। नया कानून NIA को आरोपी की प्रापर्टी जब्त करने का अधिकार देता है।

बैंकों के विलय का फैसला

मोदी सरकार ने देश में आर्थिक सुधार की दिशा में कई अहम कदम उठाए हैं। सरकार ने दस सरकारी बैंकों के विलय करके चार बड़े बैंक बनाने का ऐलान किया। ओरियंटल बैंक ऑफ कॉमर्स और यूनाइटेड बैंक का पंजाब नेशनल बैंक में विलय किया गया। सिंडिकेट बैंक को केनरा बैंक और इलाहाबाद बैंक को इंडियन बैंक में मिलाया गया। आंध्रा बैंक और कॉरपोरेशन बैंक को यूनियन बैंक ऑफ इंडिया से जोड़ने का एलान किया। इस विलय से बैंकों को बढ़ते NPA से राहत मिलेगी, साथ ही उपभोक्ताओं को बेहतर बैंकिंग सुविधाएं मुहैया कराई जाएंगी।

जल शक्ति मंत्रालय का गठन

प्रधानमंत्री मोदी ने चुनाव में वादा किया था कि जल संबंधी मुद्दों से निपटने के लिए एकीकृत मंत्रालय का गठन किया जाएगा। यही वजह रही कि सत्ता में आते ही मोदी सरकार ने जल संसाधन और पेयजल एवं स्वच्छता मंत्रालयों को मिलाकर जल शक्ति मंत्रालय बनाया। देश के हर भारतीय को साफ पेयजल उपलब्ध कराने के लिए ‘जलशक्ति अभियान’ के तहत 256 जिलों के 1592 खंडों की पहचान की गई। जिन जगहों पर जल स्तर नीचे है, उन जगहों की पहचान की जाएगी। हर घर में, हर नल में पानी पहुंचाने का लक्ष्य सरकार ने रखा है। साथ ही इसके जरिए जल संरक्षण और जल संचयन का लक्ष्य भी रखा गया है।

ग्रामीण स्वच्छता कवरेज 100 फीसदी

प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने स्वच्छ भारत अभियान की शुरुआत दो अक्टूबर, 2014 को की थी। तब उन्होंने अक्टूबर 2019 तक देश को खुले में शौच से मुक्त बनाने का वादा किया था। दो अक्टूबर, 2019 को यह लक्ष्य प्राप्त कर लिया गया। देश शत प्रतिशत खुले में शौच से मुक्ति के लक्ष्य को प्राप्त करने में सफल रहा। पिछेल छह सालों में ग्रामीण क्षेत्र के घरों में ग्यारह करोड़ से ज्यादा शौचालयों का निर्माण किया गया। जब अभियान की शुरुआत हुई तो प्रधानमंत्री मोदी ने खुद हाथों में झाड़ू थामी थी तो पूरे देश ने हाथ में झाड़ू थाम लिया था। आज यह अभियान एक जन आंदोलन बन चुका है। देश में शौचालय का इस्तेमाल न करने वाले लोगों की संख्या में तेजी से कमी आ रही है। 

देश को मिला पहला चीफ ऑफ डिफेंस स्टॉफ (CDS)

31 दिसंबर, 2019 को जनरल बिपिन रावत को देश का पहला चीफ ऑफ डिफेंस स्टाफ (सीडीएस) नियुक्त किया गया। प्रधानमंत्री मोदी ने 15 अगस्त, 2019 को सीडीएस के पद का ऐलान किया था। सुरक्षा मामलों की मंत्रिमंडलीय समिति ने 24 दिसंबर को सीडीएस का पद बनाए जाने को मंजूरी दी थी जो तीनों सेनाओं से जुड़े सभी मामलों में रक्षा मंत्री के प्रधान सैन्य सलाहकार के तौर पर काम करेगा। जनरल रावत बतौर सीडीएस रक्षा मंत्रालय और तीनों सेनाओं के बीच समन्वयक की भूमिका निभाएंगे। उनका ओहदा 4 स्टार जनरल का होगा। इसके लिए अधिकतम आयु सीमा 65 साल है।

GST ने करों के बोझ से दिलाई आजादी  

1 जुलाई, 2017 को देश को आर्थिक आजादी मिली थी। आजादी, उन 17 प्रकार के करों से मिली जिसके बोझ के नीचे लोग 70 साल से दबे हुए थे। देश को यह आर्थिक आजादी दिलाने का सेहरा प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के सिर बंधा। दशकों से चली आ रही सरकारों की इस जंग को प्रधानमंत्री मोदी ने 1 जुलाई, 2017 की मध्यरात्रि को जीएसटी कानून लागू करके जीत लिया। इस दिन भारत में ‘वन नेशन, वन टैक्स’ का राज स्थापित हुआ। देश में जीएसटी लागू होने के बाद विभिन्न आवश्यक वस्तुओं पर कर की दरों को तय करने में सरकार और जीएसटी परिषद के सदस्यों को काफी माथा-पच्ची करनी पड़ी थी। परिषद की करीब दो दर्जन से अधिक बैठकों के दौरान आवश्यक वस्तुओं और सेवाओं पर जीएसटी दरों को कम किया गया।

 

 

 

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