भारत में पूरे विश्व की तुलना में कोरोना महामारी का प्रकोप बहुत कम है, लेकिन जितना भी प्रकोप है उसके लिए तबलीगी जमात के लोग ही जिम्मेदार हैं। जी हां, आंकड़ों पर नजर डालें तो उत्तर से लेकर दक्षिण तक और पूरब से लेकर पश्चिम तक कोरोना फैलाने में सबसे बड़ा माध्यम यही तबलीगी जमात के लोग बने हैं। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने जब 21 दिन का लॉकडाउन घोषित किया था, तब देश में कोरोना संक्रमित लोगों की संख्या महज 550 थी। लेकिन मार्च के आखिरी महीने में नई दिल्ली के निजामुद्दीन इलाके में मरकज के मुख्यालय से तबलीगी जमात के लोगों का मिलना शुरू हुआ तो भी संक्रमितों की संख्या ने रफ्तार पकड़ ली।
दरअसल जब पूरे देश में मोदी सरकार सोशल डिस्टेंसिंग और लॉकडाउन जैसा फार्मूला अपना रही थी तभी दिल्ली में मरकज के मुख्यालय में प्रमुख मौलाना साद अपने तबलीगी जमात के लोगों को कोरोना फैलाने का संदेश दे रहा था। वहीं से निकले लोगों ने दक्षिण में तमिलनाडु और अंडमान निकोबार तक, उत्तर में जम्मू-कश्मीर तक, पूर्व में असम तक और पश्चिम में गुजरात महाराष्ट्र तक कोरोना फैला दिया। स्वास्थ्य मंत्रालय के मुताबिक देश में जितने भी कोरोना संक्रमित हैं, उनमें तीस से चालीस प्रतिशत तक ये जमाती है या फिर इनके द्वारा संक्रमित लोग हैं।
राज्यवार आंकड़ों पर नजर डाले तो देश की राजधानी दिल्ली में कोरोना से संक्रमित तबलीगी जमातियों की संख्या सबसे ज्यादा है। अमर उजाला की खबर के अनुसार दिल्ली में सोमवार को ही एक दिन में 356 नए मरीज कोरोना वायरस से संक्रमित मिले हैं और इनमें से 325 तब्लीगी जमात के हैं। इन सभी जमामियों को मरकज से निकालने के बाद क्वारंटीन केंद्रों में रखा गया था। दिल्ली स्वास्थ्य विभाग ने हेल्थ बुलेटिन के मुताबिक राजधानी में अब कुल संक्रमित मरीजों की संख्या बढ़कर 1510 हो चुकी है। इनमें 1071 संक्रमित मरीज तब्लीगी जमात से जुड़े हैं।
मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार उत्तर प्रदेश में सोमवार को सर्वाधिक 151 कोरोना पॉजिटिव मिले हैं, इनमें से 84 तबलीगी जमात के हैं। वैसे यूपी में कुल कोरोना पीड़ितों की संख्या 651 और इनमें आधे से अधिक यानि 393 तबलीगी जमात के हैं। एक अन्य खबर के अनुसार इसी प्रकार तमिलनाडु में कुल कोरोना पॉजिटिव मरीजों की संख्या 1173 हैं, इनमें 90 प्रतिशत से भी अधिक तबलीगी जमात से जुड़े हैं। महाराष्ट्र में कोरोना पॉजिटिव मरीजों की संख्या करीब 2334 है और इनमें आधे से अधिक लोग तबलीगी जमात जुड़े हुए हैं। तेलंगाना मरीजों की संख्या 573 के पार हो चुकी है और यहां भी लगभग आधे तबलीगी जमात से जुड़े लोग हैं। मध्यप्रदेश में कोरोना पीड़ितों का आंकड़ा 600 के पार पहुंच गया है, यहां भी 250 से अधिक मरीज तबलीगी जमात के हैं। जम्मू कश्मी में भी अधिकतर मरीज तबलीगी जमात से हैं।
जानिए दिल्ली समेत देश के विभिन्न इलाकों में इलाज के लिए भर्ती कराए गए तबलीगी जमातियों की शर्मनाक हरकतों के बारे में-
निर्लज और जाहिल तबलीगी जमातियों की हरकत से मेडिकल स्टाफ परेशान
कोरोना के संक्रमण से बचने के लिए लॉकडाउन घोषित किया गया है और पूरा देश घरों में कैद है। ऐसे में देश का मेडिकल स्टाफ अपनी जान जोखिम में डालकर दूसरों की जान बचाने में लगा है। लेकिन देश का एक तबका ऐसा भी है, जो अपनी करतूतों से पूरे देश को शर्मसार कर रहा है। दिल्ली के निजामुद्दीन मरकज से निकाले गए तबलीगी जामातियों को गाजियाबाद के एमएमजी अस्पताल में भर्ती किया गया है। जहां जमाती लगातार अस्पताल स्टाफ के साथ दुर्व्यवहार कर रहे हैं। इतना ही नहीं, ये लोग नर्सों के सामने ही कपड़े बदलने के लिए कपड़े खोल देते हैं। अब जिला प्रशासन इन लोगों को जेल की बैरक में बंद करने पर विचार कर रहा है।
सीएमओ ने जिलाधिकारी से की शिकायत
गाजियाबाद के सीएमओ ने जिले के डीएम से क्वॉरंटाइन सेंटर में रह रहे तबलीगी जमात के लोगों की शिकायत की। सीएमओ ने कहा कि एमएमजी हॉस्पिटल में बनाए गए क्वारंटाइन सेंटर में तबलीगी जमात के लोग बिना पेंट के नंगे घूम रहे हैं और वॉर्ड में गंदे व अश्लील गाने सुन रहे हैं। स्टाफ नर्सों और कर्मचारियों से बीड़ी, सिगरेट की मांग कर रहे हैं। यही नहीं महिला कर्मियों से अश्लील इशारे कर रहे हैं।
ग़ाज़ियाबाद के #IsolationWard में रखे गये तबलीगी जमात से आये #CoronaVirus के मरीज महिला नर्सों के साथ अश्लीलता कर रहे है, बिना कपड़ों के घुम रहे है और अश्लील गाने सुन रहे है। CMO ग़ाज़ियाबाद ने @ghaziabadpolice को शिकायत दी है। pic.twitter.com/mvPixuNXKD
— Jitender Sharma (@capt_ivane) April 2, 2020
कुमार विश्वास ने सीएम योगी से की कार्रवाई की अपील
तबलीगी जमात द्वारा अभद्र व्यवहार करने पर हिंदी कवि और नेता कुमार विश्वास ने ट्वीट कर योगी सरकार से गुहार लगाई है। कुमार विश्वास ट्वीट करते हुए लिखा, ‘का चुप साधि रहे बलवाना।’ इससे पहले कुमार विश्वास ने इंदौर की घटना पर प्रधानमंत्री मोदी से देश में इमरजेंसी लगाने की मांग की थी।
का चुप साधि रहे बलवाना ?? ?@myogiadityanath @Uppolice ? https://t.co/TDK9UHXhQx
— Dr Kumar Vishvas (@DrKumarVishwas) April 2, 2020
सीएम योगी ने दिया सख्ती बरतने का निर्देश
यूपी के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने अस्पताल में तबलीगी जमात के मरीजों द्वारा बदसलूकी करने पर नाराजगी जतायी है। सीएम ने कहा कि गाजियाबाद में जिन लोगों ने ये हरकत की है, उस प्रवृति के लोगों के साथ पूरी सख्ती करो और उन्हें कानून का पालन करना सिखाओ। सीएम योगी ने कहा कि इंदौर जैसी घटना यूपी में कहीं नहीं दिखनी चाहिए। इसके लिए कानूनन जो भी कड़ी कार्रवाई करनी पड़े, की जाए।
डीएम ने दिए जांच के आदेश
इस मामले में डीएम ने जांच के आदेश दिए। शिकायत मिलने के बाद गुरुवार देर रात पुलिस भी एमएमजी हॉस्पिटल पहुंची। एसपी सिटी ने कहा कि शिकायत मिली है कि एमएमजी हॉस्पिटल के आइसोलेशन वॉर्ड में भर्ती कोरोना वायरस से संक्रमित छह मरीजों ने नर्सों के साथ अभद्र व्यवहार किया है।
छह के खिलाफ दर्ज हुई एफआईआर
जानकारी के मुताबिक, गाजियाबाद जिला प्रशासन इन लोगों के खिलाफ रिपोर्ट दर्ज कर ली है और इन्हें जेल के बैरक में ही बंद करने पर विचार चल रहा है। अस्पताल में स्टाफ के साथ अश्लील हरकतें करने, हंगामा करने और नियमों का उल्लंघन करने के मामले में 6 जमातियों के खिलाफ कोतवाली घंटाघर थाने में एफआईआर दर्ज कर ली गई है।
अब जमातियों के साथ केवल पुरुष कर्मचारी रहेंगे मौजूद
गाजियाबाद में नर्सों के साथ अभद्रता के बाद बड़ा फैसला लिया गया है। अब तबलीगी जमात के लोगों की चिकित्सा एवं सुरक्षा में महिला स्वास्थ्यकर्मी और महिला पुलिसकर्मी नहीं लगाई जाएंगी। केवल पुरूष कर्मचारी ही मौजूद रहेंगे।
कोरोना फैलाने के लिए सड़क पर थूक रहे थे जमाती
शुरुआत से ही तबलीगी जमात के कोरोना संदिग्ध स्वास्थ्यकर्मियों का सहयोग करने की बजाय उनसे बदसलूकी कर रहे हैं। जब जमातियों को निजामुद्दीन के मरकज से निकाल कर डीटीसी की बसों में भरकर अस्पताल ले जाया जा रहा था, तब बस के अंदर से जमातियों ने सड़कों पर थूकना शुरू कर दिया। यह सब जानते हुए कि कोरोना वायरस थूकने, छींकने और खांसने से तेजी से फैलता है।
People tested positive of Coronavirus at Nijamuddin are spitting out of bus which might infect more people.
But you will be termed sanghi, Fascist, illiterate, etc for calling it ‘Corona J-had’ pic.twitter.com/aQhxM1wCRS
— Political Kida (@PoliticalKida) March 31, 2020
एक जमाती ने की खुदकुशी की कोशिश
दिल्ली में स्वास्थ्यकर्मियों के ऊपर थूकने और आइसोलेशन सेंटर में जानबूझकर हंगामा खड़ा करने का मामला सामने आ चुका है। निजामुद्दीन स्थित मरकज से मंगलवार शाम को निकाल कर 167 जमातियों को तुगलकाबाद स्थित क्वारंटीन सेंटर में रखा गया है। रेलवे के प्रवक्ता दीपक कुमार ने कहा कि जमाती स्वास्थ्य कर्मियों से दुर्व्यवहार कर रहे हैं और वह यहां-वहां घूमते रहते हैं। एक व्यक्ति ने तो खुदकुशी की भी कोशिश की। वहीं, बिहार में तबलीगी जमात के लोगों की तलाश करने गई टीम पर हमला भी किया गया।
संवेदनहीन तबलीगी जमातियों का उपद्रव, डॉक्टरों से बदसलूकी और पुलिसकर्मियों पर हमला
‘एक तो चोरी, ऊपर से सीनाजोरी’ यह कहावत इस समय तबलीगी जमातियों पर सटीक बैठ रहा है। पहले तो सरकारी निर्देशों का उल्लंघन कर दिल्ली के निजामुद्दीन स्थित मरकज में जुटे रहें। इसके बाद मरकज को खाली कराने के लिए राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार अजीत डोभाल को भी हस्तक्षेप करना पड़ा। काफी कोशिशों के बाद जब वे मरकज से बाहर निकले तो उन्होंने डॉक्टर और पुलिसकर्मियों के साथ जिस तरह का व्यवहार किया वह काफी शर्मनाक है। यहां तक कि देश के कई अन्य जगहों से भी इस जमात के लोगों द्वारा पुलिसकर्मियों पर हमले की खबरें आई हैं।
दिल्ली में जमातियों ने मचाया आतंक
निजामुद्दीन स्थित मरकज से निकाले गए तबलीगी जमात के 167 लोगों को रेलवे ने तुकलकाबाद में बने आइसोलेशन सेंटर्स में रखा है। मंगलवार देर रात करीब साढ़े 11 बजे जब जमातियों को बसों में भरकर यहां लाया गया तो उन्होंने यहां भी आतंक मचाया। सेंटर में दाखिल करने से पूर्व इन जमातियों को बसों में बैठे रहने को कहा गया तो इन्होंने बस की खिड़कियों से ही सड़कों और घरों की खिड़कियों पर थूकना, तेज-तेज खांसना और छीकना शुरू कर दिया।
आइसोलेशन सेंटर्स में मेडिकल स्टाफ से बदसलूकी
उत्तर रेलवे के सीपीआरओ दीपक कुमार के मुताबिक 97 को डीजल शेड ट्रेनिंग सेंटर में और 70 को आरपीएफ बैरक में रखा गया है। बार-बार रोकने के बावजूद तबलीगी जमात के सदस्य हॉस्टल के बाहर देर रात तक घूमते रहे। जिन लोगों ने इनको मना करने की कोशिश की उनके साथ गाली-गलौज की घटना को भी इन लोगों ने अंजाम दिया। ये लोग अपनी जांच और इलाज में डॉक्टरों का बिल्कुल भी सहयोग नहीं कर रहे हैं। यहां तक कि मेडिकल स्टाफ से बदसलूकी की और मेडिकल स्टाफ पर थूका भी। ऐसे में जब कोरोना वायरस को फैलने में थूक बड़ी भूमिका अदा करता है।
इंदौर में स्वास्थ्यकर्मियों पर हमला
इसी बीच इंदौर से एक हैरान करने वाली खबर सामने आई है। जिले के टाटपट्टी बाखल इलाके की एक वीडियो सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो रहा है। वीडियो में क्षेत्र के लोग जांच करने की गयी टीम पर पत्थरों से हमला बोल रहे हैं। यह घटना उस समय घटी, जब स्वास्थ्य विभाग की टीम एक बीमार महिला को लेने पहुंची थी। तभी वहां मौजूद लोगों ने स्वास्थ्य विभाग की टीम पर पथराव कर दिया। पथराव के बाद स्वास्थ्य विभाग की टीम को वहां से भागना पड़ा। इंदौर पुलिस ने बताया कि महिला के बारे में हमें पता चला कि वे कोरोना संदिग्ध हैं, जिसके बाद एक टीम चेकअप करने गई। इसी दौरान कुछ असमाजिक तत्वों ने हमला कर दिया।
#WATCH Madhya Pradesh: Locals of Tatpatti Bakhal in Indore pelt stones at health workers who were there to screen people, in wake of #Coronavirus outbreak. A case has been registered. (Note-Abusive language) (1.04.2020) pic.twitter.com/vkfOwYrfxK
— ANI (@ANI) April 1, 2020
महिला डॉक्टर ने बतायी आपबीती
इंदौर में भीड़ से जान बचाकर भागी महिला डॉक्टर ने जो आपबीती बताई, वो काफी हैरान करने वाली है। उन्होंने कहा कि अगर पुलिस साथ न होती, तो उनका बचना भी नामुमिकन था। भीड़ के हमले में बाल-बाल बचीं डॉक्टर अभी तक खौफ में हैं। बंद शहर में घर से निकल सफाई में जुटे इंदौर का एक सफाई कर्मी भी भीड़ के इस रुख से हैरान है। उसका सवाल था- आखिर हमारा कसूर क्या है?
— Sagar Karape (@sagarkarape123) April 2, 2020
बेंगलुरु : हमले में बाल-बाल बचीं आशा वर्कर
कुछ इसी तरह की रूह कंपा देने वाली घटना बेंगलुरु की आशा वर्कर कृष्णावेनी ने भी बताई जो, भीड़ के हमले में बाल-बाल बचीं। कृष्णावेनी के मुताबिक वे लोग डाटा एकत्र करने गई थीं। तभी एक मस्जिद से अपील की गई कि डाटा एकत्र करने में सहयोग न करें। मस्जिद से अपील के बाद कई मुस्लिम परिवार के लोग बाहर आ गए और उनके साथ बदसलूकी करने लगे। उनके ऊपर हमला किया।
#WATCH Karnataka: An Asha worker, Krishnaveni says she was attacked in Byatarayanapura, Bengaluru while collecting data on #coronavirus. Says, “The problem started when an announcement was made against us from a mosque, whoever made that announcement should be arrested”.(April 1) pic.twitter.com/9jBT9q7K0L
— ANI (@ANI) April 2, 2020
बिहार के मधुबनी में पुलिस पर पथराव और फायरिंग
बिहार के मधुबनी जिले के अंधराठाढ़ी ब्लॉक के गीदड़गंज गांव की मस्जिद में सोशल डिस्टेंसिंग का पाठ पढ़ाने गई पुलिस टीम पर स्थानीय मुसलमानों ने ना सिर्फ पथराव किया बल्कि फायरिंग भी कर दी। पुलिस के साथ हुए पथराव के बीच मस्जिद में ठहरे सभी जमाती फरार हो गए।
भास्कर की खबर के अनुसार लॉकडाउन के दौरान गीदड़गंज गांव की बड़ी मस्जिद में 100 से अधिक जमाती के रुकने की खबर मिलने पर मंगलवार की शाम जांच करने पहुंची पुलिस पर स्थानीय लोगों ने जमकर पत्थरबाजी और फायरिंग की। स्थानीय लोगों ने पुलिस को करीब एक किलोमीटर दूर मदरसा हनफीया तक खदेड़ दिया। लोगों ने पुलिस गाड़ी में तोड़फोड़ कर तालाब में गिरा दिया। गौरतलब है कि गीदड़गंज गांव के सभी लोग मुसलमान समुदाय के हैं।

बाहार के कटिहार जिले के समेली गांव में पुलिस गश्ती वाहन पर ग्रामीणों ने हमला बोल दिया। पुलिस गाड़ी गांव से गुजर रही थी, इसी दौरान लोगों को जमा देख गश्ती वाहन रुका और लोगों को थाना आने कहा गया। इस पर ग्रामीणों ने पुलिस बल पर हमला कर दिया। एसआई अनिल कुमार ने बताया कि ग्रामीणों के लॉकडाउन नहीं करने पर समझाने के बाद ईंट ,पत्थर व लाठी डंडा द्वारा हमला किया गया।

सहारनपुर : मस्जिद में जुटी भीड़ ने पुलिस पर बोला हमला
उत्तर प्रदेश के सहारनपुर में सोशल डिस्टेंसिंग का पालन कराने पहुंची पुलिस पर बेहटा क्षेत्र के जमालपुर गांव में भीड़ ने हमला बोल दिया। पुलिस के मुताबिक उसे सूचना मिली कि जमालपुर गांव की मस्जिद में भीड़ इकट्ठा हो गई है। जब पुलिस मौके पर पहुंची, तो पुलिस को देखकर कुछ नमाजी भाग खड़े हुए, लेकिन पुलिस ने छह लोगों को हिरासत में लेकर जीप में बैठा लिया। इन्हें लेकर पुलिस जैसे ही चलने लगी तो ग्रामीणों ने पुलिस की गाड़ी को रोक लिया और लाठी-डंडों से हमला कर दिया और हिरासत में लिए गए लोगों को छुड़ा लिया। इस हमले में दो पुलिसकर्मियों को चोटें आईं। इस मामले में पुलिस ने 5 महिलाओं सहित 26 के खिलाफ मामला दर्ज किया है।
रामपुर में लॉकडाउन का पालन करा रहे अफसरों पर पथराव
यूपी के रामपुर के टांडा में बुधवार की शाम उप जिलाधिकारी गौरव कुमार, तहसीलदार महेंद्र बहादुर सिंह, कोतवाली निरीक्षण दुर्गा सिंह नगर के मोहल्ला मियां वाली मस्जिद के पीछे लॉक डाउन का पालन कराने के लिए माइक से एनाउंस कर रहे थे। इतने में उन्होंने गली में कुछ युवाओं को बेवजह खड़े हुए देखा। उन्हें टोकते हुए घर के अंदर जाने को कहा। इतने में एक छत से लोगों ने अधिकारियों पर पथराव कर दिया। गनीमत रही कि छत से फेंके गए पत्थर किसी को लगे नहीं। पुलिस ने मौके से पथराव करने के आरोप में तीन युवकों को पकड़ लिया।