एक तरफ पूरे देश की जनता अपनी सेना के समर्थन में एकजुट होकर खड़ी है। पूरी दुनिया आतंकवाद के खिलाफ भारत की लड़ाई का समर्थन कर रही है। लेकिन जहां अपने ही देश के कुछ नेता मोदी से ईर्ष्या के कारण देश के खिलाफ घृणा फैलाना शुरू कर दिया है वहीं कुछ विरोधी पार्टियां आतंकवाद के खिलाफ भारत की लड़ाई का विरोध करने पर उतर आई है। यह बात किसी और ने नहीं बल्कि देश के प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने अपने एक संबोधन में कही है। ये बात तो सच है कि मोदी से ईर्ष्या के कारण देश की सबसे पुरानी पार्टी कांग्रेस से लेकर तृणमूल कांग्रेस और आम आदमी पार्टी इतनी नीचे गिर गई हैं कि देश के साथ अपनी सेना तक को बदनाम करने पर तुल गई है। खास बात है कि इनकी इस घटिया करतूत का फायदा पाकिस्तान अपने हित में उठा रहा है।
दिल्ली विधानसभा में अरविंद केजरीवाल का भारतीय सेना के खिलाफ दिया गया बयान हो या पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी द्वारा पाकिस्तान पर सेना की हवाई सर्जिकल स्ट्राइक का सबूत मांगना हो या फिर कांग्रेस द्वारा मोदी सरकार का पाकिस्तान के खिलाफ उठाए गए कदम की आलोचना हो। पाकिस्तान इसका इस्तेमाल वैश्विक स्तर पर अपने हित में इस्तेमाल करता है।
देसी मीडिया ने ही जाधव को बता दिया था जासूस
भारतीय मीडिया का एक वर्ग भी यह भूल गया है कि सरकार की आलोचना और देश की आलोचना में बड़ा फर्क होता है। उसे जब मोदी सरकार की सही मायने में आलोचना करने को कुछ नहीं मिल रहा है तो वह देश को ही बदनाम करने पर तुल गया है। पाकिस्तान ने हाल ही में द क्विंट में केदार जाधव के खिलाफ प्रकाशित आलेख के हवाले से इंटरनेशनल कोर्ट ऑफ जस्टिस में उस पर सवाल उठाया था।
प्रधानमंत्री मोदी ने देश विरोधियों को चेताया
कांग्रेस सरकार ने देश को असहाय बना रखा था
प्रधानमंत्री अपने संबोधन में कहा कि इन आतंकवादियों की चुनौती का सामना भारत आज नहीं बल्कि सालो से करता आ रहा है। लेकिन कांग्रेस की सरकार ने देश को असहाय बना रखा था। साल 2004 से लेकर 2014 के बीच देश में कई आतंकी घटनाओं को अंजाम दिया गया। इन आतंकी घटनाओं को अंजाम देने वालों को देश सजा देना चाहता था। लेकिन यूपीए सरकार ने इस दिशा में कभी कोई सार्थक फैसला लिया ही नहीं। देश की सेना को कभी आतंकवादियों के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं करने दी।
मोदी सरकार आतंकवाद पर और करारा प्रहार करेगी