प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने संसद के मौजूदा सत्र को बहुत महत्वपूर्ण बताया है। आज, 18 नवंबर को संसद का शीतकालीन सत्र शुरू होने से पहले प्रधानमंत्री ने कहा कि हम सभी मुद्दों पर चर्चा के लिए तैयार हैं। उन्होंने देश को प्रगति के मार्ग पर लाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाने के लिए राज्यसभा की भी प्रशंसा की।
प्रधानमंत्री ने कहा, मित्रों यह वर्ष 2019 का आखिरी संसद सत्र है। यह इसलिए भी महत्वपूर्ण सत्र है क्योंकि यह राज्यसभा का 250वां सत्र भी है। राज्यसभा ने देश के विकास और प्रगति में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है। 26 नवम्बर को देश 70वां संविधान दिवस मनाएगा। 26 नवम्बर 1949 को संविधान अंगीकृत किया गया था इसलिए इस वर्ष इसके 70 वर्ष पूरे हो रहे हैं।
प्रधानमंत्री मोदी ने सभी सांसदों से पिछले सत्र की तरह विभिन्न चर्चाओं में सक्रिय और सकारात्मक रूप से भाग लेने का अनुरोध किया ताकि देश को उनकी चर्चाओं से सर्वोत्तम परिणाम हासिल हो सके और इन चर्चाओं का देश की प्रगति और कल्याण के लिए उपयोग किया जा सके। पिछले कुछ दिनों के दौरान हमें लगभग सभी दलों के विभिन्न नेताओं से मिलने का अवसर मिला है। नई सरकार के गठन के तुरंत बाद आयोजित पिछले सत्र की तरह इस सत्र में भी सभी सांसदों की सक्रिय और सकारात्मक भागीदारी होनी चाहिए।
प्रधानमंत्री मोदी ने कहा, ‘हम सभी मुद्दों पर खुलकर के चर्चा चाहते हैं उत्तम से उत्तम बहस हो ये आवश्यक है। वाद हो, विवाद हो, संवाद हो, हर कोई अपनी बुद्धि शक्ति का प्रचुर मात्रा में उपयोग करे। और सदन की चर्चा को समृद्ध बनाने में योगदान दें और उससे जो अमृत निकलता है वो देश के उज्जवल भविष्य के लिए काम आता है। मैं सभी सदस्यों को शुभकामनाएं देता हूं।’
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