Home समाचार विपक्षी नेताओं को पीएम मोदी ने दी सामान्य समझ बढ़ाने की नसीहत

विपक्षी नेताओं को पीएम मोदी ने दी सामान्य समझ बढ़ाने की नसीहत

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हाल ही में ऱाफेल लड़ाकू विमान पर दिए अपने बयान की आलोचना का सामना कर रहे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने विपक्षी पार्टियों को अपना सामान्य ज्ञान इस्तेमाल करने की नसीहत दी है। मालूम हो कि हाल ही में इंडिया टुडे कॉन्क्लेव के दौरान प्रधानमंत्री ने अपने संबोधन में कहा था कि अगर पूर्ववर्ती यूपीए सरकार राफेल सौदा को अंजाम देने में देरी नहीं करती और राफेल विमान हमारे पास होता तो आज नजारा ही कुछ और होता। उन्होंने बालाकोट में की गई दूसरी सर्जिकल स्ट्राइक के बाद पाकिस्तान ने जो दुस्साहस किया था उसकी ओर इशारा करते हुए कहा कि ऱाफेल विमान होने की सूरत में परिणाम कुछ और होता। मालूम हो कि पाकिस्तान ने जब हमारी वायु सीमा का उल्लंघन करते हुए तीन एफ-16 लड़ाकू विमान भेजा तो अभिनंदन जैसे वायु वीर ने मिग-21 विमान की मदद से उनमें से एक एफ-16 विमान को मार गिराया। वहीं इस दौरान अपना मिग-21 भी दुर्घटनाग्रस्त हो गया और उसके पॉयलट अभिनंदन भी पाकिस्तान के कब्जे में आ गया। हालांकि मोदी के दबाव का यह असर हुआ कि पाकिस्तान को 60 घंटे के अंदर ही उन्हें छोड़ना पड़ा।

राफेल विमान पर दिए बयान पर विरोधियों ने उठाए सवाल 
एक जनसभा को संबोधित करते हुए प्रधानमंत्री मोदी ने विपक्षी दलो की आलोचना को देखते हुए कहा कि ऐसे नेताओं को अपना सामान्य ज्ञान बढ़ाना चाहिए। इस मौके पर मोदी ने कहा कि वैसे उनकी आलोचना से बहुत ज्यादा फर्क नहीं पड़ने वाला है क्योंकि हमारी सरकार आतंकवादी के खिलाफ लड़ाई में मूक दर्शक नहीं बनी रह सकती है। आतंकवाद को जड़ से मिटाने के लिए, जो पाकिस्तान में है, हर संभव जतन करेगी। राफेल विमान पर दिए उनके बयान पर सवाल खड़ा खड़ा करने वालों को उन्होंने आड़े हाथ लिया है।

राफेल विमान होने पर अलग परिणाम आने की बात कही थी 
अपने बयान में मोदी ने कहा था कि जब 27 फरवरी को दुश्मन देश पाकिस्तान के साथ हवाई हमले के दौरान जो टकराव हुए वैसे में अगर भारतीय वायु सेना के पास राफेल जैसे लड़ाकू विमान होते ते न तो हमारा अपना एक लड़ाकू विमान खोता न ही दुश्मन देश पाकिस्तान के तीन जहाज को वापस जाने देता। उन्होंने अपना बयान दोहराते हुए कहा उनका कहने का तात्पर्य बस इतना था कि अगर राफेल विमान सही समय पर ले लिया गया होता तो 27 फरवरी को हुए पाकिस्तानी सेना के साथ हुए टकराव का अंतर ही कुछ और होता। जबकि विरधी दलों खासकर कांग्रेसी नेता कह रहे हैं कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अपनी सेना की क्षमता पर सवाल उठा दिया है।
जामनगर में एक जनसभा को संबोधित करते हुए प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि अपने इसी बयान को गलत ढंग से पेश करने पर उन्हें अपना सामान्य ज्ञान बढ़ाने को कहा है। उन्होंने कहा है कि उन्होंने बस इतना कहा था कि अगर इस समय हमारे पास राफेल जहाज होता तो आज हमारा कोई लड़ाकू विमान दुर्घटनाग्रस्त नहीं हुआ होता और न ही पाकिस्तान का कोई जहाज यहां से बचकर निकल पाता।

आतंकवाद की बीमारी को जड़ से खत्म कर के रहेंगे मोदी मोदी ने कहा कि हमारे बयान को उसी पार्टियों के नेता तोड़मरोड़ कर पेश कर रहे हैं जो अभी तक अपने देश की सेना पर संदेह करते हुए हवाई हमले का सबूत मांग रहे हैं। मोदी ने कहा कि देश के ऐसी कुछ पार्टियां हैं जिनके नेता 26 फरवरी को पाकिस्तान के बालाकोट स्थित आतंकी प्रशिक्षण केंद्र पर किए गए हवाई हमले के सबूत मांग रहे हैं। मोदी ने कहा कि हमारा उद्देश्य आतंक को खत्म करना है जबकि विपक्षी पार्टियों का उद्देश्य मोदी को हटाना है। उन्होंने कहा कि आतंकी रोग की जड़ हमारे पड़ोसी देश में है। ऐसे में क्या हमें इस बीमारी को जड़ से खत्म नहीं कर देना चाहिए।
जामनगर में गुरु गोविंद सिंह अस्पताल के एक एनेक्सी भवन के सात अन्य विकास कार्यों का उद्घाटन करने के बाद वहां आयोजित जनसभा को संबोधित करते हुए मोदी ने कहा कि भारत को बर्बाद करने की मंशा रखने वाले भले ही बाहर क्यों न बैठे हों यह देश अब चुप बैठने वाला नहीं है। यह नई नीति और नई रीति वाला देश भारत है।

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