कम जनसंख्या वाले विकसित देशों में कोरोना वायरस ने जिस तरह से तबाही मचाई है, उनके मुकाबले ज्यादा जनसंख्या और साधन-सुविधा की कमी वाले भारत में तबाही कम हुई है। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की अगुवाई में केंद्र सरकार की सजगता और तत्परता ने कोरोना को तोजी से बढ़ने से रोकने में काफी हद तक सफलता पायी है। हालांकि स्थिति की गंभीरता को देखते हुए मोदी सरकार लगातार फैसले ले रही है। कोरोना के फैलाव को रोकने और भावी जरूरतों को ध्यान में रखते हुए नए-नए कदम उठाए जा रहे हैं। इसमें कोरोना की टेस्ट के लिए ऑनलाइन बुकिंग, लैब और टेस्टिंग सेंटर के विस्तार के साथ ही क्वारंटाइन और आइसोलेशन के लिए कमरों का निर्माण भी शामिल है।
इटली और भारत में कोरोना का पहला मामला लगभग एक साथ आया था। इटली स्वास्थ्य सेवाओं में दुनिया में नं-2 पर है और भारत 112 पर। इटली में पीड़ितों और मृतकों की संख्या देखें, भारत से उसकी तुलना करें, उम्मीद है आँकड़े देखकर बुद्धूजीवियों के ज्ञान की उल्टियाँ रुकेंगी और उन्हें आराम मिलेगा।
— Anuraag Muskaan (@anuraagmuskaan) March 30, 2020
Over 42 thousand samples tested so far; 123 labs are functional, 49 private labs have been given clearance
399 patients have been screened in private labs yesterday: @ICMRDELHI #IndiaFightsCorona @MoHFW_INDIA pic.twitter.com/CVoFa4t93G
— PIB India #StayHome #StaySafe (@PIB_India) March 31, 2020
कोरोना वायरस के लिए वैक्सीन का विकास
डॉ रमन गंगाखेडकर के मुताबिक वैज्ञानिक और औद्योगिक अनुसंधान परिषद, विज्ञान और प्रौद्योगिकी विभाग, और जैव प्रौद्योगिकी विभाग भारतीय चिकित्सा अनुसंधान परिषद के साथ मिलकर कोरोना के लिए वैक्सीन के विकास के एजेंडे को आगे बढ़ाएंगे।
Council of Scientific and Industrial Research, Department of Science & Technology, and Department of Biotechnology will work with Indian Council of Medical Research to further the agenda of the development of a vaccine for #COVID19: R Gangakhedkar, ICMR pic.twitter.com/4ZdIo6je3G
— ANI (@ANI) March 31, 2020

स्वास्थ्य मंत्रालय के संयुक्त सचिव लव अग्रवाल ने कहा कि विदेश मंत्रालय ने देश में लॉजिस्टिक वस्तुओं की उपलब्धता बढ़ाने के लिए दक्षिण कोरिया, तुर्की और वियतनाम के आपूर्तिकर्ताओं की पहचान की है। डीआरडीओ भी स्थानीय निर्माताओं के साथ मिलकर N95 मास्क की आपूर्ति बढ़ाने के लिए भी काम कर रहा है।
Ministry of External Affairs has identified suppliers from South Korea, Turkey & Vietnam to increase the availability of logistics items in the country. DRDO is also working with local manufacturers to increase supply of N95 masks: Lav Aggarwal, Joint Secretary, Health Ministry pic.twitter.com/i3x7T7aZbL
— ANI (@ANI) March 31, 2020
21 हजार से अधिक राहत शिविर स्थापित
गृह मंत्रालय में संयुक्त सचिव पुण्य सलिला श्रीवास्तव ने कहा कि विभिन्न राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों में 21 हजार से अधिक राहत शिविर स्थापित किए गए हैं जो 6 लाख से अधिक लोगों को आश्रय दे सकते हैं। उन्होंने कहा, 23 लाख से अधिक लोगों, फंसे हुए प्रवासी कामगारों, क्वारंटाइन श्रमिकों और अन्य जरूरतमंद व्यक्तियों के लिए खाने का प्रबंध किया गया है।
Over 21 thousand relief camps set up in various States/UTs which can shelter over 6 lakh people; facilities have been set up to feed over 23 lakh people; these are available to the poor, stranded migrant workers, quarantined workers and other needy persons: @HMOIndia pic.twitter.com/MjWfUkxMW3
— PIB India #StayHome #StaySafe (@PIB_India) March 31, 2020
टेस्ट के लिए ऑनलाइन बुकिंग की सुविधा
मोदी सरकार ने कोरोना वायरस के टेस्ट के लिए आई Corona Test Kit को मंजूरी दी है। इसके बाद इसकी मांग काफी बढ़ गई है। जिसके लिए ऑनलाइन बुकिंग भी शुरू हो चुकी है। बेंगलुरु की प्रैक्टो (Practo) कंपनी ने कहा कि Covid-19 टेस्ट कराने के लिए ऑनलाइन बुकिंग करा सकते हैं। इस किट की कीमत 4500 रुपये है। भारत सरकार और इंडियन काउंसिल ऑफ मेडिकल रिसर्च यानि ICMR ने भी इसे अप्रूवल दिया है। प्रैक्टो ने कहा है, ‘फिलहाल मुंबई के लोगों के लिए टेस्ट ऑनलाइन उपलब्ध है और जल्द ही इसे पूरे देश के लिए उपलब्ध कराया जाएगा।’
प्रैक्टो ने कहा कि होम हेल्थकेयर सर्विस देने वाली कंपनी I2H के प्रमाणित फेलोबोटोमिस्ट्स मरीजों के घरों से सीधे सैंपल लेंगे और जांच के लिए लैब पहुंचाएंगे। प्रैक्टो के चीफ हेल्थ स्ट्रैटजी ऑफिसर एलेक्जेंडर कुरुविल ने कहा कि टेस्टिंग के दौरान लिया गया स्वाब वायरल ट्रांसपोर्ट माध्यम (VTM) से इकट्ठा किया जाएगा। इसे ठंडे बैग में ले जाया जाएगा। टेस्टिंग के लिए थायरोकेयर की लैब को चुना गया है।
ट्रेनों के 20 हजार कोच में 3.2 लाख बेड्स की व्यवस्था
भारतीय रेलवे ने ट्रेनों के 20,000 कोच को क्वारंटाइन और आइसोलेशन कोच बना दिया है। इसके लिए पूरी तैयारी कर ली गई है। भारत में क्वारंटाइन फैसिलिटी के लिए बड़ी संख्या में कमरों की ज़रुरत है, इसी कमी को पूरा करने के लिए इंडियन रेलवे आगे आया है। कुल 5 जोनल रेलवे ने पहले ही उन क्वारंटाइन सेंटरों का प्रोटोटाइप तैयार कर लिया है। उन्हें ‘क्वारंटाइन/ आइसोलेशन कोचेज’ कहा जाएगा। इनमें आइसोलेशन की ज़रूरतों को पूरा करने के लिए 3.2 लाख बिस्तर लगाए जा सकते हैं।
Five Zonal Railways have already prepared prototypes for the quarantine/isolation coaches. These modified 20000 coaches can accommodate up to 3.2 lakh possible beds for isolation needs: Ministry of Railways. https://t.co/Z6W3cfJphV
— ANI (@ANI) March 31, 2020
भारतीय रेलवे अन्य तरीकों से भी इस आपदा की घड़ी में लोगों की सेवा करने में लगा हुआ है। हाल ही में पंजाब के मोगा से 390 टन खाद्य पदार्थों को एक पार्सल स्पेशल ट्रेन के जरिए असम के चंगसारी पहुँचाया गया। इनमें डेयरी प्रोडक्ट्स और नूडल्स सहित कई अन्य चीजें शामिल थीं। रेलवे ने जनता को जागरूक करते हुए बताया है कि भारतीय रेल सेवा कभी युद्धकाल में भी नहीं रुकी, ऐसे में वो स्थिति की गंभीरता को समझें और घरों में ही रहें।
इनके अलावा पीएम मोदी ने कोरोना से लड़ने के लिए कई कदम उठाए हैं। आइए एक नजर डालते हैं उन कदमों पर…
21 दिनों तक देश में संपूर्ण लॉकडाउन
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने कोरोना वायरस के बढ़ते कहर को देखते हुए राष्ट्र को संबोधित किया। इस दौरान उन्होंने ऐलान किया कि अगले 21 दिनों तक देश में संपूर्ण लॉकडाउन रहेगा। प्रधानमंत्री मोदी ने ट्वीट कर पूरे देश को भरोसा दिलाया कि लॉकडाउन के दौरान घबड़ाने की जरूरत नहीं है। आवश्यक वस्तुओं और सेवाओं की कोई कमी नहीं होगी।
पीएम-केयर्स फंड की घोषणा
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने कोरोना वायरस संकट से निपटने के लिए पीएम-केयर्स फंड बनाया है। प्रधानमंत्री इस ट्रस्ट के अध्यक्ष हैं और इसके सदस्यों में रक्षा मंत्री, गृह मंत्री एवं वित्त मंत्री शामिल हैं। प्रधानमंत्री मोदी ने देशवासियों से इसमें दान देने की अपील की है। उन्होंने कहा कि यह फंड कोरोना जैसी कई विपरीत परिस्थितियों में जरूरतमंदों तक मदद पहुंचाने का जरिया बनेगा। प्रधानमंत्री मोदी की अपील का व्यापक असर हुआ है। लोगों ने पीएम-केयर्स फंड के लिए अपने खजाने खोल दिए हैं।
जनता कर्फ्यू की अपील
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने 22 मार्च को सुबह 7 बाजे से रात 9 बजे तक जनता कर्फ्यू की अपील की थी। इस अपील को बॉलीवुड के साथ ही आम जनता का व्यापक समर्थन मिला। कर्फ्यू के दिन लोगों ने शाम पांच बजे ताली और थाली बजाकर कोरोना वॉरियर के प्रति सम्मान जाहिर किया।
सार्क देशों के साथ वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने कोरोना वायरस पर एक बड़ी पहल की। उन्होंने सार्क देशों के सामने कोरोना पर बातचीत का प्रस्ताव रखते हुए इसके खिलाफ मिलकर काम करने का आह्वान किया। प्रधानमंत्री मोदी ने वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग में सार्क देशों से एक मजबूत रणनीति बनाने का आह्वान करते हुए कहा कि आपस में एकजुट होकर हम दुनिया के सामने एक उत्कृष्ट उदाहरण पेश कर सकते हैं। प्रधानमंत्री ने यह भी कहा कि सरकार नोवल कोरोना वायरस से लड़ने के लिए विभिन्न स्तरों पर अपनी ओर से अथक कोशिश कर रही है।