पुलवामा हमले के बाद जहां पूरा देश बदले की आग में जल रहा है, वहीं देश में कमल हासन और नवजोत सिंह सिद्धू जैसे नेता भी हैं, जिनका पाकिस्तान प्रेम जाग उठा है। पाकिस्तान की इस करतूत का खुले तौर पर विरोध हो रहा और वे पाकिस्तान की भाषा बोल रहे हैं। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का विरोध करते करते वे इतने अंधे हो चुके हैं कि देश के खिलाफ बोलने से भी बाज नहीं आ रहे हैं।कमल हासन ने पूछा- कश्मीर में जनमत संग्रह क्यों नहीं करा रही सरकार ?
फिल्मों से राजनीति में आए दक्षिण भारतीय सुपरस्टार कमल हासन ने एक इंटरव्यू में देश की कश्मीर नीति पर सवाल उठाते हुए पूछा कि सरकार कश्मीर में जनमत संग्रह कराने से क्यों कतरा रही है। हासन ने कहा कि जनमत संग्रह करो और लोगों से बात करो। उन्होंने (सरकार) ये क्यों नहीं किया? वे किस चीज से डरते हैं? वे राष्ट्र को विभाजित करना चाहते हैं? आप उनसे (कश्मीरियों) दोबारा क्यों नहीं पूछते? वे ऐसा नहीं करेंगे?
पीओके को बताया ‘आजाद कश्मीर’
पीओके को ‘आजाद कश्मीर’ बताते हुए हासन ने कहा कि आखिर सरकार किससे डर रही है? आजाद कश्मीर में लोग जिहादियों की तस्वीरें ट्रेनों में लगा रहे हैं और उन्हें हीरो की तरह दिखा रहे हैं। यह भी एक बेवकूफी भरा काम है। भारत भी ऐसी ही मूर्खतापूर्ण चीजें कर रहा है। अगर भारत अपने आपको अच्छा देश साबित करना चाहता है तो उसे इस तरह का बर्ताव नहीं करना चाहिए।परवान चढ़ता नवजोत सिंह सिद्धू का पाकिस्तान ‘प्रेम’
कांग्रेस नेता और पंजाब सरकार में मंत्री नवजोत सिंह सिद्धू का पाकिस्तान ‘प्रेम’ परवान चढ़ता जा रहा है। पुलवामा हमले के बाद सिद्धू ने कहा कि कुछ लोगों की वजह से पूरे पाकिस्तान को जिम्मेदार ठहराना सही नहीं है। इस बयान के बाद सिद्धू की चौतरफा आलोचना हुई, इसके बावजूद सिद्धू ने कहा कि मैं अपने रुख पर आज भी कायम हूं।
मैं अपने बयान पर टिका रहूंगा- सिद्धू
सिद्धू ने इस बात पर जोर दिया कि आतंकवाद का कोई धर्म और उसकी कोई जाति नहीं होती। उन्होंने कहा कि पिछले 71 साल से यह सब हो रहा है । क्या वह कभी रूके हैं। ‘द कपिल शर्मा शो’ से बाहर किए जाने की खबर पर सिद्धू ने कहा कि मुझे चैनल से अपनी टर्मिनेशन के बारे में कोई जानकारी नहीं है। अगर ऐसा कुछ होता भी है और वो भी मेरे बयान की वजह से तब भी मैं अपने उसी बयान पर टिका रहूंगा।