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बीएसएफ की भर्तियों में अग्निवीरों को 10 फीसदी आरक्षण, ऊपरी आयु-सीमा में 5 साल की छूट भी मिलेगी

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भारतीय सेना में अग्निवीर की भर्ती की योजना जब लाई गई थी तब विपक्षी दलों पुरजोर विरोध किया था। भारत की युवा आबादी को ध्यान में रखकर अग्निपथ योजना सेना को मजबूत करने के लिए लाई गई, लेकिन कांग्रेस और लेफ्ट लिबरल गैंग इस योजना के विरोध में देश में आंदोलन खड़ा करने की कोशिश की। तमाम तरह सवाल खड़ा किया गया कि चार साल बाद जब अग्निवीर सेना से वापस आएंगे तो फिर क्या करेंगे। वे देश और समाज के लिए खतरा बन जाएंगे…आदि। नकारात्मक सोच से ग्रस्त विपक्षी दलों को यह समझ नहीं आया कि जब चार साल बाद कौशल संपन्न, अनुशासित जवान सेना से वापस आएंगे तो उन्हें देश में नौकरी की कमी नहीं रहेगी। जब यह योजना लाई गई थी उसी दौरान कई राज्य सरकारों और देश की बड़ी कंपनियों ने अपने यहां अग्निवीरों को नौकरी देने का ऐलान किया था। अब केंद्र सरकार ने सशस्त्र सीमा बल (BSF) के भीतर भर्तियों में पूर्व-अग्निवरों के लिए 10 प्रतिशत आरक्षण की घोषणा कर दी है।

बीएसएफ की भर्तियों में अग्निवीरों को 10 फीसदी आरक्षण

भारतीय सेना में अग्निवीर की भर्ती की तैयारी कर रहे युवाओं के लिए खुशखबरी है। केंद्र सरकार ने सशस्त्र सीमा बल (BSF) के भीतर रिक्तियों में पूर्व-अग्निवरों के लिए 10 प्रतिशत आरक्षण की घोषणा कर दी है। यही नहीं अग्निवीरों को ऊपरी आयु-सीमा मानदंडों में भी छूट देने का फैसला किया है। ये इस बात पर निर्भर करता है कि वे पहले बैच का हिस्सा हैं या बाद के बैचों का। गृह मंत्रालय ने इस बारे में छह मार्च को एक नोटिफिकेशन भी जारी कर दिया। इसके लिए गृह मंत्रालय ने बॉर्डर सिक्योरिटी फोर्स, जनरल ड्यूटी कैडर रिक्रूटमेंट रूल्स, 2015 में संसोधन किया है, जो 9 मार्च 2023 से लागू हो गया है।

अग्निवीरों को आयु सीमा में पांच साल की छूट मिलेगी

गृह मंत्रालय के नोटिफिकेशन के मुताबिक कॉस्टेबल के पद के लिए पूर्व अग्निवीरों के पहले बैच के उम्मीदवारों को आयु सीमा में पांच साल की छूट मिलेगी जबकि पूर्व अग्निवीरों के बाद के सभी बैचों को 3 साल की छूट दी जाएगी। इसके साथ ही एक अन्य संसोधन किया गया है जिसमें पूर्व-अग्निवीरों को फिजिकल टेस्ट से छूट दी गई है।

अन्य बैच के लिए ऊपरी आयु सीमा में तीन साल की छूट

अधिसूचना में कहा गया है कि पूर्व अग्निवीर श्रेणी से भर्ती होने वाले अन्य बैच (प्रथम बैच के अतिरिक्त अन्य सभी) के उम्मीदवारों को बॉर्डर सिक्योरिटी फोर्स यानी बीएसएफ (Ex-Agniveer BSF Recruitment) की भर्ती में 10 फीसदी आरक्षण के अलावा सभी श्रेणियों के उम्मीदवारों को ऊपरी आयु-सीमा नियम में तीन साल की छूट लागू रहेगी।

फिजिकल एफिशियंसी टेस्ट से भी छूट

अधिसूचना में केंद्रीय गृह मंत्रालय के निर्देशानुसार अंडर सेक्रेटरी शिव लहरी मीणा ने बताया कि बीएसएफ की भर्तियों में पूर्व अग्निवीरों को फिजिकल एफिशियंसी टेस्ट यानी शारीरिक क्षमता परीक्षण से भी छूट दी जाएगी। अर्थात उन्हें दोबारा शारीरिक क्षमता परीक्षा में पात्रता साबित करने की जरूरत नहीं होगी, वे सीधे ही अगले दौर में भर्ती के पात्र होंगे।

25 फीसदी उम्मीदवारों को सीधे सेना में स्थायी नौकरी

केंद्रीय गृह मंत्रालय की ओर से जारी अधिसूचना में घोषणा की गई है कि अग्निवीर भर्ती के पहले बैच से पास आउट होने वाले 25 फीसदी उम्मीदवारों को सीधे सेना में स्थायी नौकरी दी जाएगी। जबकि शेष 75 फीसदी अग्निवीर उम्मीदवारों को सेना की विभिन्न यूनिटों, पुलिस भर्ती, केंद्रीश सशस्त्र बलों आदि की नियुक्ति में प्राथमिकता दी जाएगी। इसके अलावा कई अन्य लाभ भी मिलते हैं।

अग्निवीरों के लिए कांग्रेस ने बहाए घड़ियाली आंसू

मोदी सरकार ने देश की सुरक्षा और युवाओं के हित में अग्निपथ योजना की शुरुआत की। इसमें अग्निवीरों के लिए तमाम विकल्प और सुविधाएं दी गईं। लेकिन कांग्रेस को यह योजना रास नहीं आई। कांग्रेस के नेता इस योजना के खिलाफ युवाओं को भड़काने में लगे रहे। उनके भविष्य को लेकर तरह-तरह के डर दिखाए गए। वहीं अग्निवीरों के लिए घड़ियाली आंसू बहाने वाले कांग्रेसी पुलिस और अन्य सुरक्षा बलों के साथ किस तरह बर्ताव किया यह भी हम सबने देखा। उसे देखकर हर देशवासी का माथा शर्म से झुक गया। जहां हैदराबाद में कांग्रेस की वरिष्ठ नेता रेणुका चौधरी ने पुलिसकर्मी का कॉलर पकड़ा, वहीं दिल्ली में महिला कांग्रेस अध्यक्ष पुलिसकर्मियों पर थूकती नजर आईं।

आनंद महिंद्रा ने अग्निवीरों को दिया बड़ा ऑफर, नौकरी देने का ऐलान

सेना में भर्ती की अग्निवीर योजना को महिंद्रा ग्रुप के चेयरमैन आनंद महिंद्रा ने बेहतर बताया है। इतना ही नहीं उन्होंने इस योजना के तहत ट्रेनिंग पाने वाले प्रशिक्षित, सक्षम और देशभक्त नौजवानों को अपने यहां नौकरी देने की भी पेशकश की है। आनंद महिंद्रा ने कहा कि कॉरपोरेट सेक्टर में अग्निवीरों के लिए रोजगार की अपार संभावनाएं हैं। उन्होंने कहा कि महिंद्रा ग्रुप ऐसे प्रशिक्षित, सक्षम युवाओं की भर्ती का स्वागत करता है।

अग्निवीर बनकर युवा अनुशासन और कौशल सीखेंगे, रोजगार के बेहतरीन अवसर मिलेंगे

महिंद्रा ग्रुप के चेयरमैन आनंद महिंद्रा ने ट्वीट करके लिखा कि अग्निपथ योजना के तहत अग्निवीर जो अनुशासन और कौशल सीखेंगे, वह उन्हें रोजगार के बेहतरीन मौके उपलब्ध कराएगा। महिंद्रा ने ट्वीट किया कि अग्निपथ योजना को लेकर जारी विरोध से दुखी हूं। बीते साल जब इस योजना का विचार सामने आया था, तब मैंने कहा था और मैं अब भी कहता हूं कि इसके तहत अग्निवीर जो अनुशासन और प्रशिक्षण पाएंगे, वह उन्हें रोजगार के बेहतरीन मौके उपलब्ध कराएगा।

अग्निवीरों को कारपोरेट में संचालन, प्रशासन और सप्लाई चेन मैनेजमेंट के मौके मिलेंगे

आनंद महिंद्रा के इस ऐलान का ट्विटर पर तमाम लोगों ने स्वागत किया। उन्होंने कहा कि लीडरशिप, टीमवर्क और फिजिकल ट्रेनिंग की बदौलत अग्निवीर के रूप में इंडस्ट्री को बाजार के हिसाब से पहले से तैयार प्रोफेशनल्स मिलेंगे। संचालन से लेकर प्रशासन और सप्लाई चेन मैनेजमेंट तक का पूरा बाजार उनके लिए खुला रहेगा। एक यूजर ने सवाल पूछा कि महिंद्रा ग्रुप में अग्निवीरों को क्या पोस्ट दी जाएगी? इसके जवाब में आनंद महिंद्रा ने कहा कि कॉरपोरेट सेक्टर में अग्निवीरों के लिए रोजगार की अपार संभावनाएं हैं।

चार साल के बाद 25 फीसदी अग्निवीरों को सेना में आगे भी रखा जाएगा

इस नई अग्निपथ योजना के तहत थलसेना, वायुसेना और नौसेना में भर्ती कर चार साल के लिए युवाओं को रखा जाएगा। ट्रेनिंग के बाद उन्हें तैनाती मिलेगी। चार साल के बाद 25 फीसदी अग्निवीरों को सेना मे आगे रखा जाएगा। इस योजना का विरोध करने वाले गलत तर्क दे रहे हैं कि इससे बेरोजगारी और बढ़ेगी और उनका करियर अनिश्चित हो जाएगा। अग्निपथ योजना पर युवाओं का अब थमने लगा है, लेकिन कुछ राज्यों में स्वार्थी राजनीतिक दल भोले-भाले युवाओं को उकसाने में लगे हैं।

कई राज्यों ने की सरकारी नौकरियों में अग्निवीरों को प्राथमिकता देने की घोषणा

सरकार की तरफ से अग्निवीरों के लिए रक्षा मंत्रालय की नौकरियों और सशस्त्र बलों में 10 फीसदी आरक्षण समेत कई तरह की रियायतों का भी ऐलान किया गया है। कई अन्य मंत्रालयों ने भी अग्निवीरों के लिए रियायतों की घोषणा की है, इसका लाभ उन्हें अग्निवीर बनकर और चार साल बाद भी मिलेगा। यूपी, एमपी, हरियाणा, उत्तराखंड, कर्नाटक, असम, अरुणाचल जैसे कई प्रदेश सरकारी नौकरियों में अग्निवीरों को प्राथमिकता देने की घोषणा कर चुके हैं।

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