Home नरेंद्र मोदी विशेष बाज नहीं आएगा पाकिस्तान, घाटी में खूनखराबा करते रहेंगे इमरान

बाज नहीं आएगा पाकिस्तान, घाटी में खूनखराबा करते रहेंगे इमरान

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भारत चाहे जितना भाईचारा और आत्मीयता दिखा ले, लेकिन पाकिस्तान अपनी करनी से कभी बाज नहीं आएगा। भारत में जैसे ही 5 राज्यों के चुनाव नतीजे आना शुरु हुए, वैसे ही पाकिस्तान ने अपना असली रंग दिखा दिया। पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान ने ऐलान किया है कि वो कश्मीर में दखलंदाजी बंद नहीं करेंगे।

बाज नहीं आ रहा है पाकिस्तान

पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान ने कहा कि उनका देश जम्मू-कश्मीर के लोगों को कूटनीतिक, राजनीतिक एवं नैतिक सहयोग देना जारी रखेगा। मानवाधिकार दिवस पर अपने संदेश में खान ने यह टिप्पणी की। यह दिवस हर साल 10 दिसंबर को मनाया जाता है। 70 साल पहले आज ही के दिन मानव अधिकारों की सार्वभौमिक घोषणा को मानवाधिकार दिवस के रूप में स्वीकार किया गया था। इमरान खान ने कहा, ‘मानवाधिकारों की सार्वभौमिक घोषणा की 70वीं वर्षगांठ पर, मानवीय गरिमा, सम्मान और आत्मनिर्भरता के मूलभूत अधिकार के लिए जम्मू-कश्मीर के लोगों के न्यायोचित संघर्ष में हम अपने पूर्ण कूटनीतिक, राजनीतिक और नैतिक समर्थन की पुष्टि करते हैं।‘ उन्होंने कहा कि यह साल पाकिस्तान के लिए इस लिहाज से भी महत्त्वपूर्ण है कि वह अब संयुक्त राष्ट्र मानवाधिकार परिषद का सदस्य है।

खान ने कहा, ‘पाकिस्तान का चौथी बार परिषद का सदस्य बनना अंतरराष्ट्रीय समुदाय का पाकिस्तान को अंतरराष्ट्रीय मानवाधिकार नीतिगत संरचना के तहत आम सहमति निर्माता के तौर पर मानने के भरोसे का गवाह है।’

अपनी झप्पियों पर सफाई देंगे सिद्धू ? 

गौरतलब है कि इमरान खान के प्रधानमंत्री बनने के बाद भारत में कई पाकिस्तान परस्त नेताओं-पत्रकारों-बुद्धिजीवियों को ये लगा था कि अब शायद पाकिस्तान को अकल आ गई है और वो कश्मीर में खूनखराबा बंद कर देगा। पंजाब में कांग्रेस के मंत्री नवजोत सिंह सिद्धू तो करतारपुर कॉरिडोर के बहाने इमरान खान और पाकिस्तानी सेना के मुखिया कमर जावेद बाजवा को झप्पियां डालने पहुंच गए थे। इतना ही नहीं, मोदी विरोध में अंधे होकर सिद्धू ने पाक अधिकृत कश्मीर के मंत्री के साथ फोटो भी खिंचाया, और भारत की विदेश नीति की साख को गंभीर धक्का पहुंचाया था।

सिद्धू ने पहुंचाया भारत की साख को धक्का

हम आपको बता दें कि भारत पीओके की कठपुतली सरकार को मान्यता नहीं देता है और हाल ही में सार्क सम्मेलन के दौरान विदेश सचिव स्तर की वार्ता में पाक अधिकृत कश्मीर की सरकार के मंत्री के घुस आने पर भारत ने इस मीटिंग का ही बायकॉट कर दिया था।

आतंकवाद पर जीरो टॉलरेंस की मोदी नीति

दरअसल 2014 में सत्ता में आते ही मोदी सरकार आतंकवाद पर जीरो टॉलरेंस की नीति अपनाई हुई है। सुरक्षा बलों को खुली छूट देने की नीति ने घाटी में आतंकवाद की कमर तोड़कर रख दी है। अब जो भी आतंकवादी सक्रिय होता है, उसे कुछ ही महीने में जहन्नुम पहुंचा दिया जाता है। इस नीति के सफल तरीके से अमल हुआ है, उससे घाटी में अमन शांति की उम्मीद बढ़ गई है। इससे पाकिस्तान और बौखला गया है। 

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