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उपलब्धियां 2017: रक्षा उत्पाद के क्षेत्र में आत्मनिर्भर बनने की ओर बढ़ा भारत, ‘मेक इन इंडिया’ का रंग जमा

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प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व में देश की रक्षा-सुरक्षा सर्वोपरि है। वर्ष 2017 में रक्षा के क्षेत्र में हमारा देश कई ऐसे घटनाक्रमों का गवाह बना जिनसे ना सिर्फ दुनिया में भारत का मान बढ़ा बल्कि देशवासियों में भी सुरक्षा की भावना मजबूत हुई। इस वर्ष देश की रक्षा से जुड़े कई कदम उठाये जाने के साथ ही बड़ी-बड़ी उपलब्धियां भी सामने आईं। । एक नजर उन्हीं में से 10 बड़ी उपलब्धियों पर :

1. INS कलवारी ‘मेक इन इंडिया’ का बड़ा उदाहरण

प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी का सपना है कि भारत हथियारों, विमानों और पनडुब्बियों जैसे रक्षा उत्पादों के निर्माण में आत्मनिर्भर बने। ‘मेक इन इंडिया’ के सहारे देश अब इस दिशा में आगे बढ़ चुका है। प्रधानमंत्री मोदी ने ‘मेक इन इंडिया’ का उदाहरण पेश करते हुए पिछले 14 दिसंबर को नौसेना पनडुब्‍बी INS कलवारी को राष्‍ट्र को समर्पित किया। फ्रांस की मदद से स्वदेश में निर्मित इस पननडुब्बी से समुद्र में भारत की ताकत कहीं ज्यादा बढ़ी है। दुश्मनों के लिए घातक साबित होने वाली यह पनडुब्बी मिसाइल, तारपीडो और माइन्स लेकर लगातार 50 दिनों तक समुद्र में रह सकती है।

2. ब्रह्मोस और आकाश का सफल परीक्षण

विश्‍व की सबसे तेज सुपर-सोनिक क्रूज मिसाइल ब्रह्मोस ने नवंबर 2017 में उस समय इतिहास रच दिया, जब पहली बार भारतीय वायुसेना के अग्रणी युद्धक विमान सुखोई-30 एमके-1 से उसकी सफल परीक्षण उड़ान हुई। हवा से सतह पर मार करने में सक्षम ब्रह्मोस मिसाइल को दुश्मन के इलाके में बने आतंकी शिविरों पर दागा जा सकता है। इसके साथ ही जमीन से हवा में मार करने वाली आकाश मिसाइल को भी सफलतापूर्वक लॉन्च किया गया।

3. आंतरिक सुरक्षा के लिए कारगर रणनीति

प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की कूटनीति ने तब एक बार फिर रंग लाकर दिखाया जब डोकलाम से चीनी सैनिकों को वापस होने के लिए मजबूर होना पड़ा। इससे पहले चीन अलग-अलग तरीके आजमाकर धमकी की भाषा बोलने में लगा था। वहीं जम्‍मू-कश्‍मीर में चुनौतियों के बावजूद सुरक्षा स्थिति नियंत्रण में है। खुफिया जानकारियों के आधार पर भारत-म्‍यांमार सीमा पर शांति बनाये रखने के लिए भी अभियान शुरू किये गए। इसके तहत आतंकियों के मंसूबे को पूरी सख्ती के साथ निष्क्रिय कर दिया गया।

4. अमेरिका, रूस सहित कई देशों के साथ सैन्य अभ्यास

किसी भी स्थिति से तत्परता और सफलता से निपटने के लिए प्रशिक्षण गतिविधियां और सैन्य अभ्यास पर वर्ष भर के दौरान पूरा जोर दिखा। भारत-अमेरिका रक्षा सहयोग के हिस्से के रूप में दोनों देशों के बीच ‘युद्ध अभ्‍यास-2017’ का आयोजन किया गया। यह अभ्‍यास 14 से 27 सितंबर  के बीच ज्‍वाइंट बेस लेविस, मैकार्ड, वाशिंगटन में हुआ। 19 से 29 अक्टूबर के बीच व्‍लादीवोसतोक के निकट जापान सागर और 249वां संयुक्‍त सेना रेंज में रूस के साथ अभ्यास किया गया। इंग्लैंड, श्रीलंका, नेपाल, बांग्लादेश, ओमान, मंगोलिया और कजाकिस्तान के साथ भी मिलकर सैन्य अभ्यास किया गया। इन सबके तहत आतंकवाद के खिलाफ और क्षेत्रीय सुरक्षा के लिए अभ्‍यास किये गये।

5. विदेशी नौसेनाओं के साथ अभ्‍यास

मालाबार युद्धाभ्यास के 21वें संस्‍करण का आयोजन 09 से 17 जुलाई 2017 तक भारत के पूर्वी तट की बंदरगाह पर और उसके निकट किया गया। भारतीय नौसेना,अमेरिकी नौसेना और जापानी समुद्री स्‍व-सुरक्षा बल (JMSDF) ने इस अभ्‍यास में भाग लिया। इस अभ्‍यास का मुख्‍य प्रयोजन भाग लेने वाली नौसेनाओं के बीच समुद्री सहयोग एवं आपसी सहयोग बढ़ाना था। कुल मिलाकर 16 जहाजों, दो पनडुब्बियों, 95 विमानों, समुद्री कमांडो (मारकोस) और विशेष दस्‍तों ने इस अभ्‍यास में भागीदारी की। वहीं  पश्चि‍मी जहाजी बेड़े ने अप्रैल 2017 में फ्रांस की नौसेना के साथ तौलोन,फ्रांस के निकट वरुण-17 द्विपक्षीय अभ्‍यास में भाग लिया।

6. वायु सेना में देसी तेजस का पहला स्क्वैड्रन शामिल

प्रधानमंत्री के द्वारा लॉन्च किये गए मेक इन इंडिया अभियान के तहत देश में बने हल्के लडाकू विमान, तेजस के पहले स्क्वैड्रन को वायुसेना में शामिल कर लिया गया। तेजस ने गणतंत्र दिवस, एयरो इंडिया और वायु सेना दिवस में भाग लिया। एसयू-30 एमकेआई विमानों का निर्माण एचएएल में किया जा रहा है। इस एयरक्राफ्ट से ही सुपर सोनिक क्रूज मिसाइल ‘ब्रम्होस’ और ‘अस्त्र’ मिसाइल का सफल परीक्षण किया जा चुका है। मिग-29 विमानों का आधुनिकीकरण नासिक के बेस रिपेयर डिपो में किया जा रहा है।

7. INSV तरिणी से महिला नाविकों की विश्व यात्रा

एक अन्‍य महत्‍वपूर्ण गतिविधि के तहत भारतीय नौसेना की छह महिला नाविक अधिकारी भारत में निर्मि‍त 56 फीट लंबे तैरते जहाज, INSV तरिणी पर सागर परिक्रमा पर निकली हैं। तरिणी को 10 सितंबर, 2017 को रवाना किया गया था। उम्मीद है कि विश्व यात्रा करते हुए उसकी वापसी गोवा में अप्रैल, 2018 तक होगी। इस अभियान को ‘नाविका सागर परिक्रमा’ कहा गया और यह महिला शक्ति को मान्‍यता देने वाली राष्‍ट्रीय नीति के तहत आती है। 

8. अफगान महिला अधिकारियों का प्रशिक्षण

भारतीय सेना द्वारा विदेशी महिला अधिकारियों को दिये जाने वाले सैन्‍य प्रशिक्षण के तहत अफगान फौज और वायुसेना की महिला अधिकारियों को प्रशिक्षण दिया गया। इस दौरान महिलाओं को शारीरिक प्रशिक्षण,  हथियार चलाने का प्रशिक्षण दिया गया तथा संपर्क कौशल सिखाया गया। इसका आयोजन ऑफिसर्स ट्रेनिंग एकेडमी (OTA) चेन्‍नई में 4 से 24 दिसंबर, 2017 तक किया गया।

9. आपदा राहत में सेना ने निभाई बड़ी भूमिका

जुलाई में राजस्थान और गुजरात की बाढ़ हो या फिर अगस्त की बिहार और उत्तर प्रदेश की बाढ़, सेना राहत और बचाव के कार्य में भी मुस्तैदी से जुटी रही। सेना ने गुजरात के बैसवाड़ा स्थित आंबेडकर कन्‍या छात्रावास से फंसे हुए 500 से अधिक स्‍कूली लड़कियों और शिक्षकों को सफलतापूर्वक निकाला था।  बिहार के मधुबनी, सीतामढ़ी, गोपालगंज और मुजफ्फरपुर जिलों के भीषण बाढ़ से प्रभावित क्षेत्रों में सेना 75 से अधिक गांवों तक पहुंचने में सफल हुई और उसमें लगभग 1000 व्‍यक्तियों को बाहर निकाला।

10. खेल जगत में भी सैनिकों ने बढ़ाया देश का सम्मान

इंटरनेशनल शूटिंग स्पोर्ट्स फेडरेशन (ISSF)  विश्‍व कप-2017 में 10 मीटर एयर पिस्‍टल प्रतिस्‍पर्धा में सूबेदार जीतू राय व हीना सिद्धू के मिश्रित दल ने स्‍वर्ण पदक जीतकर देश को गौरवान्वि‍त किया। वहीं यूरोप में होने वाली यह सबसे कठिन साइकिल दौड़ रेस अराउंड ऑस्ट्रिया (RAA) को पूरा करने वाले प्रथम भारतीय के रूप में लेफ्टिनेंट कर्नल भरत कुमार ने देश और भारतीय सेना का गौरव बढ़ाया। सेना के एथलीटों ने जुलाई में भुवनेश्वर में हुई 22वीं एशियाई एथलेटिक्‍स चैंपियनशिप  में चार स्‍वर्ण, दो रजत और दो कांस्‍य पदक जीते।

 

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